MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Additional Questions

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Additional Questions

MP Board Class 9th Maths Chapter 6 अतिरिक्त परीक्षोपयोगी प्रश्न

MP Board Class 9th Maths Chapter 6 दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
एक त्रिभुज ABC के कोण B और C के समद्विभाजक परस्पर बिन्दु 0 पर प्रतिच्छेद करते हैं। सिद्ध कीजिए कि-
∠BOC = 90° + \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠A.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 11
हल:
दिया है :
∆ABC जिसके ∠B एवं ∠C के समद्विभाजक BO एवं CO परस्पर बिन्दु O पर प्रतिच्छेद करते हैं तो सिद्ध करना है कि-
∠BOC = 90° + \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠A.
उपपत्ति : त्रिभुज ABC में,
∵∠A + ∠ABC + ∠ACB = 180° (त्रिभुज का कोण योग गुण)
= \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠A + \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠ABC + \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠ACB = \(\frac { 1 }{ 2 }\) x 180° = 90°
⇒ \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠A + ∠OBC + ∠OCB = 90° (क्योंकि BO एवं CO क्रमशः ∠B एवं ∠C के समद्विभाजक हैं)
⇒ ∠OBC + ∠OCB = 90° \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠A ….(1)
लेकिन ∠BOC + ∠OBC + ∠OCB = 180° (त्रिभुज का कोण योग गुण)
⇒ ∠OBC + ∠OCB = 180° – ∠BOC …(2)
⇒ 90° – \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠A = 180° – ∠BOC [समीकरण (1) एवं (2) से]
⇒ ∠BOC = 180° – 90° + \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠A
अतः ∠BOC = 90° + 1 इति सिद्धम्

प्रश्न 2.
यदि दो रेखाएँ प्रतिच्छेद करती है तो सिद्ध कीजिए कि शीर्षाभिमुख कोण बराबर होते हैं।
हल:
मान लीजिए दो रेखाएँ AB एवं CD परस्पर O बिन्दु पर प्रतिच्छेद करती हैं तो सिद्ध करना है कि-
∠AOC = ∠BOD एवं ∠BOC = ∠AOD
उपपत्ति: ∵ ∠AOC + ∠COB = 180° (∵ रेखा AB के बिन्दु O पर एक ही ओर बने कोण हैं।)
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 12
चित्र 6.37
∵ ∠COB + ∠BOD = 180° …(2) (∵ रेखा CD के बिन्दु 0 पर एक ही ओर बने कोण हैं।)
⇒ ∠AOC + ∠COB = ∠COB + ∠BOD [समीकरण (1) एवं (2) से]
⇒ ∠AOC = ∠BOD (∠COB उभयनिष्ठ है)
इसी प्रकार सिद्ध कर सकते हैं कि ∠BOC = ∠AOD.
अतः यदि दो रेखाएँ परस्पर प्रतिच्छेद करती हैं तो शीर्षाभिमुख कोण बराबर होते हैं। इति सिद्धम्

प्रश्न 3.
∆ABC के अन्तःकोण ∠B और बहिष्कोण ∠ACD के समद्विभाजक बिन्दु T पर प्रतिच्छेद करते हैं। सिद्ध कीजिए कि ∠BTC = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠BAC.
हल:
ज्ञात है : ∆ABC के अन्त:कोण ∠B एवं बहिष्कोण ∠ACD के समद्विभाजक बिन्दु T पर प्रतिच्छेद करते हैं।
सिद्ध करना है: ∠BTC = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠BAC.
उपपत्ति : ∵ ∆ABC का बहिष्कोण ∠ACD
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 13
चित्र 6.38
⇒ ∠ACD = ∠BAC + ∠ABC
⇒ \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠ACD = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠BAC + \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠ABC
⇒ ∠TCD = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠BAC + ∠TBC …(1)
(चूँकि BT एवं CT क्रमशः ∠ABC एवं ∠ACD के समद्विभाजक हैं।)
∵ ∆TBC का बहिष्कोण ∠TCD है। ∠TCD = ∠TBC + ∠BTC …(2)
⇒ ∠TBC + ∠BTC = \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠BAC + ∠TBC [समीकरण (1) एवं (2) से]
अतः ∠BTC = \(\frac { 1 }{ 2 }\) ∠BAC. इति सिद्धम्

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प्रश्न 4.
एक तिर्यक रेखा दो समान्तर रेखाओं को प्रतिच्छेद करती है। सिद्ध कीजिए कि इस प्रकार बने संगत कोणों के युग्म के समद्विभाजक समान्तर होते हैं।
हल:
ज्ञात है : एक तिर्यक रेखा l, दो समानान्तर रेखाओं m एवं n को क्रमशः A एवं B बिन्दुओं पर प्रतिच्छेद करती हैं, संगत कोण ∠lAm एवं ∠ABn के समद्विभाजक क्रमश: Ap एवं Bq हैं तो सिद्ध करना है कि Ap || Bq.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 14
चित्र 6.39
उपपत्ति : चूँकि p एवं q क्रमशः कोण ∠lAm एवं ∠ABn के समद्विभाजक हैं।
⇒ ∠lAp = ∠pAm
एवं ∠ABq = ∠qBn
⇒ ∠lAp = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠lam एवं ∠ABq = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠ABn …(1)
चूँकि m|| n को तिर्यक रेखा l प्रतिच्छेद करती है
⇒ ∠lAm = ∠ABn ….(2)
⇒ ∠lAp = ∠ABq [समीकरण (1) एवं (2) से]
लेकिन ∠lAp एवं ∠ABq संमत कोण हैं।
अतः Ap || Bq. इति सिद्धम्

MP Board Class 9th Maths Chapter 6 लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
संलग्न चित्र में OD कोण ∠AOC का समद्विभाजक है, OE कोण ∠BOC का समद्विभाजक है तथा OD 1 OE। दर्शाइए कि AOB संरेख हैं।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 15
चित्र 6.40
हल:
चूँकि OD कोण AOC एवं OE कोण BOC के समद्विभाजक हैं।
⇒ ∠AOD = ∠DOC
एवं ∠BOE = ∠EOC.
⇒ ∠AOD + ∠BOE = ∠DOC + ∠EOC = ∠DOE = 90° [चूँकि OD ⊥ OE (दिया है)]
= ∠AOD + ∠BOE + ∠DOC + ∠EOC = 180°
चूँकि बिन्दु O पर किरण OA एवं OB के एक ही ओर बने कोण का योग 180° है।
इसलिए OA एवं OB एक सरल रेखा में हैं।
अतः AOB संरेख हैं। इति सिद्धम्

प्रश्न 2.
संलग्न चित्र में ∠1 = 60° और ∠6 = 120° हैं। दर्शाइए m और n समान्तर है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 16
चित्र 6.41
हल:
∠1 + ∠4 = 180° (∵ एक रेखा के एक बिन्दु पर एक ओर बने कोण हैं)
⇒ ∠4 = 180° – ∠1 .
= 180° + 60°= 120°
⇒ ∠6 = 24 = 120° [क्योंकि ∠6 = 120° (दिया गया है)]
लेकिन ये एकान्तर कोण है।
अतः m || n. इति सिद्धम् ।

प्रश्न 3.
संलग्न चित्र में AP और BQ उन दो एकान्तर अन्तःकोणों के समद्विभाजक हैं जो समान्तर रेखाओं l और m के तिर्यक रेखा t द्वारा प्रतिच्छेद से बनते हैं। दर्शाइए कि AP || BQ.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 17
चित्र 6.42
हल:
चूँकि l || m को तिर्यक रेखा t बिन्दु A और B पर प्रतिच्छेद करती है। (दिया है)
⇒ ∠lAB = ∠ABm (एकान्तर कोण हैं) …(1)
चूँकि AP एवं BQ क्रमशः ∠lAB एवं ABm के समद्विभाजक हैं (दिया है)
⇒ ∠PAB = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠lAB एवं ∠ABQ = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠ABm …(2)
⇒ ∠PAB = ∠ABQ [समीकरण (1) एवं (2) से]
लेकिन ये एकान्तर कोण हैं
अतः AP || BQ. इति सिद्धम्

प्रश्न 4.
संलग्न चित्र में DE || QR तथा AP और BP क्रमशः कोण ∠EAB और ∠RBA की समद्विभाजक हैं। ∠APB ज्ञात कीजिए।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 18
चित्र 6.43
हल:
चूँकि DE || QR को तिर्यक रेखा n क्रमशः बिन्दु A एवं B पर प्रतिच्छेद करती हैं।
⇒ ∠EAB + ∠ABR = 180° …(1) (एक ही ओर के अन्तः कोण हैं)
चूँकि AP एवं BP क्रमशः कोण EAB एवं ABR के समद्विभाजक हैं।
⇒ ∠PAB = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠EAB एवं ∠PBA = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠ABR
⇒ ∠PAB + ∠PBA = \(\frac { 1 }{ 2 }\) (∠EAB + ∠ABR) ….(2)
⇒ ∠PAB + ∠PBA = 90° [समीकरण (1) एवं (2) से] …(3)
⇒ ∠PAB + ∠PBA + ∠APB = 180° [त्रिभुज के अन्तःकोण हैं] …(4)
⇒ 90° + ∠APB = 180° [समीकरण (3) एवं (4) से)]
⇒∠APB = 180° – 90° = 90°
अतः ∠APB का अभीष्ट मान = 90°.

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प्रश्न 5.
किसी त्रिभुज के कोणों का अनुपात 2 : 3 : 4 है। त्रिभुज के तीनों कोण ज्ञात कीजिए।
हल:
कोणों के अनुपात का योग = 2 + 3 + 4 = 9, कोणों के मानों का योग = 180° (हम जानते हैं)
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 19
अतः त्रिभुज के तीनों कोणों से अभीष्ट मान क्रमशः 40°, 60° एवं 80° हैं।

MP Board Class 9th Maths Chapter 6 अति लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
संलग्न चित्र में x + y के किस मान के लिए ABC एक रेखा होगी ? अपने उत्तर का औचित्य दीजिए।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 20
चित्र 6.44
उत्तर:
x + y = 180°, क्योंकि ABC को एक रेखा होने के लिए दोनों कोणों का योग 180° होना चाहिए।

प्रश्न 2.
क्या किसी त्रिभुज के सभी कोण 60° से कम हो सकते हैं ? अपने उत्तर के लिए कारण दीजिए। (2019)
उत्तर:
नहीं हो सकते, क्योंकि त्रिभुजों के तीनों कोणों का योग 180° होता है। उक्त स्थिति में कोणों का योग 180° से कम होगा।

प्रश्न 3.
क्या किसी त्रिभुज के दो अधिककोण हो सकते हैं ? अपने उत्तर के लिए कारण दीजिए।
उत्तर:
नहीं हो सकते, क्योंकि उक्त स्थिति में त्रिभुज के तीनों कोणों का योग 180° से अधिक होगा जबकि त्रिभुज के तीनों कोणों का योग 180° होता है।

प्रश्न 4.
कोणों 45°, 64° और 72° वाले कितने त्रिभुज खींचे जा सकते हैं ? अपने उत्तर के लिए कारण दीजिए।
उत्तर:
कोई भी त्रिभुज नहीं खींचा जा सकता, क्योंकि उक्त स्थिति में तीनों कोणों का योग 45° + 64° + 72° = 181° हो जाता है जो 180° से अधिक है।

प्रश्न 5.
कोणों 53°, 64° और 63° वाले कितने त्रिभुज खींचे जा सकते हैं ? अपने उत्तर के लिए कारण दीजिए।
उत्तर:
अपरिमित रूप से अनेक त्रिभुज खींचे जा सकते हैं, क्योंकि प्रत्येक दशा में कोणों का योग 53° + 64° + 63° = 180 होता है।

प्रश्न 6.
संलग्न चित्र में x का मान ज्ञात कीजिए जिसके लिए l और m समान्तर होंगे।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 21
चित्र 6.45
हल:
x + 44° = 180°
⇒ x = 180° – 44° = 136°
अतः x का अभीष्ट मान = 136°.

प्रश्न 7.
दो आसन्न कोण बराबर है। क्या यह आवश्यक है कि वे दोनों कोण समकोण हों ? अपने
उत्तर:
का औचित्य दीजिए। उत्तर- कोई आवश्यक नहीं, क्योंकि यह तभी सम्भव है जब ये रेखायुग्म बनाएँ।

प्रश्न 8.
यदि दो प्रतिच्छेदी रेखाओं से बना एक कोण समकोण है, तो अन्य तीनों कोणों के बारे में आप क्या कह सकते हैं ? अपने उत्तर का कारण दीजिए।
उत्तर:
अन्य तीनों कोण भी समकोण होंगे, रैखिक युग्म अभिगृहीत के कारण।

प्रश्न 9.
निम्न चित्र में कौन-सी दो रेखाएँ समान्तर हैं और क्यों?
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 22
चित्र 6.46
उत्तर:
रेखाएँ l || m क्योंकि एक ही ओर के अन्तः कोणों का योग = 132° + 48° = 180°
रेखाएँ p एवं q समान्तर नहीं है, क्योंकि एक ही ओर के अन्तः कोणों का योग = 73° + 106° = 179° + 180°

प्रश्न 10.
दो रेखाएँ l और m एक ही रेखा n पर लम्ब हैं। क्या l और m परस्पर लम्ब हैं ? अपने उत्तर के लिए कारण दीजिए।
उत्तर:
नहीं, क्योंकि ये समान्तर हैं।

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MP Board Class 9th Maths Chapter 6 वस्तुनिष्ठ प्रश्न

बहु-विकल्पीय प्रश्न

प्रश्न 1.
यदि किसी त्रिभुज का एक कोण अन्य दो कोणों के योग के बराबर हो, तो वह त्रिभुज है एक :
(a) समद्विबाहु त्रिभुज
(b) अधिक कोण त्रिभुज
(c) समबाहु त्रिभुज
(d) समकोण त्रिभुज।
उत्तर:
(d) समकोण त्रिभुज

प्रश्न 2.
एक त्रिभुज का एक बहिष्कोण 105° है तथा उसके दोनों अन्तः विपरीत कोण बराबर हैं। इनमें से प्रत्येक बराबर कोण है :
(a) 37 \(\frac { 1 }{ 2 }\) °
(b) 27 \(\frac { 1 }{ 2 }\)°
(c) 72 \(\frac { 1 }{ 2 }\) °
(d) 75°.
उत्तर:
(b) 27 \(\frac { 1 }{ 2 }\)°

प्रश्न 3.
किसी त्रिभुज के कोणों का अनुपात 5 : 3 : 7 है। वह त्रिभुज है एक :
(a) न्यूनकोण त्रिभुज
(b) अधिक कोण त्रिभुज
(c) समकोण त्रिभुज
(d) समद्विबाहु त्रिभुज।
उत्तर:
(a) न्यूनकोण त्रिभुज

प्रश्न 4.
किसी त्रिभुज का एक कोण 130° है तो अन्य दोनों कोणों के समद्विभाजकों के बीच कोण हो सकता है:
(a) 50°
(b) 65°
(c) 145°
(d) 155°
उत्तर:
(d) 155°

प्रश्न 5.
संलग्न चित्र में POQ एक रेखा है। x का मान है :
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 23
चित्र 6.47
(a) 20°
(b) 25°
(c) 30°
(d) 35°.
उत्तर:
(a) 20°

प्रश्न 6.
एक त्रिभुज के कोण 2 : 4 : 3 के अनुपात में हैं। त्रिभुज का सबसे छोटा कोण है :
(a) 60°
(b) 40°
(c) 80°
(d) 20°.
उत्तर:
(b) 40°

रिक्त स्थानों की पूर्ति
1. सरल रेखा का वह भाग जिसके दो अन्त बिन्दु हों, ………… कहलाता है।
2. यदि तीन या अधिक बिन्दु एक ही सरल रेखा में हों, तो वे बिन्दु ……. कहलाते हैं।
3. सरल रेखा का वह भाग जिसका एक बिन्दु हो ……… कहलाता है।
4. जब दो किरण एक ही अन्त बिन्दु से आरम्भ होती हैं तो एक ………. बनता है।
5. कोण बनाने वाली दोनों किरणें ………. कहलाती हैं।
6. यदि दो आसन्न कोणों का योग ……… हो, तब वे रैखिक युग्म बनाते हैं। (2019)
उत्तर:
1. रेखाखण्ड,
2. सरेख बिन्दु,
3. किरण,
4. कोण,
5. उस कोण की भुजाएँ,
6. 180°.

जोड़ी मिलान

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 24

उत्तर:
1. → (c),
2. → (d),
3. → (e),
4. → (a),
5. → (b),
6. → (g),
7. → (1).

सत्य/असत्य कथन
1. कोटि पूरक कोणों का योग 180° होता है।
2. किसी त्रिभुज में कम-से-कम दो न्यूनकोण होते हैं।
3. सम्पूरक कोणों का योग 90° होता है।
4. किसी त्रिभुज में दो समकोण नहीं हो सकते।
5. जब दो असमान्तर रेखाओं को एक तिर्यक रेखा प्रतिच्छेद करे तो एकान्तर कोण बराबर होते हैं।
उत्तर:
1. असत्य,
2. सत्य,
3. असत्य,
4. सत्य,
5. असत्य।

एक शब्द/वाक्य में उत्तर
1. त्रिभुजों के तीनों अन्तः कोणों का योग कितना होता है?
2. समबाहु त्रिभुज के प्रत्येक कोण का माप क्या होता है?
3. दो समान्तर रेखाओं को एक तिर्यक रेखा प्रतिच्छेद करे तो एक ही ओर के दो अन्त: कोणों का योग कितना होता है?
4. दो रेखाएँ प्रतिच्छेद करती हैं तो शीर्षाभिमुख कोणों में क्या सम्बन्ध होता है? 5. समकोण समद्विबाहु त्रिभुज के न्यूनकोण का माप क्या होगा?
उत्तर:
1. 180°,
2. 60°,
3. 180°,
4. बराबर होते हैं,
5. 45°.

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MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 5 युक्लिड के ज्यामिति का परिचय Additional Questions

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 5 युक्लिड के ज्यामिति का परिचय Additional Questions

MP Board Class 9th Maths Chapter 5 अतिरिक्त परीक्षोपयोगी प्रश्न

MP Board Class 9th Maths Chapter 5 दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1. निम्नलिखित कथन को पढ़िए :
“एक समबाहु त्रिभुज तीन रेखाखण्डों से बना एक बहुभुज है जिनमें से दो रेखाखण्ड तीसरे रेखाखण्ड के बराबर हैं तथा इसका प्रत्येक कोण 60° का है।” इस परिभाषा में उन पदों को परिभाषित कीजिए जिन्हें आप आवश्यक समझते हैं। क्या इसमें कोई अपरिभाषित पद है ? क्या आप इसका औचित्य दे सकते हैं कि एक समबाहु त्रिभुज के सभी कोण और सभी भुजाएँ बराबर होती हैं। उत्तर:
परिभाषित किए जाने वाले पद :
बहुभुज : तीन या तीन से अधिक रेखाखण्डों से बनी एक सरल बन्द आकृति।
रेखाखण्ड : रेखा का वह भाग जिसके दो अन्त-बिन्दु हों।
रेखा : अपरिभाषित पद।
बिन्दु : अपरिभाषित पद।
कोण : उभयनिष्ठ शीर्ष वाली दो किरणों से बनी आकृति।
किरण : रेखा का वह भाग जिसका एक अन्त-बिन्दु हो।
त्रिभुज : तीन रेखाखण्डों से निर्मित एक सरल बन्द आकृति।
अपरिभाषित पद : रेखा एवं बिन्दु।। त्रिभुज का प्रत्येक कोण का माप 60° है (दिया है)
अतः समबाहु त्रिभुज के सभी कोण बराबर हैं। दो रेखाखण्ड तीसरे रेखाखण्ड के बराबर है (दिया है)।
अतः समबाहु त्रिभुज की तीनों भुजाएँ बराबर होंगी। (यूक्लिड की प्रथम अभिगृहीत से “वे वस्तुएँ जो एक ही वस्तु के बराबर हों, परस्पर बराबर होती हैं।”)

MP Board Class 9th Maths Chapter 5 लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
दो सेल्समेनों ने अगस्त महीने में बराबर बिक्री की। सितम्बर में प्रत्येक सेल्समेन अपनी बिक्री अगस्त के महीने की बिक्री की दो गुनी कर लेता है। दोनों की सितम्बर की बिक्रियों की तुलना
कीजिए।
उत्तर:
चूँकि अगस्त में दोनों सेल्समेनों की बिक्री बराबर है। सितम्बर में दोनों की बिक्री अगस्त की बिक्री की दो गुनी है।
अत: दोनों की सितम्बर की बिक्री भी बराबर होगी, क्योंकि बराबर का दो गुना बराबर होता है। (अभिगृहीत-6 के अनसार।)

प्रश्न 2.
यह ज्ञात है कि x + y = 10 और x = है। दर्शाइए कि x + y = 10 है।
हल:
चूंकि y = y (अभिगृहीत – 4 से)
एवं x = z (दिया है)
⇒ x + y = z + y
(अभिगृहीत – 2 से)
एवं x + y = 10 (दिया है)
अतः z + y = 10. (अभिगृहीत-1 से) इति सिद्धम्

प्रश्न 3.
संलग्न चित्र को देखिए। दर्शाइए :
AH > AB + BC + CD है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 5 युक्लिड के ज्यामिति का परिचय Ex 5.2 3
हल :
चित्रानुसार,
AB+ BC + CD, AH का एक भाग है
अतः AH > AB + BC + CD. (अभिगृहीत – 5)
अर्थात् पूर्ण अपने भाग से बड़ा होता है।
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प्रश्न 4.
संलग्न चित्र में AB = BC एवं BX = BY दर्शाइए कि AX = CY है।
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 5 युक्लिड के ज्यामिति का परिचय Ex 5.2 4
∵AB = BC (दिया है)
∵ BX = BY (दिया है)
AB – BX = BC – BY (अभिगृहीत – 3)
लेकिन AB – BX = AX
एवं BC – BY = CY (चित्रानुसार)
अतः Ax = CY.  इति सिद्धम्

प्रश्न 5.
संलग्न चित्र में AC = DC और CB = CE है। दर्शाइए कि AB = DE है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 5 युक्लिड के ज्यामिति का परिचय Ex 5.2 5
हल:
AC = DC (दिया है)
एवं CB = CE (दिया है)
AC + CB = DC + CE (अभिगृहीत – 2)
लेकिन AC + CB = AB
एवं DC + CE = DE (चित्रानुसार)
अतः AB = DE. इति सिद्धम्
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MP Board Class 9th Maths Chapter 5 अति लघु उत्तरीय प्रश्न

निम्न कथन सत्य हैं या असत्य लिखिए। अपने उत्तर का औचित्य दीजिए :

प्रश्न 1.
यूक्लिडीय ज्यामिति केवल वक्र पृष्ठों के लिए ही मान्य है।
उत्तर:
असत्य कथन। यह केवल तल में बनी आकृतियों के लिए ही मान्य है।

प्रश्न 2.
ठोसों की परिसीमाएँ वक्र होती हैं।
उत्तर:
असत्य कथन। ठोसों की परिसीमाएँ पृष्ठ होते हैं।

प्रश्न 3.
एक पृष्ठ के किनारे वक्र होते हैं।
उत्तर:
असत्य कथन। पृष्ठों के किनारे रेखाएँ होती हैं।

प्रश्न 4.
वस्तुएँ जो एक ही वस्तु की दो गुनी हों बराबर होती हैं।
उत्तर:
सत्य कथन। यह यूक्लिड का एक अभिगृहीत है।

प्रश्न 5.
यदि एक राशि B एक अन्य राशि A का एक भाग है, तो A को B और एक अन्य राशि C के रूप में लिखा जा सकता है।
उत्तर:
सत्य कथन। यूक्लिड के एक अभिगृहीत के कारण।

प्रश्न 6.
वे कथन जिन्हें सिद्ध किया जा सकता है, अभिगृहीत कहलाते हैं।
उत्तर:
असत्य कथन। सिद्ध किए गए कथन प्रमेय कहलाते हैं।

प्रश्न 7.
कथन प्रत्यके रेखा l और उस पर न स्थित प्रत्येक बिन्दु P के लिए एक अद्वितीय रेखा का अस्तित्व है जो P से होकर जाती है और l के समान्तर है, प्लेफेयर अभिगृहीत कहलाता है।
उत्तर:
सत्य कथन। यह यूक्लिड की पाँचवीं अभिधारणा का एक रूपान्तरण है।

प्रश्न 8.
दो भिन्न प्रतिच्छेदी रेखाएँ एक ही रेखा के समान्तर नहीं हो सकती।
उत्तर:
सत्य कथन। यह यूक्लिड की पाँचवीं अभिधारणा का एक रूपान्तरण है।

प्रश्न 9.
यूक्लिड की पाँचवीं अभिधारणा को अन्य अभिधारणाओं और अभिगृहीतों का प्रयोग करते हुए सिद्ध करने के प्रयासों के फलस्वरूप अन्य अनेक ज्यामितियों की खोज हुई।
उत्तर:
सत्य कथन। ये ज्यामितियाँ यूक्लिडीय ज्यामिति से भिन्न है।
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MP Board Class 9th Maths Chapter 5 वस्तुनिष्ठ प्रश्न

बहु-विकल्पीय प्रश्न

प्रश्न 1.
प्राचीन भारत में, आयतों, त्रिभुजों और समलम्बों से समायोजित आकारों की वेदियाँ निम्नलिखित में प्रयोग होती थीं:
(a) सार्वजनिक पूजास्थल
(b) घरेलू पूजास्थल
(c) A और B दोनों
(d) इनमें से कोई नहीं।
उत्तर:
(a) सार्वजनिक पूजास्थल

प्रश्न 2.
प्राचीन भारत में घरेलू पूजा कार्य में प्रयोग की जाने वाली वेदियों के आकार होते थे :
(a) वर्ग और वृत्त
(b) त्रिभुज और आयत
(c) समलम्ब और पिरामिड
(d) आयत और वर्ग।
उत्तर:
(a) वर्ग और वृत्त

प्रश्न 3.
अथर्ववेद में दिए गए ‘श्री यन्त्र’ में एक-दूसरे के साथ जुड़े अन्तर्निहित समद्विबाहु त्रिभुजों की संख्या है:
(a) सात
(b) आठ
(c) नौ
(d) ग्यारह।
उत्तर:
(c) नौ

प्रश्न 4.
यूनानियों ने निम्नलिखित पर बल दिया :
(a) आगमन, तर्कण
(b) निगमन, तर्कण
(c) A और B
(d) ज्यामिति का व्यावहारिक प्रयोग।
उत्तर:
(b) निगमन, तर्कण

प्रश्न 5.
यूक्लिड निम्नलिखित देश का वासी था :
(a) बेबीलोनिया
(b) मिस्र
(c) यूनान
(d) भारत।
उत्तर:
(c) यूनान

प्रश्न 6.
थेल्स निम्नलिखित देश का वासी था :
(a) बेबीलोनिया
(b) मिस्र
(c) यूनान
(d) रोम।
उत्तर:
(c) यूनान

प्रश्न 7.
पाइथागोरस एक विद्यार्थी था :
(a) थेल्स का
(b) यूक्लिड का
(c) (a) और (b) दोनों का
(d) आर्कमिडीज का।
उत्तर:
(a) थेल्स का

प्रश्न 8.
निम्नलिखित में से किसकी उपपत्ति की आवश्यकता है :
(a) प्रमेय
(b) अभिगृहीत
(c) परिभाषा
(d) अभिधारणा।
उत्तर:
(a) प्रमेय

प्रश्न 9.
यूक्लिड के कथन सभी समकोण एक दूसरे के बराबर होते हैं निम्न के रूप में दिया गया है :
(a) अभिगृहीत
(b) परिभाषा
(c) अभिधारणा
(d) उपपत्ति।
उत्तर:
(c) अभिधारणा

प्रश्न 10.
“रेखाएँ समान्तर होती हैं, यदि वे प्रतिच्छेद नहीं करतीं” का कथन निम्न रूप में दिया गया है:
(a) अभिगृहीत
(b) परिभाषा
(c) अभिधारणा
(d) उपपत्ति।
उत्तर:
(b) परिभाषा

रिक्त स्थानों की पूर्ति

1. पिरामिड का आधार …….. होता है।
2. पिरामिड के पार्श्व फलक ……… होते हैं।
3. कोणों की परिसीमाएँ ……….. होती हैं।
4. पृष्ठों की परिसीमाएँ …….होती हैं।
5. सिन्धु घाटी की सभ्यता में निर्माण हेतु प्रयुक्त ईंटों की विमाओं में ……… का अनुपात था।
6. ………….. अपने भाग से बड़ा होता है। (2019)
उत्तर:
1. कोई भी बहुभुज,
2. त्रिभुजाकार,
3. पृष्ठ,
4. वक्र,
5. 4 : 2 : 1,
6. पूर्ण।

जोड़ी मिलान
स्तम्भ ‘A’                                               स्तम्भ ‘B’
1. एक ठोस की विमाओं की संख्या          (a) 13
2. एक पृष्ठ की विमाओं की संख्या           (b) 465
3. एक बिन्दु की विमाओं की संख्या         (c) 3
4. एलीमेण्ट्स में अध्यायों की संख्या        (d) 2
5. एलीमेण्ट्स में साध्यों की संख्या           (e) 0
उत्तर:
1. → (c),
2. → (d),
3. → (e),
4. → (a),
5. → (b).

सत्य/असत्य कथन

1. पिरामिड एक ठोस है जिसका आधार सदैव एक समबाहु त्रिभुज होता है।
2. ज्यामिति में हम बिन्दु, रेखा और तल को अपरिभाषित पद मानते हैं।
3. यूक्लिड की चौथी अभिगृहीत “प्रत्येक वस्तु स्वयं के बराबर होती है।”
4. यूक्लिड की ज्यामिति केवल तल में स्थित आकृतियों के लिए मान्य है।
5. बराबर वस्तुओं में समान वस्तु जोड़ने पर योग बराबर नहीं होता।
उत्तर:
1. असत्य,
2. सत्य,
3. सत्य,
4. सत्य,
5. असत्य।
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एक शब्द/वाक्य में उत्तर

1. एक बिन्दु से होकर कितनी सरल रेखाएँ खींची जा सकती हैं? (2019)
2. दो बिन्दुओं के बीच कितनी सरल रेखाएँ खींची जा सकती हैं?
3. “पूर्ण अपने भाग से बड़ा होता है” कौन-सी अभिगृहीत है?
4. “सभी समकोण एक-दूसरे के बराबर होते हैं” कौन-सी अभिधारणा है?
5. जो वस्तुएँ एक ही वस्तु के बराबर हों उनमें क्या सम्बन्ध होता है?
6. यूक्लिड की एक अवधारणा लिखिए। (2019)
उत्तर:
1. असंख्य,
2. एक,
3. पाँचवीं अभिगृहीत,
4. चौथी अभिधारणा,
5. बराबर होती हैं,
6. एक बिन्दु से एक अन्य बिन्दु तक एक सीधी रेखा खींची जा सकती है।

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MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Additional Questions

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Additional Questions

MP Board Class 9th Maths Chapter 2 अतिरिक्त परीक्षोपयोगी प्रश्न

MP Board Class 9th Maths Chapter 2 दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
यदि बहुपदों az3 + 4z3 + 3z – 4 और z3 – 4z + a को z – 3 से भाग देने पर प्रत्येक दशा में समान शेषफल प्राप्त होता है, तो a का मान ज्ञात कीजिए।
हल:
मान लीजिए p(E) = az3 + 4z3 + 3z – 4
तथा q(a) = z3 – 4z + a
∵ z – 3 दिए गए बहुपदों का भाजक है जिसका शून्यक 2 -3 = 0 ⇒ z = 3 है
तो शेषफल p(3) = a(3)3 + 4(3)2 + 3(3) – 4 = 27a + 36 + 9 – 4 = 27a + 41
एवं शेषफल q(3) = (3)3 – 4(3) + a = 27 – 12 + a = a + 15
चूँकि शेषफल p(3) = शेषफल q(3) (दिया हुआ है)
⇒ 27a + 41 = a + 15
⇒ 27a – a = 15 – 41
⇒ 26a = – 26
⇒ a = – 1
अतः a का अभीष्ट मान = -1.

प्रश्न 2.
यदि x – 2 और x – \(\frac { 1 }{ 2 }\) दोनों ही px2 + 5x +r के गुणनखण्ड हैं, तो दर्शाइए कि p = r है।
हल:
मान लीजिए कि बहुपद q(x) = px2 + 5x +r (दिया है)
चूँकि x – 2 दिए हुए बहुपद q(x) का एक गुणनखण्ड है।
इसलिए x – 2 = 0 अर्थात् x = 2 इसका एक शून्यक होगा।
⇒ q(2) = p(2)3 + 5(2) + r = 0 =
⇒ 4p + 10 + r = 0  …(i)
चूँकि x – \(\frac { 1 }{ 2 }\)  दिए हुए बहुपद q(x) का एक गुणनखण्ड है इसलिए x – \(\frac { 1 }{ 2 }\) = 0 अर्थात् x = \(\frac { 1 }{ 2 }\) इसका एक शून्यक होगा।
⇒\(q\left(\frac{1}{2}\right)=p\left(\frac{1}{2}\right)^{2}+5\left(\frac{1}{2}\right)+r=0\)
⇒  1/4 p + 5/2  + r = 0
⇒  p+ 10 + 4r = 0 ….(ii)
⇒ 3p – 3r = 0  समी. (1) – समी. (2) से]
⇒ 3p  = 3r
⇒ p = r

प्रश्न 3.
बिना वास्तविक विभाजन के सिद्ध कीजिए कि x2 – 3x + 2 से 2x4 – 5x3 + 2x2 – x + 2 विभाज्य है।
हल :
x2 – 3x + 2  = x2 – x – 2x + 2
=x (x – 1)- 2 (x – 1)
= (x – 1) (x – 2)
अतः (x – 1) एवं (x – 2) दोनों बहुपद x2 – 3x + 2 के शून्यक हैं।
माना दिया हुआ बहुपद p(x) = 2x4 – 5x3 + 2x2 – x + 2 है
p(1) = 2(1)4 – 5(1)3 + 2(1)2 – (1) + 2
p(1) = 2 – 5 + 2 – 1 + 2 = 6 – 6 = 0 है
इसलिए दिया हुआ बहुपद (x – 1) से विभाज्य है।
अब  p(2) = 2(2)4 – 5(2)3 + 2(2)2 – (2) +2
= 2(16) – 5(8) + 2(4) –  2 + 2
= 32 – 40 + 8 – 2 + 2 = 42 – 42 = 0 है
इसलिए दिया हुआ बहुपद (x – 2) से भी विभाज्य है।
अर्थात् दिया हुआ बहुपद (x – 1) (x – 2) अर्थात् (x2  – 3x + 2) से विभाज्य है;
अतः (x2 – 3x + 2) से बहुपद (2x4 – 5x2 + 2x2 + 2) विभाज्य है। इति सिद्धम्
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प्रश्न 4.
3x2 + x – 1 को x + 1 से भाग दीजिए एवं भागफल, शेषफल लिखिए। (2019)
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 7
अतः अभीष्ट भागफल = 3x – 2 एवं शेषफल = 1.

MP Board Class 9th Maths Chapter 2 लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
निम्नलिखित बहुपदों को एक पद वाले, दो पद वाले, इत्यादि बहुपदों में वर्गीकृत कीजिए :
(i) x2 + x + 1,
(ii) y3 – 5y,
(iii) xy + yz + zx,
(iv) x2 – 2xy + y2 + 1.
उत्तर:
(i) त्रिपद,
(ii) द्विपद,
(iii) त्रिपद,
(iv) चतुर्पद।

प्रश्न 2.
निम्नलिखित बहुपदों में से प्रत्येक की घात निर्धारित कीजिए :
(i) 2x – 1,
(ii) -10,
(iii) x3 – 9x + 3x5,
(iv) y3 (1 – y4).
उत्तर:
(i) घात = 1,
(ii) घात = 0,
(iii) घात = 5.
(iv) घात = 7.

प्रश्न 3.
बहुपद \( \frac{x^{3}+2 x+1}{5}-\frac{7}{2} x^{2}-x^{6}\) के लिए, लिखिए :
(i) बहुपद की घात
(ii) x3 का गुणांक
(iii) x6 का गुणांक
(iv) अचर पद।
उत्तर:
(i) घात = 6,
(ii) x3 का गुणांक = \(\frac { 1 }{ 5 }\)
(iii) x6 का गुणांक = – 1,
(iv) अचर पद = \(\frac { 1 }{ 5 }\)
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प्रश्न 4.
निम्नलिखित में से प्रत्येक में x का गुणांक लिखिए :
(i) \(\frac{\pi}{6} x+x^{2}+1\)
(ii) 2x – 5
(ii) (x – 1) (3x – 4)
(iv) (2x – 5) (2x2 – 3x + 1).
उत्तर:
(i) x2 का अभीष्ट गुणांक = 1
(ii) x2 का अभीष्ट गुणांक = 0 (शून्य)
(iii) (x – 1) (3x – 4) = 3x2 – 7x + 4 में x2 का अभीष्ट गुणांक = 3
(iv) (2x – 5) (2x2 – 3x + 1) = 2x (2x2 – 3x + 1) – 5 (2x2 – 3x + 1)
= 4x3 – 6x2 + 2x – 10x2 + 15x -5
= 4x3 – 16x2 + 17x – 5 में x2 का गुणांक = – 16

प्रश्न 5.
निम्नलिखित को एक अचर रैखिक, द्विघात और त्रिघात बहुपदों के रूप में वर्गीकृत कीजिए:
(i) 2 – x2 +x3
(ii) 3x3
(iii) 5t – √7
(iv) 4 – 5y2
(v) 3
(vi) 2 + x
(vii) y3 – y
(viii) 1 + x + x2
(ix) t2
(x) √2x – 1.
उत्तर:
(i) त्रिघात,
(ii) त्रिघात,
(iii) रैखिक,
(iv) द्विघात,
(v) अचर,
(vi) रैखिक,
(vii) त्रिघात,
(viii) द्विघात,
(ix) द्विघात,
(x) रैखिक।

प्रश्न 6.
एक ऐसे बहुपद का उदाहरण दीजिए, जो :
(i) घात 1 का एकपदी है।
(ii) घात 20 का द्विपदी है।
(iii) घात 2 का एक त्रिपदी है।
उत्तर:
(i) ax, जहाँ a अचर है।
(ii) ar20 + b, जहाँ a एवं b अचर हैं।
(iii) ar2 + bx + c, जहाँ a, b एवं c अचर हैं।

प्रश्न 7.
निम्नलिखित के लिए p(0), p(1) और p(-2) ज्ञात कीजिए :
(i) p(x) = 10x – 4x2 – 3
(ii) p(y) = (y + 2) (y – 2).
हल:
(i) ∵ p(x) = 10x – 4x2 – 3
⇒ p(0) = 10(0) – 4(0)2 – 3 = 0 – 0 – 3 = – 3
तथा p(1) = 10(1) – 4(1)2 – 3 = 10 – 4 – 3 = 10 – 7 = +3
एवं  p(-2) = 10(-2) – 4(-2)2 – 3 = – 20 – 16 – 3 = – 39
अतः अभीष्ट मान p(0) = – 3, p(1) = + 3 एवं p(-2) = – 39.

(ii) ∵ p(y) = (y + 2) (y2 – 2) = y2 – 4
⇒ p(0) = (0)2 – 4 = 0-4 =-4
तथा p(1) = (1)2 – 4 = 1 – 4 = – 3
एवं p(-2) = (-2)2 – 4 = 4 – 4 = 0
अतः अभीष्ट मान p(0) = -4, p(1) = – 3 एवं p(-2) = 0.

प्रश्न 8.
जाँच कीजिए कि निम्नलिखित कथन सत्य हैं या असत्य :
(i) – 3 बहुपद x – 3 का एक शून्यक है।
(ii) -1/3 बहुपद 3x + 1 का एक शून्यक है।
(iii) -4/5 बहुपद 4 – 5y का एक शून्यक है।
(iv) 0 और 2 बहुपद t2 – 2t के शून्यक हैं।
(v) -3 बहुपद y2 + y – 6 का एक शून्यक है।
उत्तर:
(i) असत्य है, क्योंकि (-3) – 3 = – 6 ≠ 0
(ii) सत्य है, क्योंकि 3 (-\(\frac { 1 }{ 3 }\)) + 1 =- 1 + 1 = 0
(iii) असत्य है, क्योंकि 4 – 5(-\(\frac { 4 }{ 5 }\)) = 4 + 4 = 8 ≠ 0
(iv) सत्य है, क्योंकि (0)2 – 2(0) = 0 – 0 = 0 एवं (2)2 – 2(2) = 4 – 4 = 0.
(v) सत्य है, क्योंकि (-3)2 + (-3)- 6 = 9 – 3 – 6 = 9 – 9 = 0

प्रश्न 9.
निम्नलिखित में से प्रत्येक में बहुपद के शून्यक ज्ञात कीजिए : (2019)
(i) p(x) = x – 4
(ii) g(x) = 3 – 6x
(iii) q(x) = 2x – 7
(iv) h(y) = 2y.
हल:
(i) ∵ p(x) =x-4 = 0 ⇒ x = 4, अत: अभीष्ट शून्यक = 4.
(ii) g(x) = 3 – 6x = 0 ⇒ 6x = 3 ⇒  x= \(\frac { 3 }{ 6 }\)  = \(\frac { 1 }{ 2 }\) =, अतः अभीष्ट शून्यक =  \(\frac { 1 }{ 2 }\)
(ii) q(x) = 2x – 7 = 0 ⇒ 2x = 7 ⇒  x = \(\frac { 7 }{ 2 }\), अतः अभीष्ट शून्यक = \(\frac { 7 }{ 2 }\)
(iv) h(y) = 2y = 0 ⇒ y = \(\frac { 0 }{ 2 }\) = 0, अतः अभीष्ट शून्यक = 0.
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प्रश्न 10.
शेषफल प्रमेय से शेषफल ज्ञात कीजिए, जब p(x) को q(x) से भाग दिया जाता है, जहाँ
(i) p(x) = x3 – 2x2 – 4x – 1, q(x) = x + 1
(ii) p(x) =x3 – 3x2 + 4x + 50, q(x) = x – 3
(iii) p(x) = 4x3 – 12x2 + 14x – 3, q(x) = 2x -1
(iv) p(x) = x– 6x2 + 2x – 4, q(x) = 1 – \(\frac { 3 }{ 2 }\)x.
हल:
(i) चूँकि भाजक q(x) = x + 1 = 0 का शून्यक x = – 1 है
p(x) = x3 – 2x2 – 4x – 1,
⇒ शेषफल  p(- 1) = (-1)3 – 2(-1)2 – 4(-1)-1 (शेषफल प्रमेय से)
= (-1) – 2 (1) + 4 – 1
= -1 – 2 + 4 – 1 = 4 – 4 = 0
अतः अभीष्ट शेषफल = 0.

(ii) चूँकि भाजक q(x) =  x – 3 = 0 का शून्यक x = 3 है
और p(x) = x3 – 3x2 + 4x + 50
⇒ शेषफल p(3) = (3)3 – 3(3)2 + 4(3) + 50
= 27 – 27 + 12 + 50 = 62
अतः अभीष्ट शेषफल = 62.

(iii) चूँकि भाजक q(x) = 2x – 1 = 0 का शून्यक x = \(\frac { 1 }{ 2 }\) , है और
p(x) = 4x3 – 12x2 + 14x – 3
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 8

(iv) चूँकि भाजक q(x) = 1 – \(\frac { 3 }{ 2 }\)x = 0 का शून्यक = 2/3 है
और p(x) = x3 – 6x2 + 2x -4
⇒ शेषफल p (2/3) = (2/3)3 – 6 (2/3)2 + 2 (2/3) – 4
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 9
अतः अभीष्ट शेषफल = -136/27.

प्रश्न 11.
जाँच कीजिए कि p(x), q(x) का एक गुणज है या नहीं :
(i) p(x) = x3 – 4x2 + 4x – 3 ; q(x) = x – 2 है
(ii) p(x) = 2x3 – 11x2 – 4x + 5 ; q(x) = 2x + 1 है
(iii) p(x)= x3 – x + 1 ; q(x) = 2 – 3x है
हल:
(i) p(x), q(x) का एक गुणज होगा यदि q(x), p(x) को पूर्णतया विभाजित करेगा अर्थात् शेषफल शून्य होगा अन्यथा नहीं।
अब q(x) = x – 2 = 0 ⇒ x = 2, q(x) का एक शून्यक है।
एवं p(x) = x3 – 4x2 + 4x – 3
⇒ शेषफल p(2) = (2)3 – 5(2)2 + 4(2) – 3
= 8 – 20 + 8 – 3
= 16 – 23 = -7 ≠ 0
अतः p(x), q(x) का गुणज नहीं है।

(ii) p(x), q(x) का एक गुणज होगा यदि q(x), p(x) को पूर्णतया विभाजित करेगा अर्थात् शेषफल शून्य होगा अन्यथा नहीं।
अब q(x) = 2x + 1 = 0 = x = -1/2, 4(x) का एक शून्यक है।
एवं p(x) = 2x3 – 11x2 – 4x + 5
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 10
अतः p(x), q(x) का गुणज नहीं है।

(iii) p(x), q(x) का गुणज होगा यदि q(x), p(x) को पूर्णतया विभाजित करेगा अर्थात् शेषफल शून्य होगा अन्यथा नहीं।
अब q(x) = 2 – 3x = 0 ⇒ x = 2/3, q(x) का एक शून्यक है
एवं p(x) = x3 – x + 1
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 10a
अतः p(x), q(x) का गुणज नहीं है।
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प्रश्न 12.
दर्शाइए कि:
(i) x + 3 बहुपद 69 + 11x – x +3 का एक गुणनखण्ड है।
(ii) 2x – 3 बहुपद x + 2x3 – 9x2 + 12 का एक गुणनखण्ड है।
(iii) q(x), p(x) का एक गुणनखण्ड है जहाँ q(x) =  \( \frac{x}{3}-\frac{1}{4} \) एवं p(x) = 8x3 – 6x 2 – 4x + 3.
हल:
(i) चूँकि x + 3 का शून्यक – 3 है
p(x) = 69 + 11x – x2 +x – शेषफल
p(-3) = 69 + 11(-3)-(-3)2 + (-3)3
= 69 – 33 – 9 – 27 = 69 – 69 = 0
अतः (x + 3) बहुपद 69 + 11x – x2 + x3 का एक गुणनखण्ड है।

(ii) चूँकि 2x -3 का शून्यक 3/2 है
p(x) = x + 2x3 – 9x2 + 12
शेषफल  p (3/2) = (3/2) + 2 (3/2)3 – 9 (3/2)2 + 12
= 3/2 + 2 (27/8) – 9 (9/4) + 12
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 11
अत: 2x – 3 बहुपद x + 2x3 – 9x2 + 12 का एक गुणनखण्ड है।

(iii) चूँकि q(x) = \( \frac{x}{3}-\frac{1}{4} \)  ⇒ x – 3/4 का शून्यक 3/4 है
एवं  p(x) = 8x3 – 6x2– 4x + 3.
शेषफल p (3/4) = 8 (3/4)3 – 6 (3/4)2 – 4 (3/4) + 3.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 11as
अतः q(x), p(x) का एक गुणनखण्ड है।

प्रश्न 13.
m के किस मान के लिए x3 – 2mx2 + 16 द्विपद x + 2 से विभाज्य है ?
हल:
चूँकि बहुपद x3 – 2mx2 + 16 द्विपद x + 2 से विभाज्य है
अतः शेषफल शून्य होगा। द्विपद x + 2 का शून्यक x + 2 = 0 ⇒ x = -2
एवं बहुपद p(x) = x3 – 2mx2 + 16
⇒ शेषफल p(-2) = (-2)3 – 2 m (-2) + 16 = 0
⇒ – 8 – 8 m + 16 = 0
⇒ 8m = 8 = m = 8/8 = 1
अतः m का अभीष्ट मान = 1.

प्रश्न 14.
m का मान ज्ञात कीजिए जबकि 2x – 1 बहुपद 8x4 + 4x3 – 16x2 + 10x + m का गुणनखण्ड है।
हल:
चूँकि 2x – 1 बहुपद p(x) = 8x4  + 4x3 – 16x2 + 10x + m का एक गुणनखण्ड है और 2x – 1
का शून्यक 2x – 1 = 0 ⇒ x = 1/2 है।
इसलिए शेषफल p (1/2) = 8 (1/2)4 + 4 (1/2)3 – 16(1/2)2 + 10 (1/2) + m = 0
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 12
अतः m का अभीष्ट मान = – 2.

प्रश्न 15.
गुणनखण्ड कीजिए :
(i) x2 + 9x + 18
(ii) 6x2 + 7x – 3
(ii) 2x2 – 7x – 15
(iv) 84 – 2r – 2r2.
हल:
(i) x2+ 9x + 18 = x2 + (3 + 6) x + 18
= x2 + 3x + 6x + 18
= x (x + 3)+6 (x + 3)
= (x + 3) (x + 6)
अतः अभीष्ट गुणनखण्ड = (x + 3) (x + 6).

(ii) 6x2 + 7x -3 = 6x2 + (9 – 2)x – 3
= 6x2 + 9x – 2x -3
= 3x (2x + 3) – 1 (2x + 3)
= (2x + 3) (3x – 1)
अतः अभीष्ट गुणखण्ड = (2x + 3) (3x -1).

(iii) 2x2 – 7x – 15 = 2x2 – (10 -3)x – 15
= 2x2 – 10x + 3x – 15
= 2x (x – 5) + 3 ( x- 5)
= (x – 5)(2x + 3)
अतः अभीष्ट गुणखण्ड = (x – 5) (2x + 3).

(iv) 84 – 2r – 2r2 = 2 [42 -r – r2]
= 2 [42 – (7 – 6) – r2]
= 2 [42 – 7r + 6r – r2]
= 2 [7 (6 – r) + r (6 – r)]
= 2 (6 – 1) (7+r)
अतः अभीष्ट गुणखण्ड = 2 (6 – 1) (7 + r).

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प्रश्न 16.
गुणनखण्ड कीजिए :
(i) 2x3 – 3x2 -17x + 30
(ii) x3 – 6x2 + 11x – 6
(iii) x3 + x2 – 4x – 4
(iv) 3x3 – x2 – 3x + 1.
हल:
(i) मान लीजिए – p(x) = 2x3 – 3x2 – 17x + 30
अब चूँकि p(2) = 2 (2)3 – 3 (2)2 – 17 (2) + 30
= 16 – 12 -34 + 30
= 46 – 46 = 0 है
अतः x = 2 अर्थात् x – 2, p(x) का एक गुणनखण्ड है

अब 2x3 – 3x2 – 17x + 30 = 2x3 – 4x2 + x2 – 2x – 15x + 30
= 2x2 (x – 2) + x (x -2) – 15 (x – 2)
= (x – 2) [2x2 + x – 15]
= (x – 2)[2x3 + (6 – 5)x – 15]
= (x – 2) [2x2 + 6x – 5x – 15]
= (x – 2)[2x (x + 3) – 5 (x + 3)]
= (x – 2) (x + 3) (2x – 5)
अतः अभीष्ट गुणखण्ड = (x – 2) (x + 3) (2x – 5).

(ii) मान लीजिए p(x) = x3 – 6x2 + 11x – 6
अब चूंकि p(1) = (1)3 – 6 (1)2 + 11 (1) – 6
= 1 – 6 + 11 – 6 = 12 – 12 = 0 है
अतः x – 1 बहुपद p(x) का एक गुणखण्ड है।
अब x3 – 6x2 + 11x – 6 = x3 – x2 – 5x2 + 5x + 6x – 6
= x2 (x – 1) – 5x (x – 1)+ 6 (x – 1)
= (x – 1) [x2 – 5x + 6]
= (x – 1) [x2 – (2 + 3)x  + 6]
= (x – 1) [x2 – 2x – 3x + 6]
= (x- 1) [x(x – 2)-  3 (x – 2)]
= (x – 1) (x – 2) (x – 3)
अतः अभीष्ट गुणखण्ड = (x – 1) ( x- 2) (x – 3).

(iii) मान लीजिए p(x) = x3 + x2– 4x – 4
= x2 (x + 1) – 4 (x + 1)
= (x + 1) [x2 – 4]
= (x + 1) [(x) – (2)]
= (x + 1) (x – 2) (x + 2)
अतः अभीष्ट गुणनखण्ड = (x – 2) (x + 1) (x + 2).

(iv) मान लीजिए p(x) = 3x3 – x2 – 3x + 1
= x2 (3x – 1)- 1 (3x – 1)
= (3x – 1) [x2 – 1] = (3x – 1) [(x) – (1)]
= (3x- 1) (x – 1) (x + 1)
अतः अभीष्ट गुणखण्ड = (3x – 1) (x – 1) (x + 1).

प्रश्न 17.
उपयुक्त सर्वसमिका का उपयोग करते हुए निम्नलिखित के मान निकालिए :
(i) 1033
(ii) 101 x 102
(iii) 9992.
हल:
(i) ∵ सर्वसमिका : (a + b)3 = a3 + 3a2b + 3ab2 + b3
⇒ (100 + 3)3 = (100)3 + 3 (100)2 (3) + 3 (100) (3)2 + (3)3 (a = 100 एवं b = 3 रखने पर)
⇒ (103)3 = 1000000 + 90000 + 2700 + 27
= 1092727
अतः अभीष्ट मान = 1092727.

(ii) (101) x (102) = (100 + 1) x (100 + 2)
सर्वसमिका : (x +.a) (x + b) = x2 + (a + b)x + ab.
अब x = 100, a = 1 एवं b = 2 लेने पर,
(100 + 1) (100 + 2) = (100)2 + (1 + 2) x 100 + 1 x 2
(101) x (102) = 10000 + 300 + 2 = 10302
अतः अभीष्ट मान = 10302.

(iii) (999)2 = (1000 – 1)2
सर्वसमिका : (a – b)2 = a2 – 2ab + b2
अब a = 1000 एवं b = 1 लेने पर,
(1000 – 1)2 = (1000)2 – 2 (1000) (1) + (1)2
= 1000000 – 2000 + 1
= 1000001 – 2000 = 998001
अतः अभीष्ट मान = 998001.

प्रश्न 18.
निम्नलिखित के गुणनखण्ड कीजिए :
(i) 4x2 + 20x + 25
(ii) 9y2 – 66yz + 12z2
हल:
(i) 4x2 + 20x + 25 = (2x)2 + 2 (2x) (5) + (5)2
= (2x + 5) [∵ a2 + 2ab + b2 = (a + b)2 सर्वसमिका]
अतः अभीष्ट गुणनखण्ड = (2x + 5)2.

(ii) 9y2 – 66yz + 121z2 = (3y)2  – 2 (3y) (112) + (112)2 .
= (3y – 112)2 (∵ सर्वसमिका a2 – 2ab + b = (a – b)]
अतः अभीष्ट गुणनखण्ड = (3y – 11z)2.
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प्रश्न 19.
(4a – b + 2c)2 का प्रसार लिखिए।
हल:
∵  सर्वसमिका : (x + y + z)2 = x2 + y2 + z2 + 2xy +2yz + 2zx
यहाँ x = 4a, y = – b एवं z = 2c लेने पर,
⇒ (4a – b + 2c)2 = (4a)2 + (- b)2 + (2c)2 + 2 (4a) (- b) + 2 (- b) (2c) + 2(2c) (4a)
= 16a2 + b2 + 4c2 – 8ab – 4bc + 16ca
अतः अभीष्ट प्रसार = 16a2 + b2 + 4c2 – 8ab – 4bc + 16ca.

प्रश्न 20.
सर्वसमिका का प्रयोग कर (2x + y + z)2 का प्रसार कीजिए। (2019)
हल:
4x + 2 + 2 + 4xy + 2yz + 4zx

प्रश्न 21.
यदि a + b + c= 9 और ab + bc + ca = 26 है, तो a2 + b2 + c2 का मान ज्ञात कीजिए।
हल:
∵ (a + b + c)2= (a2 + b2 + c2) + 2 (ab + bc + ca) (सर्वसमिका)
⇒ (9)2 = (a2 + b2 + c2) + 2 (26)
[∵  (a + b + c) = 9 एवं (ab + bc + ca) = 26 दिया है]
⇒ 81 = a2 + b2 + c2 + 52
⇒ a2 + b2 + c2 = 81 – 52 = 29
अतः  a2 + b2 + c2 का अभीष्ट मान = 29.

प्रश्न 22.
(3a – 2b)3 का प्रसार कीजिए।
हल:
सर्वसमिका : (x – y)3 = x3 – 3x2y + 3xy2 – y3
अब x = 3a एवं y = 2b रखने पर प्राप्त होता है :
(3a – 2b)3 = (3a)3 – 3(3a)2 (2b) + 3(3a)(2b)2 – (2b)3
= 27a3 – 54a2b + 36ab2 – 8b3
अतः अभीष्ट प्रसार = 27a3 – 54a2b + 36ab2 – 8b3.

प्रश्न 23.
गुणनखण्ड कीजिए : 1+ 64x3.
हल:
1+ 64x3 = (1)3 + (4x)3
= (1 + 4x) [(1) 2– (1) (4x) + (4x)2]
[∵  सर्वसमिका a3 + b3 = (a + b) (a2 – ab + b2) से]
= (1 + 4x) (1 – 4x + 16x2)
अतः अभीष्ट गुणनखण्ड = (1 + 4x) (1 – 4x + 16x2).

प्रश्न 24.
गुणनखण्ड कीजिए : a3 – 8b3 – 64c3 – 24abc.
हल:
a3 – 8b3 – 64c3 – 24abc
= (a)3 + (-2b)3 + (-4c)3 – 3(a) (-2b) (-4c)
= (a – 2b -4c) [(a)2 + (-2b)2 + (-4c)2 – (a) (-2b)- (-2b) (-4c)- (-4c) (a)]
[∵ सर्वसमिका : x3 + y3 + z3 – 3xyz = (x + y + z) (x2 + y2 + 2 – xy – yz – zx)]
= (a – 2b – 4c) (a + 4b2 + 16c2 + 2ab – 8bc + 4ca)
अतः अभीष्ट गुणनखण्ड = (a – 2b – 4c) (a2 + 4b2 + 16c2 + 2ab – 8bc + 4ca).
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MP Board Class 9th Maths Chapter 2 अति लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
निम्नलिखित में से कौन से व्यंजक बहुपद हैं ? अपने उत्तर का औचित्य दीजिए :
(i) 8
(ii) √3x2 – 2x
(iii) 1 – √5x
(iv) MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 13
(v) MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 14
(vi) \(\frac{1}{x+1}\)
(vii) \(\frac{1}{7} a^{3}-\frac{2}{\sqrt{3}} a^{2}+4 a-7\)
(viii) \(\frac{1}{2x}\).
उत्तर:
(i) 8 में चर का घातांक शून्य है जो एक पूर्ण संख्या है, अत: बहुपद है।
(ii) √3x2 – 2x में चर की प्रत्येक घात पूर्ण संख्या है, इसलिए बहुपद है।
(ii) 1 – √5x  में चर की घात 1/2 है जो पूर्ण संख्या नहीं है, इसलिए बहुपद नहीं है।
(iv) MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 13  अर्थात् \(\frac{1}{5}\)x2 + 5x + 7 में चर की प्रत्येक घात पूर्ण संख्या है, अत: यह बहुपद है।
(v) MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 14  में चर का घातांक – 1 है जो पूर्ण संख्या नहीं है, इसलिए यह बहुपद नहीं है।
(vi) \(\frac{1}{x+1}\) में चर की घात पूर्ण संख्या नहीं है, अत: यह बहुपद नहीं है।
(vi) \(\frac{1}{7} a^{3}-\frac{2}{\sqrt{3}} a^{2}+4 a-7\)  में चर की प्रत्येक घात पूर्ण संख्या है, अत: यह बहुपद है।
(viii) \(\frac{1}{2x}\) अर्थात् \(\frac{1}{2}\)x-1 में चर की घात – 1 है जो पूर्ण संख्या नहीं है। अत: यह बहुपद नहीं है।

प्रश्न 2.
क्या निम्नलिखित कथन सत्य हैं या असत्य, लिखिए। अपने उत्तर का औचित्य दीजिए।
(i) एक द्विपद के अधिकतम दो पद हो सकते हैं।
(ii) प्रत्येक बहुपद एक द्विपद है।
(iii) एक द्विपद की घात 5 हो सकती है।
(iv) एक बहुपद का शून्यक सदैव 0 होता है।
(v) एक बहुपद के एक से अधिक शून्यक नहीं हो सकते हैं।
(vi) घात 5 वाले दो बहुपदों के योग की घात सदैव 5 होती है।
(vii) \(\frac{1}{\sqrt{5}} x^{1 / 2}+1\)  एक बहुपद है।
(vii) \( \frac{6 \sqrt{x}+x^{3 / 2}}{\sqrt{x}}\)  , x ≠ 0 एक बहुपद है।
उत्तर:
(i) असत्य है, क्योंकि द्विपद में ठीक दो पद होते हैं।
(ii) असत्य है, क्योंकि किसी बहपद में कितने भी पद हो सकते हैं।
(iii) सत्य है, क्योंकि द्विपद की कितनी भी घात हो सकती है।
(iv) असत्य है, क्योंकि बहुपद का शून्यक कोई भी वास्तविक संख्या हो सकती है।
(v) असत्य है, क्योंकि एक बहुपद के कितने भी शून्यक हो सकते हैं।
(vi) असत्य है, क्योंकि x + 3 एवं – x5 + x + 5 का योग x + 8 है जिसकी घात 5 है।
(vii) असत्य है, क्योंकि चर की घात 1/2 है जो पूर्ण संख्या नहीं है।
(viii) सत्य है, क्योंकि \( \frac{6 \sqrt{x}+x^{3 / 2}}{\sqrt{x}}\) = 6 + x है जिसमें चर की घात पूर्ण संख्या है।

MP Board Class 9th Maths Chapter 1 वस्तुनिष्ठ प्रश्न

बहु-विकल्पीय प्रश्न

प्रश्न 1.
निम्नलिखित में से कौन एक बहुपद है :
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 2 बहुपद Ex 2.5 15
उत्तर:
(c)

प्रश्न 2.
√2 निम्नलिखित घात का एक बहुपद है :
(a) 2
(b) 0
(c) 1
(d)  \(\frac { 1 }{ 2 }\)
उत्तर:
(b) 0

प्रश्न 3.
बहुपद 4x4 + 0x3 + 0x5 + 5x + 7 की घात है :
(a) 4
(b) 5
(c) 3
(d) 7
उत्तर:
(a) 4

प्रश्न 4.
शून्य बहुपद की घात है :
(a) 0
(b) 1
(c) कोई भी प्राकृत संख्या
(d) परिभाषित नहीं।
उत्तर:
(d) परिभाषित नहीं

प्रश्न 5.
यदि p(x) = x2 – 2√2 x + 1 है, तो p (2√2) बराबर है :
(a) 0
(b) 1
(c) 4√2
(d) 8√2 + 1.
उत्तर:
(b) 1
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प्रश्न 6.
जब x = -1 है, तो बहुपद 5x – 4x2 + 3 का मान है :
(a) -6
(b) 6
(c) 2
(d) -2.
उत्तर:
(a) -6

प्रश्न 7.
यदि p(x) = x + 3 है, तो p(x) + p(-x) बराबर है :
(a) 3
(b) 2x
(c) 0
(d) 6.
उत्तर:
(d) 6.

प्रश्न 8.
शून्य बहुपद का शून्यक है :
(a) 0
(b) 1
(c) कोई वास्तविक संख्या
(d) परिभाषित नहीं।
उत्तर:
(c) कोई वास्तविक संख्या

प्रश्न 9.
बहुपद p(x) = 2x + 5 का शून्यक है :
(a) – 2/5
(b) -5/2
(c) 2/5
(d) 5/2.
उत्तर:
(b) -5/2

प्रश्न 10.
बहुपद 2x2 + 7x – 4 के शून्यकों में से एक है :
(a) 2
(b) 1/2
(c) -1/2
(d) -2.
उत्तर:
(b) 1/2

प्रश्न 11.
यदि x51 + 51 को x + 1 से भाग दिया जाय तो शेषफल है :
(a) 0
(b) 1
(c) 490
(d) 50.
उत्तर:
(d) 50.

प्रश्न 12.
यदि x + 1 बहुपद 2x2 + kx का एक गुणखण्ड है, तो k मान है :
(a) -3
(b) 4
(c) 2
(d) -2.
उत्तर:
(c) 2

प्रश्न 13.
x +1 निम्नलिखित बहुपद का एक गुणनखण्ड है :
(a) x3 + x2 – x + 1
(b) x3 + x2 + x +1
(c) x4 + x3 +  x2 +1
(d) x4 + 3x3 + 3x2 + x + 1.
उत्तर:
(b) x3 + x2 + x +1

प्रश्न 14.
(25x2 – 1) + (1 + 5x)2 के गुणनखण्डों में से एक है :
(a) 5 +x
(b) 5 – x
(c) 5x – 1
(d) 10x.
उत्तर:
(d) 10x.

प्रश्न 15.
2492 – 2482 का मान है :
(a) 12
(b) 477
(c) 487
(d) 497.
उत्तर:
(d) 497.

प्रश्न 16.
4x2 + 8x + 3 का गुणनखण्ड है :
(a) (x + 1) (x + 3)
(b) (2x + 1) (2x + 3)
(c) (2x + 2) (2x + 5)
(d) (2x – 1) (2x – 3).
उत्तर:
(b) (2x + 1) (2x + 3)

प्रश्न 17.
निम्नलिखित में से कौन (x + y) – (x + y) का एक गुणनखण्ड है :
(a) x2 + y2 + 2xy
(b) x2 + y2 –  xy .
(c) xy2
(d) 3xy.
उत्तर:
(d) 3xy

प्रश्न 18.
(x + 3)3 के प्रसार में x का गुणांक है :
(a) 1
(b) 9
(c) 18
(d) 27.
उत्तर:
(d) 27
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प्रश्न 19.
यदि \( \frac{x}{y}+\frac{y}{x}=-1(x, y \neq 0)\)  है, तो x3 – y3 का मान है :
(a) 1
(b) -1
(c) 0
(d) 1/2
उत्तर:
(c) 0

प्रश्न 20.
यदि 49x2 – b = (7x + \(\frac { 1 }{ 2 }\)) (7x –\(\frac { 1 }{ 2 }\)) है, तो 6 का मान है :
(a) 0
(b) \(\frac { 1 }\sqrt{ 2 }\)
(c) 1/4
(d) \(\frac { 1 }{ 2 }\).
उत्तर:
(c) 1/4

प्रश्न 21.
यदि a + b + c = 0 है, तो a3 + b3 + c3 बराबर है:
(a)0
(b) abc
(c) 3abc
(d) 2abc.
उत्तर:
(c) 3abc

प्रश्न 22.
यदि सभी x के लिए 2 + kx + 6 = (x + 2) (x + 3) हैं, तो k का मान है :
(a) 1
(b) -1
(c) 5
(d) 3
उत्तर:
(c) 5

प्रश्न 23.
बहुपद 5x – 4x2 + 3 का मान जब x = 2 हो, तो है :
(a) 10
(b) -3
(c) 12
(d) 3.
उत्तर:
(b) -3

प्रश्न 24.
बहुपद x2 + x – 6 का एक गुणनखण्ड (x – 2) है, तो दूसरा गुणनखण्ड होगा :
(a) (x + 3)
(b) (x + 2)
(c) (x – 3)
(d) (x – 2).
उत्तर:
(a) (x + 3)

प्रश्न 25.
बहुपद x2 – 11x + 10 का एक गुणनखण्ड (x – 1) है, तो दूसरा गुणनखण्ड होगा :
(a) (x + 10)
(b) (x – 10)
(c) (x – 11)
(d) (x + 11).
उत्तर:
(b) (x – 10)

प्रश्न 26.
बहुपद x2 – 10x – 24 का एक गुणनखण्ड (x + 2) है, तो दूसरा गुणनखण्ड होगा :
(a) (x + 12)
(b) (x – 12)
(c) (x + 8)
(d) (x – 8).
उत्तर:
(b) (x – 12)

प्रश्न 27.
एक घात वाले बहुपद को कहते हैं : (2018)
(a) द्विघात
(b) त्रिघात
(c) द्विपद
(d) रैखिक।
उत्तर:
(d) रैखिक

प्रश्न 28.
p(x) = x + x2 + 2 कितने पदीय होगा :
(a) एक पदी
(b) द्विपदी
(c) त्रिपदी
(d) इनमें से कोई नहीं।
उत्तर:
(c) त्रिपदी

प्रश्न 29.
बहुपद 9x7 – 4x6 +x + 9 की घात है :
(a) 9
(b) 7
(c) 4
(d) 6.
उत्तर:
(b) 7

प्रश्न 30.
बहुपद 1 +3y है :
(a) रेखीय
(b) द्विघाती
(c) त्रिघाती
(d) चतुर्घाती।
उत्तर:
(a) रेखीय

प्रश्न 31.
बहुपद 2 – x + x3 में x का गुणांक है :
(a) 1
(b) 2
(c) 0
(d) -1.
उत्तर:
(d) -1.

प्रश्न 32.
बहुपद 4x2 + 5x +7 की घात है : (2019)
(a) 2
(b) 3
(c) 7
(d) 5.
उत्तर:
(a) 2
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प्रश्न 33.
रेखीय बहुपद है : (2019)
(a) 3x + 5
(b) 4x + 5x
(c) 4x2 + 6x + 7
(d) x2 + 15.
उत्तर:
(a) 3x + 5

प्रश्न 34.
बहुपद p(x) = 3x – 2 का शून्यक है : (2019)
(a) -2/3
(b) 2/3
(c) 3/2
(d) 0.
उत्तर:
(b) 2/3

रिक्त स्थानों की पूर्ति

1. x2 – y2 का गुणनखण्ड ………. है।
2. बहुपद में सबसे बड़े घात वाले घातांक को बहुपद का ……….. कहते हैं।
3. एक बीजीय व्यंजक जिसमें चर के घातों में अनेक पद हो, तो ………….. कहलाता है।
4. बहुपद में चर की घात सदैव ……… होती है।
5. अशून्य अचर पद की घात सदैव ………….. होती है।
6. रेखीय बहुपद में चर की अधिकतम घात ……….. होती है। (2019)
7. 3x3 में x का गुणांक ………. है। (2018)
8. बहुपद x3 – x2 + 1 में x2 का गुणांक ……….. है। (2019)
उत्तर;
1. (x + y) (x -y),
2. घात,
3. बहुपद,
4. पूर्ण संख्या,
5. शून्य,
6. एक,
7. तीन,
8. – 1.
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जोड़ी मिलान

स्तम्भ ‘A’  स्तम्भ ‘B’

1. x3 + y3 (2019)  (a)-1
2. x3 – y3   (2019) (b) 2
3. बहुपद x + 1 का शून्यक (2019) (c) (x + y) (x2 – xy + y2)
4. बहुपद x2 + x + 5 की घात (2019) (d) (x -y) (x2 +xy + y2) .
उत्तर:
1.→(c), 2.→(d), 3.→(a), 4.→(b).

सत्य/असत्य कथन
1. बहुपद 7 एक एकपदी व्यंजक है।
2. शून्य बहुपद की घात शून्य होती है।
3. x5 – x4 + 3 की घात 5 है।
4. अशून्य अचर पद की घात परिभाषित नहीं है।
5. बहुपद 7x3 एक त्रिघात बहुपद है।
6. 3x2 + 5 एक रेखीय बहुपद है।
7. ल. स. x म. स. = बहुपदों का गुणनफल। (2018)
8. बहुपद x2 + 2x + 3 एक द्विपदी बहुपद है। (2019)
9. 7x2 + 3x + 5 में x2 का गुणांक 5 है। (2019)
उत्तर:
1. सत्य,
2. असत्य,
3. सत्य,
4. असत्य,
5. सत्य,
6. असत्य,
7. सत्य,
8. असत्य,
9. असत्य।

एक शब्द/वाक्य में उत्तर

1. ऐसा बहुपद क्या कहलाता है जिसके सभी गुणांक शून्य हैं।
2. ऐसा बहुपद क्या कहलाता है जिसमें केवल एक पद हो ?
3. केवल दो पदों वाला बहुपद क्या कहलाता है ?
4. केवल तीन पदों वाला बहुपद क्या कहलाता है ?
5. एक घात वाले बहुपद को क्या कहते हैं ?
6. बहुपद 2 – y2 – y3 + 2y8 की धात लिखिए।
उत्तर:
1. शून्य बहुपद,
2. एक पदीय बहुपद,
3. द्विपद,
4. त्रिपद,
5. रेखीय बहुपद,
6. 8 (आठ)।

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MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 1 संख्या पद्धति Additional Questions

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 1 संख्या पद्धति Additional Questions

MP Board Class 9th Maths Chapter 1 अतिरिक्त परीक्षोपयोगी प्रश्न

MP Board Class 9th Maths Chapter 1 दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
0.6 + \(0.\overline { 7 }\) + \(0.4\overline { 7 }\) को p/q के रूप में व्यक्त कीजिए; जहाँ p और q पूर्णांक हैं तथा q ≠ 0 है।
हल:
0.6 = \(\frac { 6 }{ 10 }\) = \(\frac { 3 }{ 5 }\)
मान लीजिए x = \(0.\overline { 7 }\) = 0.777 ….
⇒ 10x = 7.777…. = 7 + 0.777 = 7 + x.
⇒ 9x = 7 ⇒ x = \(\frac { 7 }{ 9 }\)

मान लीजिए y = \(0.4\overline { 7 }\) = 0.4777….
⇒ 10y = 4.7777….. = 4.3 + 0.4777…… = 4.3 + y
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 4
अतः दी हुई राशि का अभीष्ट p/q रूप = \(\frac { 167 }{ 90 }\) .

प्रश्न 2.
सरल कीजिए:
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 5
हल:
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 5a
अतः दिए हुए अपरिमेय व्यंजक का अभीष्ट सरल मान = 1.

प्रश्न 3.
यदि √2 = 1.414, √ 3= 1.732 हो, तो MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 6 का मान ज्ञात कीजिए।
हल:
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 6a
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 6b
अतः दिए हुए अपरिमेय व्यंजक का अभीष्ट मान = 2.063.

प्रश्न 4.
सरल कीजिए : \( (256)^{-\left(4^{-3 / 2}\right)}\)
हल:
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 7
अतः अभीष्ट सरल मान = 1/2.
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प्रश्न 5.
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 8 का मान ज्ञात कीजिए।
हल:
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 8
= 4(216)2/3 + (256)3/4 + 2(243)1/5
= 4(63)2/3+ (28)3/4 + 2(35)1/5
= 4 x 62 + 26 + 2 x 3
= 4 x 36 + 64 + 6
= 144 + 64 + 6 = 214
अत: अभीष्ट मान = 214.

MP Board Class 9th Maths Chapter 1 लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
ज्ञात कीजिए कि कौन-से चर x, y, z और u परिमेय संख्याएँ निरूपित करते हैं तथा कौन-से चर अपरिमेय संख्याएँ निरूपित करते हैं :
(i) x2 = 5
(ii) y2 = 9
(iii) z2 = 0.04
(iv) u2 = \(\frac { 17 }{ 4 }\).
हल:
(i) x2 = 5 ⇒ x = √5 अपरिमेय संख्या
(ii) y2 = 9 = y = √9 = 3 परिमेय संख्या
(iii) z2 = 0.04 ⇒ y2 = (0.2)2 = y = 0.2 परिमेय संख्या
(iv) u2 = \(\frac { 17 }{ 4 }\) ⇒ u = \(\sqrt [ 17 ]{ 4 }\) = \(\sqrt [ 17 ]{ 2 }\)
अतः y एवं z परिमेय संख्याएँ हैं तथा x एवं u अपरिमेय संख्याएँ हैं।

प्रश्न 2.
निम्नलिखित के बीच तीन परिमेय संख्याएँ ज्ञात कीजिए :
(i) -1 और -2
(ii) 0.1 और 0.11
(iii) \(\frac { 5 }{ 7 }\) और \(\frac { 6 }{ 7 }\)
(iv) \(\frac { 1 }{ 4 }\) और \(\frac { 1 }{ 5 }\).
हल:
(i) – 1 और – 2 को \(\frac { 4 }{ 4 }\) से गुणा करके लिखने पर,
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 9
अतः अभीष्ट परिमेय संख्याएँ हैं : – 5/4, – 6/4 एवं – 7/4.

(ii) 0.1 और 0.11 को = से गुणा करके लिखने पर,
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 9a
अत: अभीष्ट परिमेय संख्याएँ हैं : \(\frac { 0.41 }{ 4 }\), \(\frac { 0.42 }{ 4 }\) एवं \(\frac { 0.43 }{ 4 }\).

(iii) \(\frac { 5 }{ 7 }\) और \(\frac { 6 }{ 7 }\) को \(\frac { 4 }{ 4 }\) से गुणा करके लिखने पर,
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 9a
अत: अभीष्ट परिमेय संख्याएँ हैं : \(\frac { 21 }{ 28 }\),\(\frac { 22 }{ 28 }\) एवं \(\frac { 23 }{ 28 }\).

(iv) \(\frac { 1 }{ 4 }\) और \(\frac { 1 }{ 5 }\) को \(\frac { 4 }{ 4 }\) से गुणा करके लिखने पर,
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 9c
अत: अभीष्ट परिमेय संख्याएँ हैं : \(\frac { 4 }{ 17 }\), \(\frac { 4 }{ 18 }\) एवं \(\frac { 4 }{ 19 }\)

प्रश्न 3.
\(\frac { 5 }{ 7 }\) और \(\frac { 6 }{ 7 }\) के बीच दो परिमेय संख्याएँ लिखिए। (2019)
हल:
\(\frac { 16 }{ 21 }\) एवं \(\frac { 17 }{ 21 }\)

प्रश्न 4.
निम्नलिखित के बीच एक परिमेय संख्या और एक अपरिमेय संख्या प्रविष्ट कीजिए :
(i) 2 और 3
(ii) 0 और 0.1
(iii) \(\frac { 1 }{ 3 }\) और \(\frac { 1 }{ 2 }\)
(iv) \(\frac { -2 }{ 5 }\) और \(\frac { 1 }{ 2 }\)
(v) 0.15 और 0.16
(vi) √2 और √3
(vii) 2.357 और 3.121
(viii) 0.0001 और 0.001
(ix) 3.623623 और 0.484848
(x) 6.375289 और 6.375738.
उत्तर:
(i) 2 और 3 के बीच परिमेय संख्या = 2.5 एवं अपरिमेय संख्या = √6
(ii) 0 और 0.1 के बीच परिमेय संख्या = 0.05 एवं अपरिमेय संख्या = 0.010010001…
(iii) \(\frac { 1 }{ 3 }\) और \(\frac { 1 }{ 2 }\) के बीच परिमेय संख्या = \(\frac { 2 }{ 5 }\) = एवं अपरिमेय संख्या = \(\frac { 1 }{ \sqrt { 5 } }\)
(iv) –\(\frac { 2 }{ 5 }\) और \(\frac { 1 }{ 2 }\) के बीच परिमेय संख्या = \(\frac { 1 }{ 4 }\) = एवं अपरिमेय संख्या = \(\frac { 1 }{ \sqrt { 5 } }\)
(v) 0.15 और 0.16 के बीच परिमेय संख्या = 0.155 एवं अपरिमेय संख्या = 0.15050050005 ….
(vi) √2 एवं √3 के बीच परिमेय संख्या = 1.5 एवं अपरिमेय संख्या = 1.505005000…..
(vii) 2.357 एवं 3.121 के बीच परिमेय संख्या = 2.5 एवं अपरिमेय संख्या = 3.010010001….
(viii) 0.0001 और 0:001 के बीच परिमेय संख्या = 0.0005 एवं अपरिमेय संख्या = 0.0083030030003……..
(ix) 3.623623 और 0.484848 के बीच परिमेय संख्या = 2 एवं अपरिमेय संख्या = 2.01001000100001……..
(x) 6.375289 और 6.375738 के बीच परिमेय संख्या = 6.3755 एवं अपरिमेय संख्या = 6.37530300300030000 …

MP Board Solutions
प्रश्न 5.
संख्या रेखा पर (i) √5, (ii) √10 , (iii) √13 और (iv) √17 को निरूपित कीजिए।
हल:
(i) संख्या रेखा पर √5 का निरूपण :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 10
(ii) संख्या रेखा पर √10 का निरूपण :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 10a
(iii) संख्या रेखा पर √13 का निरूपण :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 10b
(iv) संख्या रेखा पर √17 का निरूपण :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 10c
अतः अभीष्ट मान संख्या रेखा पर बिन्दु C से निरूपित हैं।

प्रश्न 6.
संख्या रेखा पर निम्नलिखित संख्याओं को ज्यामितीय रूप से निरूपित कीजिए :
(i) \(\sqrt { 4.5 }\)
(ii) \(\sqrt { 5.6 }\)
(iii) \(\sqrt { 8.1 }\)
(iv) \(\sqrt { 2.3 }\)
हल:
(i) \(\sqrt { 4.5 }\) का संख्या रेखा पर ज्यामितीय निरूपण :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 11
अत: संख्या रेखा पर अभीष्ट बिन्दु E = \(\sqrt { 4.5 }\) निरूपित हैं।

(ii) \(\sqrt { 5.6 }\) का संख्या रेखा पर ज्यामितीय निरूपण :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 12
चित्र 1.10 अतः संख्या रेखा पर अभीष्ट बिन्दु E = \(\sqrt { 5.6 }\) निरूपित है।

(iii) \(\sqrt { 8.1 }\) का संख्या रेखा पर ज्यामितीय निरूपण :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 13
अतः संख्या रेखा पर अभीष्ट बिन्दु E = \(\sqrt { 8.1 }\) निरूपित है।

(iv) \(\sqrt { 2.3 }\) का संख्या रेखा पर ज्यामितीय निरूपण करना :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 14
अतः संख्या रेखा पर अभीष्ट बिन्दु E = \(\sqrt { 2.3 }\) निरूपित है।

प्रश्न 7.
निम्नलिखित को p/q के रूप में व्यक्त कीजिए; जहाँ p और q पूर्णांक हैं तथा q ≠ 0 है :
(i) 0.2
(ii) \(0.\overline { 8 }\) अथवा 0.888…. (2019)
(iii) \(5.\overline { 2 }\),
(iv) \(0.\overline { 001 }\),
(v) 0.2555….
(vi) \(0.1\overline { 34 }\)
(vii) 0.00323232 ….
(viii) 0-404040 ….
(ix) \(0.12\overline { 3 }\).
हल:
(i) 0.2 = \(\frac { 2 }{ 10 }\) = \(\frac { 1 }{ 5 }\) .
(ii) 0.888 …. = x (मान लीजिए)
⇒ 10x = 8.888…..= 8 + 0.888….. = 8 + x.
⇒ 9x = 8 ⇒ x = \(\frac { 8 }{ 9 }\)

(iii) \(5.\overline { 2 }\) = 5.222….. = x (मान लीजिए)
⇒ 10x = 52.222…. = = 47 + 5.222 . . . . = 47 + x
⇒ 9x = 47 ⇒ x = \(\frac { 47 }{ 9 }\).

(iv) 0.001 = 0.001001001 …. =x (मान लीजिए)
⇒ 1000x = 1:001001001…. = 1+ 0.001001001 = 1 + x
⇒ 999x = 1 ⇒ x = \(\frac { 1 }{ 999 }\)

(v) 0.2555 …. = x (मान लीजिए)
⇒ 10x = 2.555 ….. = 2.3 + 0.2555 …. = 2.3 +x
⇒ 9x = 2.3 ⇒ n = 2.3 = \(\frac { 23 }{ 90 }\).

(vi) \(0.1\overline { 34 }\) = 0.1343434 …. =x (मान लीजिए)।
⇒ 100x = 13.434343…. = 13.3 + 0.1343434…. = 13:3 + x
⇒ 99x = 13.3 ⇒ x = \(\frac { 13.3 }{ 99 }\) = \(\frac { 133 }{ 990 }\).

(vii) 0.00323232 …. = x (मान लीजिए)
⇒ 100x = 0. 323232 .. . = 0.32 + 0.003232 …. = 0.32 + x
⇒ 99x = 032 ⇒ x = \(\frac { 0.32 }{ 99 }\) = \(\frac { 32 }{ 9900 }\) = \(\frac { 8 }{ 2475 }\)

(viii) 0.404040….. = x (मान लीजिए)
⇒ 100x = 40.404040….40 + 0.404040 …. = 40 +x
⇒ 99x = 40 ⇒ x = \(\frac { 40 }{ 99 }\)

(ix) \(0.12\overline { 3 }\) = 0.12333 …. = x (मान लीजिए)
⇒ 10x = 1.2333…. = 1.11 + 0.12333 . . . . = 1.11 + x
⇒ 9x = 1.11 ⇒ x = \(\frac { 1.11 }{ 9 }\) = \(\frac { 111 }{ 900 }\).

प्रश्न 8.
दर्शाइए कि 0.142857142857….= \(\frac { 1 }{ 7 }\) है।
हल:
मान लीजिए x = 0.142857142857 ….
⇒ 1000000x = 142857.142857142857…..
= 142857 + 0.142857142857 . . . . .
= 142857 + x
⇒ 999999x = 142857
⇒ x = \(\frac { 142857 }{ 999999 }\) = \(\frac { 1 }{ 7 }\)
⇒ 0.142857142857 ….. = \(\frac { 1 }{ 7 }\)

MP Board Solutions
प्रश्न 9.
निम्नलिखित को सरल कीजिए :
(i) \(\sqrt { 45 }\) – 3\(\sqrt { 20 }\) + 4√5
(ii) \(\frac{\sqrt{24}}{8}+\frac{\sqrt{54}}{9}\)
(ii) 4√12 x 7√6
(iv) 4√28 ÷ 3√7.
हल:
(i) \(\sqrt { 45 }\) – 3\(\sqrt { 20 }\) + 4√5 = 3√5 – 6√5 + 4√5
= 7√5 – 6√5 = 5
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 15

(iii) 4√12 x 7√6 = 28√72 = 28 x 6√2 = 168√2.
(iv) 4√28 – 3√7 = 8√7 + 3√7 = 8√3.

प्रश्न 10.
यदि a = 2 + √3 है, तो a – \(\frac { 1 }{a }\) का मान ज्ञात कीजिए।
हल:
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 16
अत: a – \(\frac { 1 }{a }\) का अभीष्ट मान = 2√3.

प्रश्न 11.
निम्नलिखित में से प्रत्येक में हर का परिमेयीकरण कीजिए और फिर √2 = 1:414, √3 = 1.732 और √5 = 2:236 लेते हुए, तीन दशमलव अंक तक प्रत्येक का मान ज्ञात कीजिए:
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 17
हल:
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 17a

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MP Board Class 9th Maths Chapter 1 अति लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
मान लीजिए कि x और y क्रमशः परिमेय और अपरिमेय संख्याएँ हैं। क्या x + y आवश्यक रूप से एक अपरिमेय संख्या है ? अपने उत्तर की पुष्टि के लिए एक उदाहरण दीजिए।
उत्तर:
हाँ।
उदाहरण: मान लीजिए x = 2 एवं y = √2
x + y = 2 + 1.41421356237…….. = 3.41421356237
जो असांत एवं अनावर्ती है अत: x + y एक अपरिमेय संख्या है।

प्रश्न 2.
मान लीजिए x एक परिमेय संख्या है और । एक अपरिमेय संख्या है। क्या xy आवश्यक रूप से एक अपरिमेय संख्या है ? एक उदाहरण द्वारा अपने उत्तर का औचित्य दीजिए।
उत्तर:
नहीं।
उदाहरण : मान लीजिए x = 0 एवं y = √2 तब x.y = 0 x √2 = 0 एक परिमेय संख्या है
अत: यह आवश्यक नहीं कि xy एक अपरिमेय संख्या ही हो।

प्रश्न 3.
बताइए निम्नलिखित कथन सत्य हैं या असत्य। अपने उत्तर का औचित्य दीजिए :
(i) √2√3 एक परिमेय संख्या है।
(ii) किन्हीं दो पूर्णांकों के बीच अपरिमित रूप से अनेक पूर्णांक हैं।
(iii) 15 और 18 के बीच में परिमेय संख्याओं की संख्या परिमित है।
(iv) कुछ संख्याएँ ऐसी हैं जिन्हें p/q, q ≠ 0 के रूप में नहीं लिखा जा सकता; जहाँ p और q दोनों पूर्णांक हैं।
(v) एक अपरिमेय संख्या का वर्ग सदैव एक परिमेय संख्या होती है।
(vi) [/latex]\frac{\sqrt{12}}{\sqrt{3}}[/latex], \(\frac { p }{ q }\) ≠ 0 के रूप में लिखी है, इसलिए यह एक परिमेय संख्या है।
(vii) [/latex]\frac{\sqrt{15}}{\sqrt{3}}[/latex], \(\frac { p }{ q }\), q ≠ 0 के रूप में लिखी है, इसलिए यह एक परिमेय संख्या है।
(viii) एक संख्या x ऐसी है कि x2 अपरिमेय है और x4 परिमेय है। उदाहरण की सहायता से अपने उत्तर का औचित्य दीजिए।
उत्तर:
(i) असत्य है, क्योंकि p अर्थात् √2 पूर्णांक नहीं है।
(ii) असत्य है, क्योंकि 2 और 3 के बीच एक भी पूर्णांक नहीं है।
(iii) असत्य है, क्योंकि 15 और 18 के बीच अपरिमित परिमेय संख्याएँ हैं।
(iv) सत्य है, क्योंकि [/latex]\frac{\sqrt{2}}{\sqrt{3}}[/latex] में √2 एवं √3 पूर्णांक नहीं हैं, इसलिए इसे p/q, q ≠ 0 के रूप में नहीं लिख सकते जहाँ p एवं q पूर्णांक हों।
(v) असत्य है, क्योंकि \(((\sqrt[3]{5})^{2}=\sqrt[3]{25}\) जो अपरिमेय संख्या है।
(vi) सत्य है, क्योंकि \(\frac{\sqrt{12}}{\sqrt{3}}=\sqrt{4}=2\) एक परिमेय संख्या है, किन्तु इसलिए नहीं कि p/q के रूप में लिखी है, अपितु इसलिए कि इसको सरलतम रूप में के रूप में लिखा जा सकता है।
(vii) असत्य है, क्योंकि \(\frac{\sqrt{15}}{\sqrt{3}}=\sqrt{5}\) है जो एक अपरिमेय संख्या है।
(vii) सत्य है, क्योंकि x = [/latex]\frac{\sqrt{4}}{\sqrt{3}}[/latex] तो x2 = ( [/latex]\frac{\sqrt{4}}{\sqrt{3}}[/latex])2 = √3 एक अपरिमेय संख्या है, जबकि x4 = ( [/latex]\frac{\sqrt{4}}{\sqrt{3}}[/latex])4 = 3 एक परिमेय संख्या है।

प्रश्न 4.
औचित्य देते हुए निम्नलिखित को परिमेय या अपरिमेय संख्याओं के रूप में वर्गीकृत कीजिए:
(i) \(\sqrt { 196 }\)
(ii) 3\(\sqrt { 18 }\) ,
(iii) \(\sqrt { \frac { 9 }{ 27 } }\)
(iv) \(\frac{\sqrt{28}}{\sqrt{343}}\)
(v) – \(\sqrt { 0.4 }\),
(vi) \(\frac{\sqrt{12}}{\sqrt{75}}\),
(vi) 0.5918,
(viii) (1 + √5) – (4 + √5),
(ix) 10.124124….
(x) 1.010010001….
उत्तर:
(i) \(\sqrt { 196 }\) = 14 एक परिमेय संख्या है।
(ii) 3\(\sqrt { 18 }\) = 9√2 अपरिमेय है, क्योंकि यह परिमेय संख्या 9 एवं अपरिमेय संख्या √2 का गुणनफल है।
(iii) \(\sqrt { \frac { 9 }{ 27 } }\) = \({ \frac { 1 } { √3 } }\) अपरिमेय है, क्योंकि यह परिमेय संख्या 1 एवं अपरिमेय संख्या √3 का भागफल है।
(vi) परिमेय \(\frac{\sqrt{28}}{\sqrt{343}}=\frac{2 \sqrt{7}}{7 \sqrt{7}}=\frac{2}{7}\) संख्या है, क्योंकि यह दो परिमेय संख्याओं 2 एवं 7 का भागफल है।
(v) अपरिमेय संख्या है क्योंकि \(-\sqrt{0 \cdot 4}=\frac{-2}{\sqrt{10}}\) जो एक परिमेय संख्या – 2 एवं एक अपरिमेय संख्या √10 का भागफल है।
(vi) \(\frac{\sqrt{12}}{\sqrt{75}}=\frac{2 \sqrt{3}}{5 \sqrt{3}}=\frac{2}{5}\) एक परिमेय संख्या है क्योंकि यह दो परिमेय संख्याओं 2 एवं 5 का भागफल है।
(vii) 0.5918 परिमेय संख्या है, क्योंकि दशमलव प्रसार सांत है।
(viii) (1 + √5) – (4 + √5) = 1 + √5 – 4 – √5 = – 3 एक परिमेय संख्या है।
(ix) 10.124124 ….. एक परिमेय संख्या है क्योंकि दशमलव प्रसार असांत आवर्ती है।
(x) 1.010010001 …. एक अपरिमेय संख्या है क्योंकि दशमलव प्रसार असांत अनावर्ती है।

प्रश्न 5.
क्या ऐसी दो अपरिमेय संख्याएँ हैं जिनका योग एवं गुणनफल दोनों ही परिमेय संख्याएँ हैं। अपने उत्तर का औचित्य दीजिए।
उत्तर:
हाँ, (2 + √3) एवं (2 – √3) ऐसी संख्याएँ हैं
जिनका योग = (2 + √3) + (2 – √3) = 2 + √3 + 2 – √3 = 4 परिमेय है
तथा जिनका गुणनफल = (2 + √3)(2 – √3) = 4 – 3 = 1 परिमेय संख्या है।

प्रश्न 6.
सरल कीजिए : (5 + √7) x (5 – √7). (2019)
हल:
(5 + √7) x (5 – √7) = (5)2 – (√7)2 = 25 – 7 = 18
अतः अभीष्ट मान = 18.
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MP Board Class 9th Maths Chapter 1 बहु-विकल्पीय प्रश्न

प्रश्न 1.
प्रत्येक परिमेय संख्या है:
(a) एक प्राकृत संख्या
(b) एक पूर्णांक
(c) एक वास्तविक संख्या
(d) एक पूर्णांक संख्या।
उत्तर:
(c) एक वास्तविक संख्या

प्रश्न 2.
दो परिमेय संख्याओं के बीच में:
(a) कोई परिमेय संख्या नहीं होती
(b) ठीक एक परिमेय संख्या होती है
(c) अपरिमित रूप से अनेक परिमेय संख्याएँ होती हैं
(d) केवल परिमेय संख्याएँ होती हैं तथा कोई अपरिमेय संख्या नहीं होती।
उत्तर:
(c) अपरिमित रूप से अनेक परिमेय संख्याएँ होती हैं

प्रश्न 3.
एक परिमेय संख्या का दशमलव निरूपण नहीं हो सकता :
(a) सांत
(b) असांत
(c) असांत आवर्ती
(d) असांत अनावर्ती।
उत्तर:
(d) असांत अनावर्ती

प्रश्न 4.
किन्हीं दो अपरिमेय संख्याओं का गुणनफल होता है:
(a) सदैव एक अपरिमेय संख्या मारमय सख्या
(b) सदैव एक परिमेय संख्या
(c) सदैव एक पूर्णांक
(d) कभी परिमेय संख्या कभी अपरिमेय संख्या।
उत्तर:
(d) कभी परिमेय संख्या कभी अपरिमेय संख्या

प्रश्न 5.
संख्या √2 का दशमलव प्रसार है :
(a) एक परिमित दशमलव
(b) 1:41421
(c) असांत आवर्ती
(d) असांत अनावर्ती।
उत्तर:
(d) असांत अनावर्ती

प्रश्न 6.
निम्नलिखित में से कौन-सी एक अपरिमेय संख्या है :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 18
उत्तर:
(c)
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प्रश्न 7.
निम्नलिखित में से कौन-सी एक अपरिमेय संख्या है :
(a) 0.14
(b) \(0.4\overline { 16 }\)
(c) \(0.\overline { 1416 }\)
(d) 0.4014001400014….
उत्तर:
(d) 0.4014001400014….

प्रश्न 8.
√2 और √3 के बीच एक परिमेय संख्या है :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 19
उत्तर:
(c)

प्रश्न 9.
p/q के रूप में 1.999… का मान, जहाँ p और q पूर्णांक हैं तथा q ≠ 0 होगा :
(a) \(\frac { 19 }{ 18 }\)
(b) \(\frac { 1999 }{ 1000 }\)
(c) 2
(d) \(\frac { 1 }{ 9 }\)
उत्तर:
(c) 2

प्रश्न 10.
2√3 + √3 बराबर है :
(a) 2√6
(b) 6
(c) 3√5
(d) 4√6.
उत्तर:
(c) 3√5

प्रश्न 11.
√10 x √15 बराबर है :
(a) 6√5
(b) 5√6
(c) √25
(d) 10√5.
उत्तर:
(b) 5√6

प्रश्न 12.
\(\frac{1}{\sqrt{7}-2}\) के परिमेयीकरण करने पर प्राप्त संख्या है :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 20
उत्तर:
(a)

प्रश्न 13.
\(\frac{1}{\sqrt{9}-\sqrt{8}}\) बराबर है :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 21
उत्तर:
(d)

प्रश्न 14.
\(\frac{7}{3 \sqrt{3}-2 \sqrt{2}}\) के हर का परिमेयीकरण करने पर हमें प्राप्त हर है :
(a) 13
(b) 19
(c) 5
(d) 35
उत्तर:
(b) 19
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प्रश्न 15.
\(\frac{\sqrt{32}+\sqrt{48}}{\sqrt{8}+\sqrt{12}}\) का मान बराबर है :
(a) √2
(b) 2
(c) 4
(d) 8
उत्तर:
(b) 2

प्रश्न 16.
यदि √2 = 1.4142 है, तो \(\sqrt{\frac{\sqrt{2}-1}{\sqrt{2}+1}}\) बराबर है :
(a) 2.4142
(b) 5.8282
(c) 0.4142
(d) 0.1718.
उत्तर:
(c) 0.4142

प्रश्न 17.
\(\sqrt[4]{\sqrt[3]{2^{2}}}\) बराबर है :
(a) 2-1/6
(b) 2-6
(c) 21/6
(d) 26
उत्तर:
(c) 21/6

प्रश्न 18.
गुणनफल 12 x 4/2 x 12/32 बराबर है :
(a) √2
(b) 2
(c) \(\sqrt[2]{2}\)
(d) 1
उत्तर:
(b) 2

प्रश्न 19.
\(\sqrt[4]{(81)^{-2}}\) का मान है :
(a) \(\frac { 1 }{ 9 }\)
(b) \(\frac { 1 }{ 3 }\)
(c) 9
(d) \(\frac { 1 }{ 81 }\)
उत्तर:
(a) \(\frac { 1 }{ 9 }\)

प्रश्न 20.
(256)0.16 x (256)0.09 का मान है:
(a) 4
(b) 16
(c) 64
(d) 256.25
उत्तर:
(a) 4

प्रश्न 21.
निम्नलिखित में से कौन x के बराबर है :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 22
उत्तर:
(c)
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प्रश्न 22.
निम्नलिखित से कौन [(5/6)1/5]-1/6 के बराबर नहीं है :
MP Board Class 9th Maths Guide Chapter 1 संख्या पद्धति Ex 1.6 23
उत्तर:
(a)

प्रश्न 23.
किसी वास्तविक संख्या का निरपेक्ष मान सदैव होता है : (2018)
(a) प्राकृत संख्या
(b) परिमेय संख्या
(c) ऋण संख्या
(d) धन संख्या।
उत्तर:
(d) धन संख्या

प्रश्न 24.
निम्न में से कौन-सी परिमेय संख्या नहीं है: (2019)
(a) \(\sqrt { 23 }\)
(b) \(\sqrt { 225 }\)
(c) \(\sqrt { 249 }\)
(d) \(5.\overline { 328 }\)
उत्तर:
(a) \(\sqrt { 23 }\)

प्रश्न 25.
निम्नलिखित में कौन-सी अपरिमेय संख्या है : (2019)
(a) 0.23
(b) 0:2023002300023 ……..
(c) \(0.23\overline { 25 }\)
(d) \(0.\overline { 2325 }\)
उत्तर:
(b) 0:2023002300023 ……..

प्रश्न 26.
am x an का मान होगा : (2019)
(a) am+n
(b) amn
(c) am-n
(d) am/n
उत्तर:
(a) am+n

रिक्त स्थानों की पूर्ति

1. सभी प्राकृत संख्याएँ एवं शून्य मिलकर ………कहलाती हैं।
2. जो संख्याएँ p/q, q ≠ 0 के रूप में व्यक्त की जा सकती हैं, जहाँ p, q पूर्णांक है, ………. कहलाती हैं।
3. जो संख्याएँ p/q, q ≠ 0 के रूप में व्यक्त नहीं की जा सकती; जहाँ p, q पूर्णांक हैं ……….. कहलाती हैं।
4. दो परिमेय संख्याओं के मध्य ……….. परिमेय संख्याएँ होती हैं। (2019)
5. दो अपरिमेय संख्याओं के मध्य ………. अपरिमेय संख्याएँ होती हैं।
6. 3√5 का करणी घात ………. है। (2018)
7. सबसे छोटी प्राकृत संख्या ……….. है। (2019)
उत्तर:
1. पूर्णांक संख्याएँ,
2. परिमेय संख्याएँ,
3. अपरिमेय संख्याएँ,
4. अनन्तत: अनेक,
5. अनन्ततः अनेक,
6. पाँच (5),
7. 1 (एक)।

जोड़ी मिलान
स्तम्भ ‘A’                                                            स्तम्भ ‘B’
1. सांत दशमलव प्रसार                              (a) वास्तविक संख्याएँ
2. अनवसानी अनावर्ती दशमलव प्रसार         (b) पूर्ण संख्याएँ
3. 8-1/3 (2019)                                       (c) परिमेय संख्या
4. सभी परिमेय एवं अपरिमेय संख्याएँ           (d) अपरिमेय संख्या
5. शून्य एवं प्राकृत संख्याएँ मिलकर              (e) 1/2
उत्तर:
1.→(c), 2.→(d), 3.→(e), 4.→(a), 5.→(b).
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सत्य/असत्य कथन

1. दो परिमेय संख्याओं का योग सदैव परिमेय होता है।
2. दो अपरिमेय संख्याओं का योग सदैव अपरिमेय होता है
3. प्रत्येक पूर्णांक परिमेय संख्या होती है।
4. प्रत्येक वास्तविक संख्या परिमेय संख्या होती है।
5. प्रत्येक अपरिमेय संख्या वास्तविक संख्या होती है।
6. \(\frac { 32 }{ 48 }\), \(\frac { 2 }{ 3 }\) के तुल्य परिमेय संख्या है। (2019)
7. √2 एक परिमेय संख्या है। (2019)
उत्तर:
1. सत्य,
2. असत्य
3. सत्य,
4. असत्य,
5. सत्य,
6. सत्य,
7. असत्य।

एक शब्द/वाक्य में उत्तर

1. am x an का सरलतम रूप क्या होगा?
2. am x bn को सरल रूप में लिखिए।
3. am ÷ an का सरल रूप लिखिए।
4. a° का मान कितना होता है ?
5. a-m को धनात्मक घातांक में लिखिए।
6. √3 का मान लिखिए। (2019)
उत्तर:
1. am+n,
2. (ab)n,
3. am-n,
4. 1,
5. (1/a)m ,
6. 1.732……. .

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MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1

प्रश्न 1.
एक चतुर्भुज के कोण 3 : 5 : 9 : 13 के अनुपात में हैं। इस चतुर्भुज के सभी कोण ज्ञात कीजिए। (2018, 19)
हल:
चूँकि चतुर्भुज के चारों कोणों का अनुपात = 3 : 5 : 9 : 13 (दिया है)
मान लीजिए उसके कोण क्रमश: 3x, 5x, 9x एवं 13x हैं तो 3x + 5x + 9x + 13x = 360° (चतुर्भुज के कोणों का योग 360° होगा।)
⇒ 30x = 360°
⇒ x = 360°/30 = 12
इसलिए प्रथम कोण = 3 x x = 3 x 12 = 36°
द्वितीय कोण = 5 x x = 5 x 12 = 60°
तृतीय कोण = 9 x x = 9 x 12 = 108°
चतुर्थ कोण = 13 x x = 13 x 12 = 156°
अतः कोणों का अभीष्ट मान क्रमशः 36°, 60°, 108° एवं 156° हैं।

प्रश्न 2.
यदि एक समान्तर चतुर्भुज के विकर्ण बराबर हों तो दर्शाइए कि वह एक आयत है। (2019)
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 1
चित्र 8.1
हल:
समान्तर चतुर्भुज ABCD के विकर्ण AC = DB (दिया है)
∆ABC एवं ∆DCB में,
चूँकि AB = DC (समान्तर चतुर्भुज की सम्मुख भुजाएँ हैं)
AC = DB (दिया है)
एवं BC = BC (उभयनिष्ठ है)
∆ABC ≅ ∆DCB (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
∠ABC = ∠DCB (CPCT)
लेकिन ∠ABC + ∠DCB = 180° (AB || DC, BC तिर्यक के एक ओर के अन्तः कोण हैं)
⇒ ∠ABC = ∠DCB = 90°
लेकिन ∠A = ∠C तथा ∠B = ∠D (समान्तर – के सम्मुख कोण)
⇒ ∠A =∠B = ∠C = ∠D = 90° (समकोण)
अत: ABCD एक आयत है। इति सिद्धम्

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प्रश्न 3.
दर्शाइए कि यदि एक चतुर्भुज के विकर्ण परस्पर समकोण पर समद्विभाजित करें तो वह एक समचतुर्भुज होता है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 2
हल:
दिया है: एक चतुर्भुज जिसके विकर्ण AC और BD परस्पर समकोण पर समद्विभाजित करते हैं, अर्थात्
AO = CO एवं BO = DO …..(1)
और ∠AOB = ∠ BOC = ∠COD = ∠DOA = 90° …(2)
∆AOB और ∆AOD में,
चूँकि BO = DO [समीकरण (1) से]
∠AOB = ∠DOA [समीकरण (2) से]
एवं AO = AO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆AOB ≅ ∆AOD (SAS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ AB = AD (CPCT)
अब ∆AOD और ∆COB में,
चूँकि AO = CO [समीकरण (1) से]
⇒ ∆AOD ≅ ∆COB [समीकरण (2) से]
एवं DO = BO [समीकरण (1) से]
⇒ ∆AOD ≅ ∆COB (SAS प्रमेय से)
⇒ AD = BC (CPCT)
एवं ∠ADO = ∠CBO (CPCT)
AD || BC (एकान्तर कोण ∠ADO = ∠CBO)
इसलिए ABCD एक समान्तर चतुर्भुज है। (क्योंकि रेखा युग्म AD, BC बराबर और समान्तर हैं)
AB = BC = CD = DA (∵ AB = CD, DA = BC एवं AB = DA)
अतः ABCD एक सम चतुर्भुज है। इति सिद्धम्

प्रश्न 4.
दर्शाइए कि एक वर्ग के विकर्ण बराबर होते हैं और परस्पर समकोण पर समद्विभाजित करते हैं।
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 3
चित्र 8.3
दिया है : एक वर्ग ABCD जिसके विकर्ण AC एवं BD परस्पर O बिन्दु पर प्रतिच्छेद करते हैं।
अब ∆ABC एवं ∆DCB में,
चूँकि AB = DC (वर्ग की भुजाएँ हैं)।
∠ABC = ∆DCB = 90° (वर्ग के कोण हैं)
एवं BC = BC (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆ABC ≅ ∆DCB (SAS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ AC = BD (CPCT)
अतः वर्ग के विकर्ण बराबर होते हैं।
इति सिद्धम् चूँकि वर्ग एक समान्तर चतुर्भुज है, इसलिए उसके विकर्ण AC एवं BD परस्पर O बिन्दु पर समद्विभाजित करेंगे।
अर्थात् AO = CO एवं BO = DO …(1)
अब, ∆ABO और ∆ADO में, AB = AD (वर्ग की भुजाएँ हैं)
BO = DO [समीकरण (1) से]
एवं AO = AO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆ABO ≅ ∆ADO (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ ∠AOB = ∠AOD (CPCT)
लेकिन ∠AOB + ∠AOD = 180° (रेखाखण्ड BD बिन्दु 0 पर एक ही ओर बने कोण हैं)
⇒∠AOB = ∠AOD = 90°
अतः वर्ग के विकर्ण परस्पर समकोण पर समद्विभाजित करते हैं। इति सिद्धम्

प्रश्न 5.
दर्शाइए कि यदि एक चतुर्भुज के विकर्ण बराबर हों और परस्पर लम्बवत् समद्विभाजित करें तो वह एक वर्ग होगा।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 4
चित्र 8.4
हल:
दिया है : ABCD चतुर्भुज के विकर्ण AC और BD परस्पर बिन्दु O पर लम्ब समद्विभाजित करते हैं तथा परस्पर बराबर हैं अर्थात्
AO = CO, BO = DO,
∠AOB = ∠ BOC = ∠COD = ∠DOA = 90°
एवं विकर्ण AC = BD
अब ∆AOD और ∆COB में,
चूँकि AO = CO (दिया है)
∠DOA = ∠BOC = 90° (दिया है)
एवं DO = BO (दिया है)
⇒ ∆AOD ≅ ∆COB (SAS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ AD = BC (CPCT)
⇒ ∠ADO = ∠OBC (CPCT)
⇒ AD || BC (∠ADO एवं ∠OBC एकान्तर कोण हैं)
⇒ □ABCD एक समान्तर चतुर्भुज है। (चूँकि AD = BC एवं AD || BC)
AB = CD एवं BC = DA (सम्मुख भुजाएँ हैं) …(1)
अब ∆AOB और ∆AOD में,
चूँकि BO = DO (दिया है)
∠AOB = ∠AOD = 90° (दिया है)
एवं AO = AO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆AOB ≅ ∆AOD (CPCT) (SAS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ AB = DA …(2)
⇒ AB = BC = CD = DA [समीकरण (1) एवं (2) से]
इसलिए ABCD एक समचतुर्भुज है।
अब ∆ABC एवं ∆DCB में,
चूँकि AB = DC (समान्तर चतुर्भुज की सम्मुख भुजाएँ हैं)
AC = DB (दिया है)
एवं BC = BC (उभयनिष्ठ है)
∆ABC ≅ ∆DCB (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
∠ABC = ∠DCB (CPCT)
∠ABC = ∠CDA
एवं ∠DAB = ∠ BCD (समान्तर □ के सम्मुख कोण हैं)
∠ABC = ∠BCD = ∠CDA = ∠ DAB
लेकिन ∠ABC + ∠BCD + ∠CDA + ∠DAB = 360° (चतुर्भुज के अन्तः कोण)
= ∠ABC = ∠BCD = ∠CDA = ∠DAB = 90°
अत: ABCD एक वर्ग है। (परिभाषा से) इति सिद्धम्

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प्रश्न 6.
संलग्न चित्र में समान्तर चतुर्भुज ABCD का विकर्ण AC कोण A को समद्विभाजित करता है। दर्शाइए कि
(i) यह LC को भी समद्विभाजित करता है।
(ii) ABCD एक समचतुर्भुज है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 6
चित्र 8.4
हल:
ABCD एक समान्तर चतुर्भुज दिया है जिसका विकर्ण AC ∠A का समद्विभाजक है अर्थात्
∠DAC = ∠ BAC …(1)
एवं DC || AB एवं AD || BC (समान्तर – की सम्मुख भुजाएँ हैं)

(i) चूँकि DC || AB को तिर्यक रेखा AC प्रतिच्छेद करती है।
⇒ ∠DCA = ∠BAC (एकान्तर कोण है।) …(2)
चूँकि AD || BC को AC तिर्यक रेखा प्रतिच्छेद करती है
⇒ ∠DAC = ∠ BCA (एकान्तर कोण है) …(3)
⇒ ∠DCA = ∠BCA [समीकरण (1), (2) एवं (3) से]
अतः विकर्ण AC कोण LC को भी समद्विभाजित करता है। । इति सिद्धम्

(ii) ∆DAC में, ∠DAC = ∠DCA (∠A = ∠C के अर्द्धक हैं)
⇒ DA = CD (बराबर कोणों की सम्मुख भुजाएँ हैं)…(4)
चूँकि AB = CD एवं DA = BC (समान्तर □ की सम्मुख भुजाएँ हैं) …(5)
⇒ AB = BC = CD = DA [समीकरण (4) और (5) से]
अतः चतुर्भुज ABCD एक समचतुर्भुज है। इति सिद्धम्

प्रश्न 7.
ABCD एक समचतुर्भुज है। दर्शाइए कि विकर्ण AC कोणों A और C दोनों को समद्विभाजित करता है तथा विकर्ण BD कोणों B और D दोनों को समद्विभाजित करता है।
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 7
चित्र 8.6
दिया है : ABCD एक समचतुर्भुज जिसमें AC एवं BD विकर्ण एक-दूसरे को बिन्दु 0 पर समकोण पर समद्विभाजित करते हैं,
AB = BC = CD = DA …(1)
AO = OC, BO = OD …(2)
∆AOB और ∆AOD में,
चूँकि AB = AD [समीकरण (1) से।]
BO = OD [समीकरण (2) से]
एवं AO = AO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆AOB ≅ ∆AOD (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ ∠BAO = ∠DAO (CPCT)
∆COB और ∆COD में,
चूँकि CB = CD [समीकरण (1) से]
BO = OD [समीकरण (2) से]
एवं CO = CO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆COB ≅ ∆COD (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ ∠BCO = ∠ DCO (CPCT)
अत: AC विकर्ण ∠A और LC दोनों को समद्विभाजित करता है। इति सिद्धम्
अब ∆BOA और ∆BOC में,
चूँकि BA = BC [समीकरण (1) से]
AO = OC [समीकरण (2) से]
एवं BO = BO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆BOA ≅ ∆BOC (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ ∠ABO = ∠CBO. (CPCT)
∆DOA और ∆DOC में,
चूँकि DA = DC [समीकरण (1) से]
AO = OC [समीकरण (2) से ]
एवं DO = DO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆DOA = ∆DOC (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ ∠ADO = ∠CDO (CPCT)
अतः विकर्ण BD, LB और CD दोनों को समद्विभाजित करता है। इति सिद्धम्

प्रश्न 8.
ABCD एक आयत है जिसके विकर्ण AC दोनों कोणों A और C को समद्विभाजित करता है। दर्शाइए कि-
(i) ABCD एक वर्ग है।
(ii) विकर्ण BD दोनों कोणों B और D को समद्विभाजित करता है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 8
चित्र 8.7
हल:
(i) ABCD एक आयत है जिसका विकर्ण AC दोनों कोणों A और C को समद्विभाजित करता है।
अब ∆ABC एवं ∆ADC में,
चूँकि ∠BAC = ∠DAC (∠A के आधे हैं)
AC = AC (उभयनिष्ठ है)
एवं ∠ACB = ∠ACD (∠C के आधे हैं)
⇒ ∆ABC ≅ ∆ADC (ASA सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ AB = AD (CPCT) …(1)
AB = CD एवं AD = BC ( आयत की सम्मुख भुजाएँ हैं)…(2)
AB = BC = CD = DA [समीकरण (1) और (2) से]
अत: ABCD एक वर्ग है। (आयत जिसकी भुजाएँ बराबर हों वर्ग होता है।) इति सिद्धम्

(ii) मान लीजिए कि विकर्ण AC एवं BD परस्पर O बिन्दु पर प्रतिच्छेद करते हैं।
∆AOB और ∆COB में,
चूँकि AB = BC (वर्ग की भुजाएँ हैं)
चूँकि AO = CO (वर्ग के विकर्ण परस्पर समद्विभाजित करते हैं)
चूँकि BO = BO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆AOB ≅ ∆COB (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ ∠ABO = ∠CBO (CPCT)
अब ∆AOD और ∆COD में,
चूँकि AD = CD (वर्ग की भुजाएँ हैं)
AO = CO (वर्ग के विकर्ण परस्पर समद्विभाजित करते हैं)
चूँकि DO = DO (उभयनिष्ठ है)
⇒ ∆AOD ≅ ∆COD (SSS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ ∠ADO ≅ ∠CDO (CPCT)
अतः विकर्ण BD दोनों कोणों B और D को समद्विभाजित करता है। इति सिद्धम्

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प्रश्न 9.
समान्तर चतुर्भुज ABCD के विकर्ण BD पर दो बिन्दु P और Q इस प्रकार स्थित है कि DP = BQ है (देखिए संलग्न चित्र)। दर्शाइए कि-
(i) ∆APD ≅ ∆CQB
(ii) AP= CQ
(iii) ∆AQB ≅ ∆CPD
(iv) AQ = CP
(v) APCQ एक समान्तर चतुर्भुज है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 9
चित्र 8.8
हल:
(i) ∆APD और ∆COB में,
चूँकि AD = CB (समान्तर – की सम्मुख भुजाएँ हैं)
DP = BQ (दिया है)
एवं ∠ADP = ∠CBQ (एकान्तर कोण हैं)
अतः ∆APD ≅ ∆CQB. (SAS सर्वांगसमता प्रमेय) इति सिद्धम्

(ii) चूँकि ∆APD ≅ ∆CQB (सिद्ध कर चुके हैं)
अतः AP = CQ. (CPCT) इति सिद्धम्

(iii) ∆AQB और ∆CPD में,
AB = CD (समान्तर □ की सम्मुख भुजाएँ हैं)
BQ = PD (दिया है)
∠ABQ = ∠ CDP (एकान्तर कोण है)
अतः ∆AQB ≅ ∆CPD. (SAS सर्वांगसमता प्रमेय) इति सिद्धम्

(iv) चूंकि ∆AQB ≅ ∆CPD (सिद्ध कर चुके हैं)
अतः AQ = CP. (CPCT) इति सिद्धम्

(v) चूँकि AP = CQ [भाग (ii) में सिद्ध कर चुके हैं।]
चूँकि AQ = CP [भाग (iv) में सिद्ध कर चुके हैं।]
अतः चतुर्भुज ∆PCQ एक समान्तर चतुर्भुज है। (चूँकि सम्मुख भुजाएँ समान हैं) इति सिद्धम्

प्रश्न 10.
ABCD एक समान्तर चतुर्भुज है तथा AP और CQ शीर्ष A और C से विकर्ण BD पर क्रमशः डाले गए लम्ब हैं देखिए संलग्न चित्र। दर्शाइए कि-
(i) ∆APB ≅ ∆COD
(ii) AP = CP.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 10
चित्र 8.9
हल:
(i) ∆APB और ∆COD में,
चूँकि DC = AB (समान्तर □ की सम्मुख भुजाएँ हैं)
∠CDQ = ∠ABP (एकान्तर कोण है)
∠APB = ∠CQD = 90° (AP ⊥ DB एवं CQ ⊥ DB)
अतः ∆APB ≅ ∆CQD. (SAA सर्वांगसमता प्रमेय) इति सिद्धम्

(ii) चूँकि ∆APB ≅ ∆COD (सिद्ध कर चुके हैं)
अतः AP = CQ. (CPCT) इति सिद्धम्

प्रश्न 11.
∆ABC और ∆DEF में, AB = DE, AB || DE, BC = EF और BC || EF है। शीर्ष A, B और C को क्रमशः शीर्ष D, E और F से जोड़ा जाता है (देखिए संलग्न चित्र)। दर्शाइए कि –
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 11
चित्र 8.10
(i) चतुर्भुज ABED एक समान्तर चतुर्भुज है।
(ii) चतुर्भुज BEFC एक समान्तर चतुर्भुज है।
(iii) AD || CF और AD = CE
(iv) चतुर्भुज ACFD एक समान्तर चतुर्भुज है।
(v) AC = DF है।
(vi) ∆ABC ≅ ∆DEF है।
हल:
(i) चूंकि AB = DE एवं AB || DE (दिया है)
अत: ABED एक समान्तर चतुर्भुज है। इति सिद्धम्

(ii) चूँकि BC = EF एवं BC || EF (दिया है)
अतः BEFC एक समान्तर चतुर्भुज है। इति सिद्धम्

(iii) चूँकि AD = BE एवं AD || BE (समान्तर □ABED की सम्मुख भुजाएँ हैं) …(1)
CF = BE एवं CF || BE (समान्तर □ BEFC की सम्मुख भुजाएँ हैं)…(2)
अत: AD = CF एवं AD || CE [समीकरण (1) एवं (2) से] । इति सिद्धम्

(iv) चूँकि AD = CF एवं AD || CF (सिद्ध कर चुके हैं)
अत: ACFD एक समान्तर चतुर्भुज है। इति सिद्धम्

(v) चूँकि चतुर्भुज ACFD एक समान्तर चतुर्भुज है (सिद्ध कर चुके हैं)
अत: AC = DE (समान्तर चतुर्भुज की सम्मुख भुजा हैं) इति सिद्धम्

(vi) ∆ABC और ∆DEF में,
चूँकि AB = DE (समान्तर □ABED की सम्मुख भुजाएँ हैं)
AC = DF (समान्तर □ACFD की सम्मुख भुजाएँ हैं)
BC = EF (समान्तर □CBEF की सम्मुख भुजाएँ हैं)
अत: ∆ABC ≅ ∆DEE (SSS सर्वांगसम प्रमेय) इति सिद्धम्

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प्रश्न 12.
संलग्न आकृति में ABCD एक समलम्ब है जिसमें AB || DC और AD = BC है। दर्शाइए कि
(i) ∠A = ∠B.
(ii) ∠C = ∠D.
(iii) ∆ABC ≅ ∆BAD.
(iv) विकर्ण AC = विकर्ण BD है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 8 चतुर्भुज Ex 8.1 12
चित्र 8.11
हल:
दिया है : ABCD एक समलम्ब चतुर्भुज जिसमें AB || DC और AD = BC है। विकर्ण AC और BD को मिलाया गया है।
रचना : AB को आगे बढ़ाइए और C से होकर CE || DA खींचिए जो AB को E पर प्रतिच्छेद करती है।

(i) AD = BC (दिया है) तथा AD = EC (रचना से)
⇒ BC = EC (एक वस्तु के बराबर वस्तुएँ बराबर होती हैं)
⇒ ∠CBE = ∠CEB (त्रिभुज की बराबर भुजाओं के सम्मुख कोण हैं)
चूँकि ∠ABC + ∠ CBE = 180° (रेखा AE के बिन्दु B पर एक ओर बने कोण है)…(1)
चूँकि AD || EC को AE तिर्यक रेखा मिलती है।
⇒ ∠DAE + ∠CEB = 180° (एक ही ओर के अन्तः कोण हैं)
⇒ ∠DAE + ∠CBE = 180° (∵ ∠CEB = ∠CBE) …(2)
∠DAE = ∠ABC [समीकरण (1) और (2) से]
∠A = ∠B. इति सिद्धम्

(ii) चूँकि ∠A + ∠D = 180° (AB || DC, AD तिर्यक रेखा है) …(3)
∠B + ∠C = 180° (AB || DC, BC तिर्यक रेखा है) …(4)
∠A + ∠D = ∠B + ∠C [समीकरण (3) और (4) से]
अतः ∠C = ∠D. (क्योंकि ∠A = ∠B सिद्ध कर चुके हैं) इति सिद्धम्

(iii) ∆ABC और ∆BAD में,
चूँकि BC = AD (दिया है)
∠B = ∠A (सिद्ध कर चुके हैं)
एवं AB = AB (उभयनिष्ठ है)
अतः ∆ABC ≅ ∆BAD. (SAS सर्वांगसमता नियम) इति सिद्धम्

(iv) चूँकि AABC ≅ A BAD (सिद्ध कर चुके हैं)
अतः विकर्ण AC = विकर्ण BD है। (CPCT) इति सिद्धम्

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MP Board Class 9th Social Science Solutions Chapter 1 मानव एवं पर्यावरण

MP Board Class 9th Social Science Solutions Chapter 1 मानव एवं पर्यावरण

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 पाठान्त अभ्यास

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 वस्तुनिष्ठ प्रश्न

सही विकल्प चुनकर लिखिए

प्रश्न 1.
शोर नापने की इकाई है (2010, 18)
(i) सेण्टीमीटर
(ii) डेसीबल
(iii) सेल्सियस
(iv) मिली बार।
उत्तर:
(ii) डेसीबल

प्रश्न 2.
विश्व का सर्वाधिक शोरयुक्त शहर है (2009, 12)
(i) मुम्बई
(ii) न्यूयार्क
(iii) रियो डि जेनेरो
(iv) टोकियो।
उत्तर:
(iii) रियो डि जेनेरो

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प्रश्न 3.
सर्वप्रथम ओजोन छिद्र 1985 में किस क्षेत्र में देखा गया था? (2009, 13)
(i) ऑस्ट्रेलिया
(ii) अलास्का
(iii) अंटार्कटिका
(iv) पश्चिमी यूरोप।
उत्तर:
(iii) अंटार्कटिका

प्रश्न 4.
पृथ्वी के ऊपर ओजोन परत की स्थिति है
(i) धरातल से 5 से 10 किमी की ऊँचाई पर
(ii) 25 किमी की ऊँचाई पर
(iii) 32 से 80 किमी की ऊँचाई पर
(iv) 75 से 100 किमी की ऊँचाई पर।
उत्तर:
(iii) 32 से 80 किमी की ऊँचाई पर

प्रश्न 5.
पर्यावरण क्षरण का मुख्य कारण है (2016)
(i) स्थानान्तरी कृषि,
(ii) पर्यटन को बढ़ावा,
(iii) भूमि के उपयोग का बदलता स्वरूप,
(iv) ये सभी।
उत्तर:
(iv) ये सभी।

प्रश्न 6.
जनसंख्या विस्फोट से क्या आशय है? (2017)
(i) प्रवजन,
(ii) जन्म-दर व मृत्यु-दर में समानता
(iii) भीड़ का बढ़ जाना,
(iv) मनुष्यों की संख्या में निरन्तर वृद्धि।
उत्तर:
(iv) मनुष्यों की संख्या में निरन्तर वृद्धि।

प्रश्न 7.
‘काटो और जलाओ’ का सम्बन्ध है (2011)
(i) स्थानान्तरी कृषि से
(ii) पर्यटन व तीर्थ यात्रा से
(iii) अति खनन से,
(iv) बाँध निर्माण से।
उत्तर:
(i) स्थानान्तरी कृषि से

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रिक्त स्थान की पूर्ति कीजिए

  1. वे भौतिक पदार्थ या वस्तु जो मानव के लिए उपयोगी हैं ………… कहलाते हैं।
  2. पृथ्वी के …………. प्रतिशत भाग पर स्थल एवं ………… प्रतिशत भाग पर जल है।
  3. विश्व के कुल भूमि क्षेत्र का ……….. प्रतिशत भाग वनों से ढका हुआ है। (2015)
  4. ‘एसिड रेन’ शब्द का प्रयोग सर्वप्रथम सन् …………. में ब्रिटिश वैज्ञानिक ने किया था।
  5. बस्तर की डोलोमाइट खदानों से …………. राष्ट्रीय उद्यान को खतरा उत्पन्न हो गया है।

उत्तर:

  1. संसाधन
  2. 29, 71
  3. 30
  4. 1873
  5. कांगेर घाटी।

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 अति लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
पर्यावरण से क्या तात्पर्य है?
उत्तर:
पर्यावरण का आशय हमारे चारों ओर के उस वातावरण एवं परिवेश से है जिससे हम घिरे हुए हैं व प्रभावित होते हैं; जैसे-वायु, जल, पेड़-पौधे, पृथ्वी, सूर्य, चन्द्रमा, तारे, आकाश आदि।

प्रश्न 2.
सांस्कृतिक पर्यावरण से क्या आशय है? स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
मानव तथा प्राकृतिक पर्यावरण के पारस्परिक सम्बन्धों द्वारा ही सांस्कृतिक पर्यावरण का निर्माण होता है। इसके अन्तर्गत मानव द्वारा निर्मित वस्तुएँ; जैसे-सड़कें, पुल, नहर, कारखाने, जातियाँ, शासन प्रणाली आदि हैं।

प्रश्न 3.
भारत की पाँच प्रमुख प्रदूषित नदियाँ कौन-कौन-सी हैं? लिखिए।
उत्तर:
भारत की प्रमुख प्रदूषित नदियाँ निम्न हैं –

  1. गंगा
  2. यमुना
  3. हुगली
  4. दामोदर
  5. गोदावरी।

प्रश्न 4.
ग्लोबल वार्मिंग क्या है? (2018)
उत्तर:
प्रकाश संश्लेषण की दर में कमी होने से पेड़-पौधों की वृद्धि रुक जाती है एवं जंगल सूखने लगते हैं। इस कारण से वायुमण्डल में कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा बढ़ जाती है। वायुमण्डल में उपस्थित कार्बन डाइऑक्साइड तथा अन्य ऊष्मारोधी गैसें, ऊष्मा का कुछ भाग शोषित कर भूतल पर वापस कर देती हैं। इससे निचले वायुमण्डल में अतिरिक्त ऊष्मा जमा होने लगती है और वायुमण्डल का तापमान बढ़ जाता है, जिसे ग्लोबल वार्मिंग कहते हैं।

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MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
वायु अथवा ध्वनि प्रदूषण का मानवीय स्वास्थ्य पर कैसे दुष्प्रभाव पड़ता है? लिखिए।
उत्तर:
वायु प्रदूषण का मानवीय स्वास्थ्य पर प्रभाव –

  1. धूल तथा मिट्टी के कणों के वायु में उपस्थित रहने से श्वसन की क्रिया में बाधा आती है। ये कण फेफड़ों में जाकर बीमारियाँ उत्पन्न करते हैं।
  2. कोयले और खनिज तेल के जलने से सल्फर डाइ-ऑक्साइड भी वायुमण्डल में चली जाती है। मोटरों और कारों के कै धुएँ के साथ निकले सीसे, कार्बन मोनो ऑक्साइड तथा नाइट्रोजन ऑक्साइड्स के अंश भी वायुमण्डल में मिल जाते हैं। मोटर-कारों का धुआँ साँस के साथ नाक में जाकर जलन पैदा करता है तथा साँस के रोगों का कारण बनता है।
  3. प्रदूषित वायु में से होकर जब वर्षा होती है, जब प्रदूषक तत्व वर्षा जल के साथ मिलकर जलाशयों, भूमि और महासागरों को प्रदूषित कर देते हैं। वायु प्रदूषण का प्रभाव पौधों, मनुष्यों तथा अन्य जन्तुओं पर भी पड़ता है।

ध्वनि प्रदूषण का मानवीय स्वास्थ्य पर प्रभाव –

  1. ध्वनि प्रदूषण से चिड़चिड़ापन, सिरदर्द, क्रोध आदि आता है।
  2. ध्वनि प्रदूषण से नींद नहीं आती, आराम नहीं मिलता है।
  3. वैज्ञानिक अनुसन्धानों का निष्कर्ष है कि 85 डेसीबल से ऊपर की ध्वनि के प्रभाव में लम्बे समय तक रहने से व्यक्ति बहरा हो सकता है।
  4. 120 डेसीबल की ध्वनि से अधिक तीव्र ध्वनि गर्भवती महिलाओं तथा उनके शिशुओं पर प्रतिकूल प्रभाव डालती है।

प्रश्न 2.
रेडियोधर्मी पदार्थों से प्रदूषण कैसे फैलता है?
उत्तर:
रेडियोधर्मी पदार्थ वातावरण में प्रवेश करके रेडियोधर्मी प्रदूषण उत्पन्न करते हैं। यूरेनियम, थोरियम, सीजियम, स्ट्रांशियम, प्लूटोनियम, कोबाल्ट जैसे रेडियोसक्रिय तत्त्व नाभिकीय प्रक्रियाओं में काम आते हैं। ये तत्त्व ही रेडियोधर्मी प्रदूषण के कारक हैं। परमाणु बमों के निर्माण तथा परीक्षण रेडियोधर्मी प्रदूषण फैलाते हैं। रेडियोधर्मी पदार्थों से फैले विकिरण के प्रभाव दूरगामी होते हैं। परमाणु परीक्षणों के दौरान अधिक ऊर्जा निकलने से मानव व जीव-जन्तुओं की कोशिकाएँ नष्ट हो जाती हैं। स्ट्रांशियम जैसा हानिकारक रेडियोधर्मी
सक्रिय तत्त्व, मृदा की उर्वरा शक्ति नष्ट कर देता है।

प्रश्न 3.
प्रदूषण व प्रदूषक में अन्तर स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
प्रदूषण व प्रदूषक में अन्तर पर्यावरण की प्राकतिक संरचना एवं सन्तुलन में उत्पन्न अवांछनीय परिवर्तन को प्रदूषण कहते हैं। दूसरी ओर प्रदूषक वे अनुपयोगी पदार्थ हैं जो अनुचित मात्रा में उपस्थित होकर प्रदूषण के लिए उत्तरदायी हों, प्रदूषक कहलाते हैं। प्रदूषक दो प्रकार के होते हैं-(i) प्राकृतिक प्रदूषक तथा (ii) मानवीय प्रदूषक, जैसे-कीटनाशक, उर्वरक, प्लास्टिक, रेडियोधर्मी तत्त्व, लेड, विभिन्न प्रकार के रसायन आदि।

प्रश्न 4.
ओजोन परत के क्षरीकरण की समस्या को स्पष्ट कीजिए। (2010)
उत्तर:
यद्यपि ओजोन वायुमण्डल की एक सूक्ष्म परत है तथापि ओजोन की यह पतली-सी परत धरती पर जीवन की सुरक्षा के लिए अत्यन्त आवश्यक है क्योंकि यह सूर्य की ‘पराबैंगनी किरणों’ को पृथ्वी पर पहुँचने से रोकती है। मुख्य रूप से क्लोरोफ्लोरोकार्बन, नाइट्रिक ऑक्साइड, क्लोरीन ऑक्साइड आदि गैसों की ओजोन परत क्षरण में मुख्य भूमिका है। फ्रिज, एयर कण्डीशनर, जैसे उपकरणों में काम में आने वाली गैस क्लोरोफ्लोरोकार्बन (सी. एफ. सी.) के अधिक उपयोग से ओजोन परत में छेद हो गया है।

ओजोन परत में छिद्र होने से पथ्वी पर पराबैंगनी किरणों का कहर फैल रहा है। इन किरणों से त्वचा कैंसर तथा मोतियाबिन्द आदि बीमारियों का खतरा बनता है। शरीर की रोगों से लड़ने की क्षमता कम हो जाती है और कृषि पैदावार कम होने के अलावा वन-सम्पदा क्षतिग्रस्त होती है।

प्रश्न 5.
मृदा प्रदूषण क्या है? इसके प्रमुख दुष्प्रभाव कौन-कौन से हैं?
उत्तर:
मृदा प्रदूषण-भूमि के भौतिक, रासायनिक या जैविक गुणों में ऐसा कोई भी अवांछित परिवर्तन जिससे भूमि की उर्वरा शक्ति तथा उपयोगिता नष्ट होती है, मृदा प्रदूषण है।

जनसंख्या के बढ़ते दबाव, रासायनिक उर्वरक एवं कीटनाशक दवाओं के अधिकाधिक प्रयोग से भूमि की अवशोषण एवं शुद्धीकरण क्षमता का तेजी से ह्रास हुआ है। परिणामतः भूमि की उत्पादन क्षमता दिन-प्रतिदिन घटती जा रही है। वैज्ञानिकों के अनुसार, कृषि भूमि में नाइट्रोजन के प्रयोग से काफी प्रदूषण बढ़ रहा है और यह नाइट्रेट रासायनिक खादों की देन है। वैज्ञानिकों के अनुसार, कल-कारखानों के अवसाद, टीन एवं काँच के टुकड़े, पॉलीथिन के थैले, प्लास्टिक की वस्तुएँ आदि आसानी से जमीन में विघटित नहीं होते हैं और आस-पास की जमीन को कुछ समय बाद अनुपयोगी बना देते हैं।

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प्रश्न 6.
जनसंख्या विस्फोट से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर:
‘जनसंख्या विस्फोट’ शब्द से तात्पर्य जनसंख्या के अत्यन्त तीव्र गति से एकाएक वृद्धि से ही ‘विस्फोट’ शब्द उस तरह की स्थिति को स्पष्ट करता है, जिसके प्रभाव उतने ही गम्भीर और भयानक होते हैं जितने कि परमाणु बम के गिरने या उसके दूषित पदार्थों से प्रभावित होने से होते हैं।

हर देश में जब विकास होगा तो जन्म-दर की तुलना में मृत्यु-दर अधिक तीव्र गति से घटेगी और उसका परिणाम यह होगा कि जनसंख्या में वृद्धि होगी। आज पैदा होने वाले बच्चे, जिन्हें अकाल शिशु मृत्यु से बचा लिया जाएगा 20-22 वर्ष बाद स्वयं बच्चे पैदा करेंगे। यहाँ से ही ‘जनसंख्या विस्फोट’ स्थिति निर्मित होगी।

प्रश्न 7.
अति चारण के कारण भूमि की गुणवत्ता पर क्या प्रभाव पड़ता है?
अथवा
अतिचारण क्या है? इसके प्रमुख दुष्प्रभाव कौन-कौन से हैं? (2011)
उत्तर:
पशुओं द्वारा वनस्पति के अधिक चारण को अतिचारण कहा जाता है। अतिचारण से वहाँ पुनः वनस्पति शीघ्र नहीं पनप पाती। इसका दुष्प्रभाव यह होता है कि भूमि पर से वनस्पति की सतह समाप्त हो जाती है। भू-अपरदन के कारण भूमि के मरूस्थल में परिवर्तित होने का खतरा उत्पन्न हो जाता है। इस प्रकार के क्षेत्रों में मृदा पानी कम सोख पाती है और वनस्पति को पर्याप्त पानी प्राप्त नहीं होता। ऐसी स्थिति राजस्थान, गुजरात एवं पश्चिमी मध्यप्रदेश के उच्च पठारी प्रदेशों में उत्पन्न हो गई है।

प्रश्न 8.
स्थानान्तरी कृषि कैसे की जाती है?
उत्तर:
कृषि के सबसे प्राचीन रूप को स्थानान्तरीय कृषि कहते हैं। इसमें वृक्षों को काटो और जलाओ का सिद्धान्त अपनाया गया। फिर उस भूमि पर कुछ समय कृषि कार्य करके छोड़ दिया गया। मिट्टी की उर्वरा शक्ति में कमी से फसलों की उपज में कमी आयी एवं नये वनों को काटने का काम शुरू हुआ। कृषि की इस प्रणाली से न केवल कृषि उपज कम होती है, अपितु वन क्षेत्र भी कम होते हैं।

प्रश्न 9.
वन अपरोपण क्या है? वन अपरोपण के कारणों को सूचीबद्ध कीजिए।
अथवा
वन-अपरोपण के कोई तीन कारण लिखिए। (2017)
उत्तर:
वन अपरोपण का आशय है वनों को काटना या किसी क्षेत्र से पेड़ों का सफाया करना। वनों का कम होना विभिन्न मानवीय प्रयासों का फल है। विशाल बाँधों के निर्माण से जल विद्युत् परियोजनाओं के प्रारम्भ करने से बिजली वितरण तथा रेल लाइनों एवं सड़क के विस्तार से एवं आवासीय क्षेत्रों के फैलाव से और ईंधन की आपूर्ति तथा उद्योगों के लिए वृक्षों की कटाई से भी वनों को नुकसान हुआ है।

प्रश्न 10.
अधिक मात्रा में कीटनाशकों का प्रयोग क्यों नहीं करना चाहिए?
उत्तर:
साधारण तौर पर पेड़-पौधों को कीड़ों, चंपा, दीमक एवं फफूंद आदि से बचाने के लिए किसान कई प्रकार के विषाक्त कीटनाशकों का छिड़काव करते हैं। दूसरी ओर पैदावार में वृद्धि करने के लिए पोटाश, यूरिया तथा सल्फर आदि रासायनिक उर्वरकों का भी अन्धाधुन्ध उपयोग किया जाता है। ऐसे रासायनिक उर्वरकों के उपयोग से कृषि उत्पादन में वृद्धि तो होती है परन्तु दूसरी ओर इसका दुष्प्रभाव मानव स्वास्थ्य पर पड़ता है। अन्य शब्दों में, जिस रसायन से कीट-पतंगों की मृत्यु होती है उसका विपरीत प्रभाव मानव के स्वास्थ्य पर भी अवश्य पड़ेगा।

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प्रश्न 11.
खनन से किसी क्षेत्र के पर्यावरण पर क्या दुष्प्रभाव पड़ता है?
उत्तर:
खनन का आशय है धरती को खोदकर खनिज एवं अन्य पदार्थों को निकालना। इसका पर्यावरण पर अत्यन्त बुरा प्रभाव पड़ता है क्योंकि भूमि से पेड़-पौधों को काटा जा रहा है। इसके परिणामस्वरूप भूमिगत जल के संचरण में रुकावट होती है तथा भू-स्खलन, मलबे का जमाव, मृदा अपरदन और नई भू-आकृतियों का निर्माण होता है। अति खनन के दुष्प्रभावों को भारत के हिमालय पर्वत श्रेणियों से घिरी गंगा-यमुना से बनी दून घाटी में देखा जा सकता है। पहले यह घाटी क्षेत्र बासमती, लीची, चाय जैसी फसलों के लिये विश्व प्रसिद्ध था परन्तु अब चूना पत्थर के अंधाधुन्ध खनन से घाटी क्षेत्र का सिर्फ 12% भाग ही हरियाली युक्त है।

प्रश्न 12.
नगरीकरण पर्यावरण को कैसे बिगाड़ता है?
उत्तर:
नगरों के विस्तार की क्रिया ही नगरीकरण है। नगरीकरण से जनसंख्या घनत्व सघन होने लगता है। यातायात की सुविधाएँ बढ़ती हैं। सड़कों, रेलों, अस्पतालों, दफ्तरों, सामुदायिक केन्द्रों आदि का विस्तार होता है। इन सभी से प्रदूषण में वृद्धि होती है। महानगरों में प्रदूषण का प्रमुख कारण सल्फर डाइऑक्साइड, कार्बन मोनोऑक्साइड, नाइट्रोजन डाइऑक्साइड, सीसा, नाइट्रस ऑक्साइड, फ्लोराइड्स आदि विषैले रसायन हैं जो वाहनों एवं औद्योगिक संस्थानों से निकलते हैं। महानगरों में स्थित कल-कारखानों का कचरा नदियों में प्रवाहित कर दिये जाने से नदियों का जल प्रदूषित हो जाता है। इन सभी का प्रभाव मानव स्वास्थ्य पर पड़ता है। अनेक महानगर तरह-तरह की अव्यवस्थाओं, पेयजल, समस्या, नगरीय प्रदूषण, अशान्ति आदि के शिकार होते जा रहे हैं।

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
पर्यावरण की अवधारणा बताते हुए मानव व पर्यावरण में सम्बन्ध समझाइए। (2008)
उत्तर:
पर्यावरण की अवधारणा-पर्यावरण का आशय मानव के चारों ओर पाई जाने वाली प्राकृतिक दशाओं से है। ये स्थल, जल, वायु एवं मनुष्य द्वारा स्वयं उत्पन्न की गई परिस्थितियाँ हो सकती हैं। मानव पृथ्वी पर कुछ विशेष प्रकार की परिस्थितियों के अन्तर्गत निवास करता है। यह परिस्थितियाँ ही उसका पर्यावरण कहलाती हैं अर्थात् “पर्यावरण एक आवरण या घेरा है जो मानव समुदाय को चारों ओर से घेरे हुए है तथा मानव को प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष रूप से प्रभावित करता है।”

मानव एवं पर्यावरण में सम्बन्ध-मनुष्य पृथ्वी पर निवास करता है और पृथ्वी पर पाए जाने वाले पौधे तथा जीव-जन्तु उसके पर्यावरण के प्रमुख अंग हैं। मानव प्राकृतिक भूदृश्यों को परिवर्तित करने के लिए नहरें खोदता है, वृक्ष काटता है, खनिजों का दोहन करता है, जंगली जीवों का शिकार करता है, जल प्रवाह की गति पर नियन्त्रण करता है या उसके प्रवाह को ही मोड़ देता है। वह उसके स्थान पर खेत, कारखाने, नगर, कस्बे, सड़कें, रेलमार्ग आदि का निर्माण करता है। परन्तु मनुष्य यह सब अपनी प्रकृति के अनुरूप ही करता है। दूसरे शब्दों में, मानव अपने भोजन तथा अन्य विभिन्न आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए वह पौधों और जन्तुओं पर ही आश्रित है। इस प्रकार स्पष्ट है कि मानव और पर्यावरण एक-दूसरे से सम्बद्ध हैं।

प्रश्न 2.
पर्यावरण के प्रमुख तत्व कौन-कौन से हैं ? मानव ने पर्यावरण को कैसे प्रभावित किया है ? स्पष्ट कीजिए। (2008)
उत्तर:
पर्यावरण के तत्व-पर्यावरण के चार तत्व हैं-स्थल, जल, वायु और जीव। इनमें से प्रथम तीन परस्पर मिलकर भौतिक पर्यावरण का निर्माण करते हैं और जीव-जन्तु जैवमण्डल का निर्माण करते हैं। उपयुक्त चारों तत्वों में अत्यन्त घनिष्ठ सम्बन्ध स्थापित है। उदाहरण के लिए, जलमण्डल से जल का वाष्पीकरण होता है। जलवाष्प वायु द्वारा पृथ्वी पर वर्षा आदि के रूप में पहुँचकर जीवों का भरण-पोषण करती है। यह एक ऐसा प्राकृतिक वातावरण है जिसका इन चारों तत्वों के आपसी तालमेल के कारण ही निर्माण होता है।

मनुष्य पर्यावरण पर निम्न प्रकार प्रभाव डाल रहा है –

  1. मानव ने अपने जीवन-यापन के लिए वनों को काटा। जंगलों की अन्धाधुन्ध कटाई के कारण जैवमण्डल का सन्तुलन बिगड़ गया है।
  2. निरन्तर वनों के ह्रास के कारण और भूमि पर से वनस्पति को हटाकर मानव द्वारा कुछ विशेष प्रकार की फसलें उगाने से, वनस्पति की विविधता समाप्त होती जा रही है।
  3. वायु और जल प्रदूषण के कारण पेड़-पौधों की कई प्रजातियाँ विलुप्त हो गईं क्योंकि प्रदूषित वायु और जल उनके अनुकूल नहीं होता।
  4. मनुष्य जाति सर्वभक्षी है क्योंकि वह न केवल वनस्पति अपितु पशु उत्पाद भी भोजन के रूप में खाता है। मानव द्वारा अन्धाधुन्ध शिकार करने की प्रवृत्ति के फलस्वरूप पशु-पक्षियों की कई जातियाँ पूर्णतया विलुप्त हो गई हैं और कुछ विलुप्त प्रायः हैं।
  5. हमने अपनी जनसंख्या में इतनी तीव्र गति से वृद्धि की है, जिसे बहुधा विनाश का पर्याय माना जा सकता है। हम बड़ी शीघ्रता से विश्व के अपूर्व साधनों का प्रयोग कर रहे हैं तथा अनेक प्रकार से पर्यावरण को हानि पहुँचा रहे हैं। जैसे-जैसे हमारी जनसंख्या बढ़ती गयी, उपजाऊ भूमि व वन सिमटते गये। तीव्रगति से बढ़ती हुई जनसंख्या की माँग को पूरा करने के लिए प्राकृतिक संसाधन का दोहन भी तीव्र गति से हुआ है।

प्रश्न 3.
प्रदूषण से क्या आशय है? प्रदूषण के प्रकारों का वर्णन कीजिए। (2009, 13)
अथवा
प्रदूषण के कोई तीन प्रकारों का वर्णन कीजिए। (2017)
उत्तर:
प्रदूषण का आशय-राष्ट्रीय पर्यावरण शोध संस्थान के अनुसार, “मानव के क्रियाकलापों से उत्पन्न अपशिष्टों के रूप में पदार्थ एवं ऊर्जा विमोचन से प्राकृतिक पर्यावरण में होने वाले हानिकारक परिवर्तनों को प्रदूषण कहते हैं।” अतः प्रदूषण को इस प्रकार परिभाषित किया जा सकता है, “प्रदूषण वायु, जल और स्थल की भौतिक, रासायनिक और जैविक विशेषताओं का अवांछनीय परिवर्तन है।”
पर्यावरण प्रदूषण के प्रकार-पर्यावरण प्रदूषण के प्रकार निम्नलिखित हैं –
(1) वायु प्रदूषण :
वायु प्रदूषण का प्रादुर्भाव उसी दिन से हो गया था, जब मानव ने सर्वप्रथम आग जलाना सीखा। धीरे-धीरे जनसंख्या में वृद्धि होती गई और जंगल कटते चले गए इसके साथ ही वायुमण्डल में धुआँ भी बढ़ता गया, फलस्वरूप वायुमण्डल में कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा में वृद्धि होती चली गयी। 1870 के बाद के अन्तराल से अब तक वायुमण्डल में कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा में 16 प्रतिशत की वृद्धि हो गई है, जो कि स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है।

वायुमण्डल में पायी जाने वाली गैसें एक निश्चित मात्रा एवं अनुपात में होनी चाहिए। इस मात्रा एवं अनुपात में वृद्धि या कमी हो जाती है, तो यह वायु प्रदूषण कहलाता है।

(2) जल प्रदूषण :
जल में आवश्यकता से अधिक खनिज पदार्थ, अनावश्यक लवण, कार्बनिक तथा अकार्बनिक पदार्थ, औद्योगिक इकाइयों तथा अन्य संयन्त्रों से निकले हुए अपशिष्ट, मल-मूत्र, मृतजीवी, कूड़ा-करकट आदि नदियों, झीलों तथा सागरों में विसर्जित किये जाते रहने से ये पदार्थ जल के वास्तविक स्वरूप को नष्ट कर उसे प्रदूषित कर देते हैं जिससे जल प्रदूषित हो जाता है।

(3) भूमि प्रदूषण :
बाढ़ के पानी, रासायनिक उर्वरकों, कीटनाशकों, जीवाणुनाशकों के अत्यधिक प्रयोग तथा बहु फसल प्रणाली के तहत भूमि के अधिक उपयोग के चलते मिट्टी की पारिस्थितिकी बदल गई है और उसमें इतनी विकृतियाँ आ गई हैं कि वह अपनी प्राकृतिक संरचना और उर्वरता बनाए रखने के लिए आवश्यक तत्व खो चुकी है। इस स्थिति को भूमि प्रदूषण कहते हैं।

(4) ध्वनि प्रदूषण :
प्रत्येक मनुष्य अपने चारों ओर फैले प्रदूषकों के प्रति एक निश्चित सीमा तक सहनशील होता है। मानव के कानों में भी ध्वनि को साधारणतया ग्रहण करने की एक सीमा होती है। इस सीमा से अधिक की ध्वनि जब होने लगती है, तो वह कानों को अच्छी नहीं लगती, उसका बुरा प्रभाव मानव के स्वास्थ्य पर पड़ता है, इसे ध्वनि प्रदूषण या शोर कहा जाता है। वास्तव में शोर वह ध्वनि है जिसके द्वारा मानव के अन्दर अशान्ति व बेचैनी उत्पन्न होने लगती है, इसी को ध्वनि प्रदूषण कहते हैं। ध्वनि की साधारण मापन इकाई को डेसीबल कहते हैं।

(5) रेडियोधर्मी प्रदूषण :
मानव द्वारा विभिन्न रेडियोधर्मी विकिरण निकलते हैं जो मानवीय स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होते हैं। स्ट्रांशियम-90 नामक रेडियोधर्मी विकिरण स्थानीय पौधों द्वारा अवशोषित कर लिया जाता है जो मानवीय स्वास्थ्य के लिए बहुत हानिकारक है।

(6) तापीय प्रदूषण :
विश्व के सामान्य तापक्रम में होने वाली अत्यधिक वृद्धि जिसका प्रभाव जीवमण्डल पर पड़े, तापीय प्रदूषण है। कार्बन डाइऑक्साइड, मीथेन, सी. एफ. सी. नाइट्रस ऑक्साइड, ताप विद्युत् ग्रहों से निकली ऊष्मा, ओजोन छिद्र, वन में लगी आग तथा परमाणु परीक्षण वायुमण्डलीय तापमान में वृद्धि करते हैं। सूखा, बाढ़, स्थाई जल स्रोतों का सूख जाना, समुद्री जल स्तर में वृद्धि, जलीय जन्तु का लोप, जलवायु परिवर्तन से कृषि उपजों की कमी, ओजोन क्षरण इत्यादि तापीय प्रदूषण के प्रमुख दुष्प्रभाव हैं।

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प्रश्न 4.
संसाधन से क्या तात्पर्य है? संसाधन के प्रमुख प्रकारों का उदाहरण सहित वर्णन कीजिए। (2014)
उत्तर:
संसाधन का आशय :
कोई भी भौतिक वस्तु या पदार्थ जब मानव के लिए उपयोगी या मूल्यवान होता है, तो उसे संसाधन कहते हैं। संसाधन सामान्यतः तीन प्रकार के होते हैं
(1) प्राकृतिक संसाधन :
इस प्रकार के संसाधन जो हमें प्रकृति ने प्रदान किये हैं एवं जिनके निर्माण में मानव की भूमिका बिल्कुल नहीं है, प्राकृतिक संसाधन कहलाते हैं। इस आधार पर संसाधनों को दो वर्गों में बाँटा जा सकता है –

  • नवीकरणीय संसाधन-वे संसाधन जिन्हें उपयोग के बाद पुनः उत्पादित किया जा सकता है या पुनः उपयोग में लाया जा सकता है, जैसे-कृषि उपजें, चारागाह, कृषि-भूमि, जल संसाधन एवं वायु संसाधन आदि।
  • अनवीकरणीय संसाधन-ये संसाधन सीमित होते हैं और कभी-न-कभी समाप्त हो सकते हैं। इनकी उपलब्धि सीमित होती है, जैसे-खनिज संसाधन, कोयला एवं पेट्रोलियम।

(2) मानव संसाधन :
मानव संसाधनों से आशय मानव शक्ति के उपयोग से है। किसी भी देश का सबसे महत्वपूर्ण संसाधन उसके निवासी ही होते हैं। यहाँ यह एक महत्त्वपूर्ण तथ्य है कि केवल योग्य, शिक्षित, कार्यकुशल एवं तकनीकी में निपुण लोग ही देश के संसाधन हो सकते हैं। ऐसे ही लोग प्राकृतिक संसाधनों का उचित प्रयोग कर सकते हैं और उनको बहुमूल्य बना सकते हैं। मानव संसाधनों के बिना किसी देश के प्राकृतिक संसाधन महत्त्वहीन होते हैं।

(3) मानव निर्मित :
मानव निर्मित संसाधन उत्पादन के वे साधन हैं, जिनका निर्माण मानव ने पर्यावरण के भौतिक पदार्थों का उपयोग करने के लिए किया है; जैसे-मशीनें, भवन, उपकरण आदि।

इसके अतिरिक्त कुछ अन्य प्रमुख संसाधन निम्न प्रकार हैं –

  • भूमि संसाधन :
    भूमि एक महत्त्वपूर्ण संसाधन है, क्योंकि मानव भूमि पर ही रहता है और उसकी अधिकांश आवश्यकताओं की पूर्ति भी भूमि से ही होती है। भूमि का उपयोग विभिन्न प्रकार के कार्यों; जैसे-मकान, सड़क और रेलमार्ग, कृषि, पशुचारण, खनन, उद्योग आदि में किया जाता है। भूमि का उपयोग समय-समय और स्थान-स्थान पर अलग-अलग हो सकता है। एक ही प्रदेश में समय-समय पर इसका उपयोग बदल सकता है।
  • कृषि संसाधन :
    भूमि, मृदा एवं जल कृषि के आधारभूत साधन हैं। समुद्र के तटीय मैदान तथा नदियों की घाटियों की जलोढ़ उपजाऊ मिट्टी में कृषि कार्य आसानी से किया जाता रहा है। उर्वरकों, कीटनाशकों, सिंचाई के विभिन्न साधनों तथा उन्नत बीजों और यन्त्रों की मदद से प्रति एकड़ उपज में वृद्धि हुई है।
  • जल संसाधन :
    धरातल पर जल वर्षा, नदियों, झीलों, तालाबों, हिमनदों, झरनों, नलकूपों आदि से प्राप्त होता है। जल का उपयोग सिंचाई, उद्योग, घरेलू जल आपूर्ति, मत्स्य पालन एवं जल परिवहन में होता है। सम्पूर्ण विश्व में सर्वाधिक जल का उपयोग कृषि कार्य हेतु किया जाता है।
  • मृदा संसाधन :
    इसमें कोई सन्देह नहीं है कि मृदा वास्तव में एक महत्त्वपूर्ण साधन है। मृदा पौधे को उगाने का एक प्राकृतिक माध्यम है। पौधे अपने विकास के लिए पोषक तत्व मृदा से ही ग्रहण करते हैं। इसके बदले में ये पशुओं के लिए पोषक आहार तथा मानव के लिए खाद्यान्न एवं रेशे प्रदान करते हैं। मृदा संसाधन से हमें भोजन, वस्त्र एवं बहुत अंश तक आवास के आधारभूत तत्व प्राप्त होते हैं, जो वास्तव में हमारी प्रमुख सम्पदा है, अतः मृदा हमारे जीवन का आधार है।
  • वन संसाधन :
    वर्तमान में विश्व के कुल 30 प्रतिशत भाग पर ही वनों का वितरण पाया जाता है परन्तु पारिस्थितिकीय दृष्टिकोण से समस्त भूमि के.33 प्रतिशत भाग पर वनों का विस्तार होना चाहिए। पर्यावरण में वन अत्यन्त महत्त्वपूर्ण हैं। वृक्ष वायुमण्डल से कार्बन डाइऑक्साइड लेते हैं तथा ऑक्सीजन छोड़ते हैं। वन वर्षा करने में सहायक होते हैं। वन पक्षियों, वन्य जीवों एवं अन्य प्राणियों के सुरक्षित आवास हैं।

प्रश्न 5.
भूमि के उपयोग के बदलाव के कारण पर्यावरण पर क्या प्रभाव पड़ा है? समझाइए।
उत्तर:
भूमि के बदलते उपयोग व उसके प्रभाव
मानव की अधिकांश आवश्यकताएँ भूमि से ही पूरी होती हैं; जैसे-मकान बनाना, सड़क बनाना, रेलमार्ग निर्माण, कृषि कार्य, पशुचारण, उद्योग-धन्धे, खनन आदि कार्यों के लिए भूमि अत्यन्त उपयोगी है। मानव द्वारा की गई तीव्र प्रगति, नगरीकरण और औद्योगीकरण से प्राकृतिक पर्यावरण में महत्त्वपूर्ण बदलाव हुए। पूरे विश्व में प्राकृतिक पर्यावरण के विनाश का मुख्य कारण भूमि के उपयोग का बदलता स्वरूप है।

भारत में कृषि क्षेत्र बढ़ाने के लिए धीरे-धीरे वनों को नष्ट किया जा रहा है। मनुष्य ने भूमि का उपयोग अपने आवास स्थल के लिए भी व्यापक रूप से किया है। खुले स्थान धीरे-धीरे गायब होते जा रहे हैं। वनों की कटाई एवं पशुचारण जल विद्युत् आपूर्ति एवं सिंचाई हेतु बड़े बाँधों के निर्माण, नई सड़कों एवं रेलमार्गों के फैलाव तथा कारखानों के विकास ने भारत में भूमि उपयोग के तौर-तरीकों को काफी बदल दिया है। इससे प्राकृतिक सन्तुलन बिगड़ा है। विभिन्न प्रकार के जीवों के आवास नष्ट हुए हैं और हजारों किस्म के पौधे एवं जीव लुप्त होने लगे हैं।

मृदा भूमि का अंग है इसलिए मनुष्य भूमि का उपयोग विभिन्न फसलों के लिए करता है; जैसे-खाद्यान्न उत्पादन करना, व्यापारिक फसलों का उत्पादन करना, विभिन्न प्रकार के फल एवं साग-सब्जियों का उत्पादन करना आदि। कृषि भूमि में अधिक खाद्यान्न पैदा करने के कारण ही अनेक पर्यावरणीय समस्याएँ पैदा हो गईं।

प्रश्न 6.
अधिक जनसंख्या ने मानव जीवन को कैसे प्रभावित किया है? समझाइए। (2016)
उत्तर:
वर्तमान समय में मनुष्यों की संख्या में निरन्तर वृद्धि ने जनसंख्या विस्फोट का रूप ले लिया है। इसके प्रमुख प्रभाव निम्न प्रकार हैं –

  1. हमारे देश में जनसंख्या वृद्धि के परिणामस्वरूप भूमि पर दबाव निरन्तर बढ़ता जा रहा है। इससे भू-जोतों का आर्थिक विभाजन हुआ है तथा कृषि उत्पादकता में कमी आयी है।
  2. जनसंख्या में तेजी से वृद्धि होने से प्रति व्यक्ति आय में धीमी वृद्धि होती है। ऐसे में निवेश का बड़ा भाग जनसंख्या के भरण-पोषण में लग जाता है तथा आर्थिक विकास के लिए निवेश का एक छोटा-सा भाग ही बचता है।
  3. जनसंख्या में तीव्र गति से वृद्धि होने से देश में बच्चों तथा वृद्ध व्यक्तियों की संख्या बढ़ रही है यह लोग कार्यशील जनसंख्या (15 वर्ष से 60 वर्ष तक की आयु) पर आश्रित हैं। इसका कारण यह है कि यह केवल उपभोग करने वाले होते हैं, उत्पादन करने वाले नहीं। आश्रितों की संख्या बढ़ने पर देश पर भार बढ़ रहा है।
  4. जनसंख्या वृद्धि के कारण बेरोजगारी की समस्या निरन्तर बढ़ती जा रही है। सरकार जितने लोगों को रोजगार उपलब्ध कराती है उससे अधिक नये लोग बेरोजगारी की लाइन में आ जाते हैं।
  5. जनसंख्या वृद्धि के कारण सरकार को आवास, शिक्षा, स्वास्थ्य, जन-कल्याण, कानून एवं सुरक्षा पर अधिक व्यय करना पड़ता है। अतः विकास कार्यों के लिए धन का अभाव हो जाता है।

प्रश्न 7.
बड़े बाँधों का निर्माण पर्यावरण की दृष्टि से किस प्रकार हानिकारक है? समझाइए। (2009)
उत्तर:
तीव्र गति से बढ़ती जनसंख्या की आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए प्राकृतिक संसाधनों का दोहन स्वाभाविक है। सिंचाई, जल विद्युत्, नहर, मछली पालन, नौका परिवहन, बाढ़ नियन्त्रण के लिए बड़ी नदियों पर बाँध बनाये जा रहे हैं। स्वतन्त्रता के बाद देश में लगभग 700 बाँध बनाये जा चुके हैं। ये बाँध पर्यावरण की दृष्टि से उचित नहीं है। जब किसी नदी घाटी योजना को प्रारम्भ किया जाता है तो बाँध निर्माण के कर्मचारियों के लिए आवास व्यवस्था, सड़क निर्माण, रेलवे लाइन, भूमिगत सुरंग निर्माण आदि आवश्यक हो जाते हैं। इससे निर्माण स्थल के आस-पास के बड़े क्षेत्र की हरियाली गायब हो जाती है।

विशाल बाँध से निर्मित कृत्रिम जलाशय में वन और कृषि भूमि डूब जाते हैं। उदाहरण के लिए, टिहरी का तो पूरा शहर ही जलमग्न हो गया है। बाँध से निकाली गई नहरों के पानी से जमीन का खारापन भी बढ़ता है, उसकी उर्वरा शक्ति क्षीण होती है। बाँध एवं नहर क्षेत्र निरन्तर पानी से भरा रहने के कारण वहाँ की भूमि कृषि योग्य नहीं रहती है। बाँध निर्माण क्षेत्र से बस्तियों को विस्थापित भी किया जाता है। कई परिवारों को अन्यत्र विस्थापित होना पड़ा; जैसे-नर्मदा नदी पर स्थित इन्दिरा सागर और सरदार सरोवर बाँध के निर्माण के लिए भी अनेक परिवारों को विस्थापित किया गया है।

इस प्रकार बड़े बाँध के निर्माण से मानव विस्थापन होता है। वन्य जीवों का विनाश होता है। कृषि और वन भूमि की कमी हो जाती है।

प्रश्न 8.
उद्योग का केन्द्रीयकरण पर्यावरण के लिए गम्भीर खतरा है? उदाहरण सहित स्पष्ट कीजिए। (2009, 12, 15)
उत्तर:
कुछ निश्चित सुविधाओं के कारण किसी निश्चित स्थान में निश्चित उद्योगों के केन्द्रित हो जाने को उद्योगों का केन्द्रीयकरण कहते हैं। औद्योगिक विकास के साथ-साथ उद्योगों के स्थानीयकरण की प्रवृत्ति बढ़ती जाती है। इसमें एक ओर तो कृषि और वन भूमि का उपयोग होता है तथा दूसरी ओर विशाल मशीनों की भूख मिटाने के लिए खदानों से कच्चा माल भी उपलब्ध कराना होता है। औद्योगिक कारखानों की चिमनियों के कारण निकलने वाला धुआँ वायु प्रदूषण का प्रमुख कारण है।

कारखानों, फैक्ट्रियों, विद्युत् संयन्त्रों आदि में प्रयुक्त होने वाला ईंधन और कोयले का धुआँ पर्यावरण में उपलब्ध ऑक्सीजन को नुकसान पहुंचाता है। अपशिष्ट पदार्थों को आस-पास की भूमि पर खुले ढेर के रूप में छोड़ दिया जाता है। प्रदूषित जल को नदियों में प्रवाहित किया जाता है, जो मानवीय स्वास्थ्य एवं पर्यावरण को सीधे प्रभावित करते हैं। औद्योगीकरण वायु, जल, ध्वनि, भूमि एवं रासायनिक तथा रेडियोधर्मी प्रदूषण का केन्द्र बिन्दु है। बड़ी-बड़ी औद्योगिक इकाइयाँ, छोटे-छोटे कल कारखाने नदियों के जल का अधिकाधिक प्रयोग करके अपशिष्टों को पुनः नदियों, नालों में डालकर जल को प्रदूषित करते हैं। अतः एक ओर उद्योग जहाँ वरदान हैं, वहीं दूसरी ओर पर्यावरण के लिए एक अभिशाप है।

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प्रश्न 9.
जल प्रदूषण से क्या आशय है? भारत में बढ़ते हुए नदी जल प्रदूषण का वर्णन कीजिए।
अथवा
जल प्रदूषण के उदाहरण दीजिए। जल प्रदूषण कैसे फैलता है? (2009, 14, 16)
उत्तर:
जल निरन्तर प्रदूषित हो रहा है। इसके प्रमुख कारण कारखानों का कूड़ा-कचरा नदियों और जलाशयों में बहाना, दूसरी ओर शहरों के गन्दे नालों का पानी नदियों में बहाना तथा कृषि में प्रयुक्त उर्वरकों तथा कीटनाशकों के द्वारा भी जल प्रदूषित हो जाता है। जल प्रदूषण के प्रमुख कारण निम्नलिखित हैं –

  1. कागज और चीनी की मिलें तथा चमड़ा साफ करने के कारखाने अपना कूड़ा-कचरा नदियों में बहा देते हैं या भूमि पर सड़ने के लिए छोड़ देते हैं।
  2. तमिलनाडु के उत्तरी अर्काट जिले में चमड़े के अनेक कारखाने हैं। उनके कचरे से आस-पास के बहुत-से गाँवों के कुआँ का जल प्रदूषित हो गया है, क्योंकि कूड़े-कचरे का अंश रिस-रिसकर भूमिगत जल में मिल जाता है।
  3. सागरों का जल तेलवाहक जहाजों से तेल रिसने और तटों पर स्थित नगरों के कड़े-कचरे तथा कारखानों के कचरों के कारण प्रदूषित हो जाता है। ऐसी स्थिति में सागर के जीव जीवित नहीं रह पाते।
  4. बड़ी-बड़ी औद्योगिक इकाइयाँ, छोटे-छोटे कल-कारखाने नदियों के जल का अधिकाधिक प्रयोग करके अपशिष्टों को पुनः नदियों, नालों में डालकर जल को प्रदूषित करते हैं। फलस्वरूप सभी नदियाँ दूषित हो चली हैं। लखनऊ में गोमती का जल कागज और लुग्दी के कारखानों से निकले अपशिष्टों से दूषित होता है तो दिल्ली में यमुना का जल डी. डी. टी. के कारखानों से निकले पदार्थों से प्रदूषित होता है।

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 अन्य परीक्षोपयोगी प्रश्न

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 वस्तुनिष्ठ प्रश्न

बहु-विकल्पीय प्रश्न

प्रश्न 1.
प्राचीन काल में वेदों में प्रकृति को किस रूप में प्रस्तुत किया गया है?
(i) पिता
(ii) माता
(iii) भाई
(iv) बहन।
उत्तर:
(ii) माता

प्रश्न 2.
कोई भी भौतिक वस्तु या पदार्थ जो मानव के लिये उपयोगी या मूल्यवान होता है
(i) संसाधन कहलाता है
(ii) स्थानान्तरी पदार्थ कहलाता है
(iii) पर्यावरण कहलाता है,
(iv) इनमें से कोई नहीं।
उत्तर:
(i) संसाधन कहलाता है

प्रश्न 3.
वे अनुपयोगी पदार्थ जो अनुचित मात्रा में उपस्थित होकर प्रदूषण के लिये जिम्मेदार हैं, क्या कहलाते
(i) प्रदूषक
(ii) विदूषक
(iii) उत्सर्जक
(iv) इनमें से कोई नहीं।
उत्तर:
(i) प्रदूषक

रिक्त स्थान पूर्ति

  1. वनों से प्राप्त लकड़ी और जड़ी-बूटी पर अनेक …………. आधारित हैं।
  2. भारत में लगभग …………. सतही जल प्रदूषित है।
  3. भारत में पर्यावरण सन्तुलन के लिए कुल भूमि के ………… प्रतिशत भाग पर वन होना चाहिए।

उत्तर:

  1. उद्योग
  2. 90 प्रतिशत
  3. 33

सत्य/असत्य

प्रश्न 1.
पर्यावरण और मानव एक-दूसरे के सर्जक, पोषक एवं रक्षक हैं।
उत्तर:
सत्य

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प्रश्न 2.
पृथ्वी का लगभग 71 प्रतिशत भाग थल तथा 29 प्रतिशत जल है।
उत्तर:
असत्य

प्रश्न 3.
विश्व के कुल भूमि क्षेत्र का 30 प्रतिशत भाग वनों से ढका है।
उत्तर:
सत्य

प्रश्न 4.
भारत में लगभ 80,000 हेक्टेयर भूमि पर खनन कार्य हो रहा है।
उत्तर:
सत्य

प्रश्न 5.
बड़े बाँध से मानव विस्थापन होता है।
उत्तर:
सत्य।

सही जोड़ी मिलाइए
MP Board Class 9th Social Science Solutions Chapter 1 मानव एवं पर्यावरण - 1

उत्तर:

  1. → (ग)
  2. → (घ)
  3. → (ङ)
  4. → (क)
  5. → (ख)

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एक शब्द/वाक्य में उत्तर
प्रश्न 1.
किस ग्रन्थ में पृथ्वी को परमात्मा का शरीर, स्वर्ग को मस्तिष्क, सूर्य-चन्द्रमा को आँखें तथा आकाश को मन माना है?
उत्तर:
उपनिषदों में,

प्रश्न 2.
भगवान बुद्ध को किस वृक्ष के नीचे ज्ञान (बौद्धिसत्व) प्राप्त हुआ था?
उत्तर:
वट वृक्ष के नीचे

प्रश्न 3.
वे अनुपयोगी पदार्थ जो अनुचित मात्रा में उपस्थित होकर प्रदूषण के लिए उत्तरदायी हों, क्या कहलाते हैं?
उत्तर:
प्रदूषक

प्रश्न 4.
1985 में ओजोन छिद्र सर्वप्रथम किस क्षेत्र में देखा गया? (2014, 17)
उत्तर:
अन्टार्कटिका में,

प्रश्न 5.
कितने डेसीबल की ध्वनि मनुष्य को पागल बना देती है?
उत्तर:
140 डेसीबल,

प्रश्न 6.
पृथ्वी की कोई भी वस्तु जो मानव के लिए उपयोगी है। (2008)
उत्तर:
संसाधन।

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 अति लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
पर्यावरण के तत्व कौन-से हैं?
उत्तर:
पर्यावरण के चार तत्व हैं-स्थल, जल, वायु और जीव। इनमें से प्रथम तीन परस्पर मिलकर भौतिक पर्यावरण का निर्माण करते हैं और जीव-जन्तु जैवमण्डल का निर्माण करते हैं।

प्रश्न 2.
पर्यावरण के विभिन्न प्रकारों को बताइए।
उत्तर:
पर्यावरण के प्रमुख प्रकार निम्न हैं-

  1. प्राकृतिक पर्यावरण
  2. सांस्कृतिक पर्यावरण
  3. भौतिक पर्यावरण
  4. जैविक पर्यावरण तथा
  5. गतिशील पर्यावरण।

प्रश्न 3.
प्राकृतिक पर्यावरण किसे कहते हैं?
उत्तर:
प्राकृतिक पर्यावरण के तत्व प्रकृति से सम्बन्धित हैं। इसमें भौगोलिक स्थिति, भूमि की रचना, खनिज, वनस्पति, वन्य-जन्तु, जलवायु आदि हैं।

प्रश्न 4.
प्रदूषण क्या है?
उत्तर:
पर्यावरण की प्राकृतिक संरचना एवं सन्तुलन में उत्पन्न अवांछनीय (हानिकारक) परिवर्तन को पर्यावरण प्रदूषण कहते हैं।

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
अम्लीय वर्षा किसे कहते हैं? (2018)
उत्तर:
कारखाने से निकली विषाक्त सल्फर डाइ-ऑक्साइड तथा नाइट्रोजन गैसें (नाइट्रिक ऑक्साइड) वायुमण्डल में मिलकर वहाँ की विद्यमान वाष्प के साथ क्रिया करके क्रमशः सल्फ्यूरिक अम्ल तथा नाइट्रिक अम्ल बनाती हैं। यह अम्ल जब वर्षा के साथ धरती पर गिरता है तो इसे अम्लीय वर्षा, तेजाबी वर्षा या एसिड रेन कहते हैं।

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प्रश्न 2.
भौतिक पर्यावरण और सामाजिक पर्यावरण क्या है ? उदाहरण सहित समझाइए। (2011)
उत्तर:
भौतिक पर्यावरण :
भौतिक या प्राकृतिक पर्यावरण से आशय उन प्राकृतिक परिस्थितियों; जैसे-स्थिति, धरातल, जलवायु, वनस्पति, जीव-जन्तु एवं खनिज आदि से है जो मानव जीवन को अनेक प्रकार से प्रभावित करती हैं। प्राकृतिक पर्यावरण के ये तत्व प्रकृति प्रदत्त हैं और इन्हें सरलता से परिवर्तित नहीं किया जा सकता है।

सांस्कृतिक व सामाजिक पर्यावरण :
मानव तथा प्राकृतिक पर्यावरण के आपसी सम्बन्धों के द्वारा सांस्कृतिक-सामाजिक पर्यावरण विकसित होता है। इसमें मानव द्वारा निर्मित, विकसित, संचालित, आर्थिक व सामाजिक गतिविधियों; जैसे-कृषि, उद्योग, रीति-रिवाज, बसावट, सड़कें, रेलमार्ग, वायु सेवाएँ, सिंचाई के साधन, शासन प्रणाली व विज्ञान एवं तकनीक सम्मिलित हैं।

MP Board Class 9th Social Science Chapter 1 दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
भारत में पर्यावरण प्रदूषण की समस्या के कारण बताइए।
उत्तर:
पर्यावरण प्रदूषण के कारण-निरन्तर विकास के अवधारणा का मूल मन्त्र ही पर्यावरण प्रदूषण का प्रमुख कारण है। पर्यावरण प्रदूषित होने के अनेक कारण हैं जिनमें से कुछ प्रमुख निम्न प्रकार हैं

(1) संसाधनों का अभाव :
पर्यावरण प्रदूषित होने का एक प्रमुख कारण भारत में हो रहे संसाधनों की कमी है, कारण है कि जनसंख्या वृद्धि होने के साथ-साथ जमीन, खनिजों, कृषि उत्पादों, ऊर्जा तथा आवास की प्रति व्यक्ति उपलब्धता कम होती जा रही है।

(2) जंगलों का कटाव :
जंगलों का अन्धाधुन्ध काटा जाना तथा जनसंख्या में वृद्धि से पर्यावरण में असन्तुलन पैदा हुआ है। प्रतिवर्ष 1.50 लाख हेक्टेयर की दर से बड़े पैमाने पर वनों के क्षेत्रफल का ह्रास हो रहा है।

(3) अनियमित जलवायु :
समय पर वर्षा का न होना, भयंकर बाढ़, भूकम्प, महामारी एवं सूखा पड़ना आदि जैसी प्राकृतिक आपदाओं के कारण पर्यावरण का प्रदूषित हो जाना है।

(4) औद्योगीकरण :
तीव्र गति से बढ़ते औद्योगीकरण से पर्यावरण सर्वाधिक प्रदूषित हुआ है। आजकल कारखानों की चिमनियों से निरन्तर निकलता धुआँ, तरह-तरह के वाहन तथा ताप बिजलीघर वायुमण्डल में भारी मात्रा में धुआँ छोड़ते हैं, जिससे वायुमण्डल में कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा में बढोत्तरी ही नहीं हुई अपितु इससे देश की नदियों, समुद्रों और तालाबों में प्रदूषण की समस्या ने जन्म लिया है। उससे पेड़-पौधों के साथ-साथ जीव-जन्तु भी मरने लगे हैं।

(5) वायुमण्डल के तापमान में वृद्धि :
आज पर्यावरण प्रदूषण का खतरा रासायनिक पदार्थों, जहरीले धुएँ आदि से इतना अधिक नहीं जितना पृथ्वी पर वायुमण्डल के तापमान के बढ़ने से उत्पन्न हुआ है। इससे कम वर्षा वाले क्षेत्र रेगिस्तान होते जा रहे हैं और कृषि योग्य भूमि की उत्पादकता में कमी आ रही है।

(6) स्रोतों का उपयोग :
पर्यावरणपर्यावरण प्रदूषण का सबसे बड़ा कारण ऊर्जा के परम्परागत स्रोतों का अन्धाधुन्ध उपयोग है। यदि समय रहते इस पर रोक नहीं लगाई गई तो परिस्थितियाँ तेजी से प्रतिकूल दिशा में बढ़ती हुई हमारे नियन्त्रण से बाहर हो जाएगी।

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MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1

प्रश्न 1.
चतुर्भुज ∆CBD में AC=AD और AB कोणA को समद्विभाजित करता है। (देखिए चित्र 7.1) दर्शाइए कि ∆ ABC ≅ ∆ ABD है। BC और BD के बारे में आप क्या कह सकते हैं ?
(2018, 19)
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1 1
चित्र 7.1
हल:
चित्रानुसार ∆ABC और ∆ABD में,
∵ भुजा AC = भुजा AD
∵ ∠BAC = ∠BAD
∵ भुजा AB = भुजा AB
∵ ∆ABC ≅ ∆ABD (SAS सर्वांगसमता नियम से) इति सिद्धम्
भुजा BC = भुजा BD. (CPCT)

प्रश्न 2.
ABCD एक चतुर्भुज है जिसमें AD = BC और । ∠DAB = ∠CBA है। (देखिए चित्र 7.2) सिद्ध कीजिए कि-
(i) ∆ABD ≅ ∆BAC
(ii) BD = AC
(iii) ∠ABD = ∠BAC.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1 2
चित्र 7.2
हल:
(i) चित्रानुसार ∆ ABD और ∆BAC में,
∵ भुजा AD = भुजा BC (दिया है)
∵ ∠DAB = ∠CBA (दिया है)
∵ भुजा AB = भुजा AB (उभयनिष्ठ हैं)
∴ ∆ABD = ∆BAC. (SAS सर्वांगसमता नियम से) इति सिद्धम्

(ii) ∵ ∆ABD ≅ ∆BAC (सिद्ध कर चुके हैं)
∴ भुजा BD = भुजा AC. (CPCT) इति सिद्धम्

(iii) ∵∆ABD ≅ ∆BAC (सिद्ध कर चुके हैं)
∴ ∠ABD = ∠BAC. (CPCT) इति सिद्धम्

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प्रश्न 3.
एक रेखाखण्ड AB पर AD और BC दो बराबर लम्ब रेखाखण्ड हैं (देखिए चित्र 7.3)। दर्शाइए कि चित्र CD रेखाखण्ड AB को समद्विभाजित करता है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1 3
चित्र 7.3
हल:
चित्रानुसार रेखाखण्ड CD, रेखाखण्ड AB को बिन्दु O पर प्रतिच्छेद करता है।
अब ∆OAD और ∆OBC में,
∵ भुजा AD = भुजा BC (दिया है)
∵ ∠OAD = ∠OBC = 90° (दिया है)
∵ ∠AOD = ∠BOC (शीर्षाभिमुख कोण हैं)
∴ ∆OAD ≅ ∆OBC (SAA सर्वांगसमता नियम से)
∴ भुजा OA = भुजा OB (CPCT)
अतः रेखाखण्ड CD रेखाखण्ड AB को समद्विभाजित करता है। इति सिद्धम्

प्रश्न 4.
1 और m दो समान्तर रेखाएँ हैं जिन्हें समान्तर रेखाओंp और का एक अन्य युग्म प्रतिच्छेदित करता है। (देखिए चित्र 7.4)। दर्शाइए कि-
∆ABC ≅ ∆CDA है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1 4
चित्र 7.4
हल:
∵l || m को रेखाखण्ड AC क्रमश: A और C बिन्दुओं पर प्रतिच्छेद करता है।
∴ ∠ACB = ∠CAD …(1) (एकान्तर कोण हैं)
∵ p || q को रेखाखण्ड AC क्रमशः A और C बिन्दुओं पर प्रतिच्छेद करता है।
∴ ∠CAB = ∠ACD (एकान्तर कोण है)…(2)
अब ∆ABC एवं ∆CDA में,
∵ ∠ACB = ∠CAD [सिद्ध कर चुके हैं समीकरण (1) से]
∵ ∠CAB = ∠ACD [सिद्ध कर चुके हैं समीकरण (2) से]
∵ भुजा AC = भुजा AC (उभयनिष्ठ है)
अतः ∆ABC ≅ ∆CDA. (ASA सर्वांगसमता नियम से) इति सिद्धम्

प्रश्न 5.
रेखा l कोण A को समद्विभाजित करती है और B रेखा l पर स्थित कोई बिन्दु है। BP और BQ कोण A की भुजाओं पर B से डाले गए लम्ब हैं (देखिए चित्र 7.5)। दर्शाइए कि
(i) ∆APB ≅ ∆AQB.
(ii) BP = BQ अर्थात् बिन्दु B कोणों की भुजाओं से समदूरस्थ है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1 5
चित्र 7.5
हल:
∵ रेखा l कोण A की समद्विभाजक है। (दिया है)
∴ ∠BAP = ∠BAQ ..(1)
∵ BP L AP एवं BQ LAQ (दिया है)
∵ LAPB = ∠AQB = 90° ….(2)
अब (i) ∆APB और ∆AQB में,
∵ ∠BAP = ∠BAQ [समीकरण (1) से ]
∵ ∠APB = ∠AQB [समीकरण (2) से]
∵ भुजा AB = भुजा AB (उभयनिष्ठ है)
∴ ∆APB ≅ ∆AQB. (SAA सर्वांगसमता नियम से) इति सिद्धम्

एवं (ii) ∵ ΔΡΒΕ ≅ ΔΑΟΒ (सिद्ध कर चुके हैं)
∴ भुजा BP = भुजा BQ (CPCT)
अर्थात् बिन्दु B कोणों की भुजाओं से समदूरस्थ है। इति सिद्धम्

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प्रश्न 6.
चित्र 7.6 में AC = AE एवं AB = AD और ∠BAD = ∠EAC है। दर्शाइए कि BC = DE है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1 6
चित्र 7.6
हल:
चित्रानुसार ΔABC एवं ΔADE में,
∵ भुजा AB = भुजा AD. (दिया है)
∵ ∠BAD = ∠EAC (दिया है)
∵ भुजा AC = भुजा AE (दिया है)
ΔABC ≅ ΔADE (SAS सर्वांगसमता नियम)
अतः भुजा BC = भुजा DE (CPCT) इति सिद्धम्

प्रश्न 7.
संलग्न चित्र में AB एक रेखाखण्ड है और Pइसका मध्य-बिन्दु है। D और E रेखाखण्ड AB के एक ही ओर स्थित दो बिन्दु इस प्रकार हैं कि ∠BAD = ∠ABE और ∠EPA = ∠DPB. दर्शाइए कि-
(i) ΔDAP ≅ ΔEBP.
(ii) AD = BE.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1 7
चित्र 7.7
हल:
प्रश्नानुसार, AP = BP (दिया है AB का मध्य-बिन्दु P)…(1)
∵ ∠EPA = ∠DPB (दिया है)
⇒ ∠EPA + ∠EPD = ∠DPB + ∠EPD (यूक्लिड अभिगृहीत-II)
⇒ ∠APD = ∠BPE (चित्रानुसार)…(2)
∵ ∠BAD = ∠ABE (दिया है)
⇒ ∠PAD = ∠PBE (चित्रानुसार) …(3)

(i) अब ΔDAP एवं ΔEBP में,
∵ ∠PAD = ∠PBE [समीकरण (3) से]
∵ AP = BP [समीकरण (1) से]
∵ ∠APD = ∠BPE [समीकरण(2) से]
अतः ΔDAP ≅ ΔEBP (ASA सर्वांगसमता गुण) इति सिद्धम्

(ii) ∵ ΔDAP ≅ ΔEBP [भाग (i) में सिद्ध कर चुके हैं।
अतः AD = BE. (CPCT) इति सिद्धम्

प्रश्न 8.
एक समकोण त्रिभुज ABC में जिसमें कोण C समकोण है। M कर्ण AB का मध्य-बिन्दु है। C को M से मिलाकर D तक इस प्रकार बढ़ाया गया है कि DM = CM है। बिन्दु D को बिन्दु B से मिला दिया जाता है (संलग्न चित्र देखिए)। D दर्शाइए कि-
(i) ΔAMC ≅ ΔBMD.
(ii) ∠DBC एक समकोण है।
(iii) ΔBDC ≅ ΔACB.
(iv) CM = \(\frac { 1 }{ 2 }\) AB.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.1 8
चित्र 7.8
हल:
(i) ΔAMC और ΔBMD में,
∵ AM = BM (दिया है : AB का मध्य-बिन्दु M)
∵ CM = DM (दिया है)
∵∠AMC=∠BMD (शीर्षाभिमुख कोण हैं)
ΔAMC ≅ ΔBMD. (SAS सर्वांगसमता गुण) इति सिद्धम्

(ii) चूँकि ΔAMC ≅ ΔBMD. (सिद्ध कर चुके हैं।)
⇒ ∠ACM= ∠BDM (CPCT)
⇒ DB || AC (एकान्तर कोण बराबर हैं)
⇒ ∠DBC + ∠ACB = 180° (एक ही ओर के अन्तः कोण हैं)
⇒ ∠DBC + 90° = 180° (∠ACB समकोण है।)
⇒ ∠DBC = 180° – 90° = 90°
अत: ∠DBC एक समकोण है। इति सिद्धम्

(iii) चूँकि ΔAMC ≅ ΔBMD. (सिद्ध कर चुके हैं)
⇒ AC = BD (CPCT)
अब ΔDBC और ΔACB में,
चूँकि BD = AC (सिद्ध कर चुके हैं)
∠DBC = ∠ACB = 90° (सिद्ध कर चुके हैं)
एवं BC = BC (उभयनिष्ठ है)
अतः ΔDBC ≅ ΔACB. इति सिद्धम्

(iv) चूँकि ΔDBC ≅ ΔACB (सिद्ध कर चुके हैं)
⇒ DC = AB (CPCT)
अतः CM = 1/2AB. (CPCT) [∵ CM = DM (दिया है)] इति सिद्धम्

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MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3

प्रश्न 1.
संलग्न चित्र में ∆PQR की भुजाओं OP और RO को क्रमशः बिन्दुओं S और T तक बढ़ाया गया है। यदि ∠SPR = 135° है और ∠PQT = 110° है, तो ∠PRQ
ज्ञात कीजिए।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 1
चित्र 6.23
हल:
∵ ∠PQT + ∠PQR = 180° (रैखिक युग्म अभिगृहीत से)
110° + ∠PQR = 180° ∵ ∠PQT = 110° (दिया हुआ है)]
∠PQR = 180° – 110° = 70°
∵ ∠SPR + ∠QPR = 180° (रैखिक युग्म अभिगृहीत)
135° + ∠QPR = 180° [∵ ∠SPR = 135° (दिया हुआ है)]
∠QPR = 180° – 135° = 45° …..(2)
अब ∆PQR में, :: LOPR + ∠PQR + ∠PRQ = 180° (प्रमेय 6.7, त्रिभुज के तीनों अन्त:कोणों का योग है)
⇒ 45° + 70° + ∠PRQ = 180° [समीकरण (1) एवं समीकरण (2) से]
⇒ ∠PRQ = 180° – 45° – 70°
⇒ ∠PRQ = 180° – 115° = 65°
अतः ∠PRO का अभीष्ट मान = 65°.

प्रश्न 2.
संलग्न चित्र में ∠X = 62° और ∠XYZ = 54° है। यदि YO और ∠O क्रमश: ∠XYZ के ∠XYZ और ∠XZY के समद्विभाजक हैं, तो ∠OZY और ∠YOZ ज्ञात कीजिए।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 2
हल:
∆XYZ में,
∵ ∠YXZ + ∠XYZ + ∠XZY = 180° [प्रमेय 6.7, त्रिभुज के तीनों अन्तः कोणों का योग है।]
⇒ 62° + 54° + ∠XZY = 180° [∵ ∠YXZ = 62° एवं ∠XYZ = 54° (दिया है)]
⇒∠XZY = 180° – 62° – 54° = 180° – 116° = 64°
∵∠YO, ∠XZY का समद्विभाजक है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 2A
अब ∆OYZ में,
∵∠OYZ+ ∠OZY + ∠YOZ = 180° (प्रमेय 6.7, त्रिभुज के तीनों अन्तः कोणों का योग है)
⇒ 27° + 32° + ∠YOZ = 180°
[∵ ∠OZY = 32° एवं ∠OYZ = 27° (ज्ञात कर चुके हैं)]
∠YOZ = 180° – 27° – 32° = 180° – 59° = 121°
अतः ∠OZY का अभीष्ट मान = 32° एवं ∠YOZ का अभीष्ट मान = 121.

प्रश्न 3.
संलग्न चित्र में यदि AB || DE, ∠BAC = 35° और LCDE = 53°, तो ∠DCE ज्ञात कीजिए। (2019)
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 3
चित्र 6.25
हल:
दिया है: AB ||DE, ∠BAC = 35° एवं ∠CDE = 53°
∵ AB || DE एवं AE तिर्यक रेखा है।
⇒ ∠CED = ∠BAC = 35° [एकान्तर कोण हैं तथा/BAC = 35° (दिया है)]
अब ∆CDE में (प्रमेय 6.7 त्रिभुज के तीनों अन्तः कोणों का योग 180° होता है)
∵ ∠DCE + ∠CDE + ∠CED = 180°
⇒ ∠DCE + 53° + 35° = 180° [∵∠CDE = 53° दिया है तथा
∠CED = 35° ज्ञात कर चुके हैं।
⇒ ∠DCE = 180° – 53° – 35° = 180° – 88° = 92°
अत: ∠DCE का अभीष्ट मान = 92°.

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प्रश्न 4.
संलग्न चित्र में यदि रेखाएँ PO और RS बिन्दु T पर इस प्रकार प्रतिच्छेद करती है कि ∠PRT = 40°, ∠RPT = 95° और ∠TSQ = 75°, तो ∠SQT ज्ञात कीजिए।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 4
चित्र 6.26
हल:
∆PRT में,
∵ ∠PTR + CRPT + ∠PRT = 180° (प्रमेय 6.7 त्रिभुज के तीनों अन्तः कोण हैं)
⇒ ∠PTR + 95° + 40° = 180° [∵∠RPT = 95° एवं ∠PRT = 40° (दिया है)]
⇒ ∠PTR = 180° – 950 – 40° = 180° – 135° = 450
∵ PQ एवं RS एक-दूसरे को बिन्दु T पर प्रतिच्छेद करती हैं।
⇒ ∠QTS = ∠PTR = 45° (शीर्षाभिमुख कोण हैं और ∠PTR = 45°)
अब ∆QTS में,
∵ ∠SQT + ∠TSQ + ∠OTS = 180°
∵∠SOT + 75° + 45° = 180°
[∵ ∠TSQ = 75° (दिया है) तथा ∠QTS = 45° ज्ञात कर चुके हैं ]
∠SOT = 180° – 75° – 45° = 180° – 120° = 60°
अतः ∠SOT का अभीष्ट मान = 60°.

प्रश्न 5.
संलग्न चित्र में, यदि PQ ⊥ PS, PQ || SR, ∠SOR = 28° और ∠QRT = 65° है, तो x और y के मान ज्ञात कीजिए।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 5
चित्र 6.27
हल:
∵ PQ ⊥ PS = ∠OPS = 90°
∵ ∠SQR = 28° एवं ∠QRT = 65° (दिए हैं)
∵ PQ || SR को QR तिर्यक रेखा प्रतिच्छेद करती है।
⇒ ∠PQR = ∠QRT (एकान्तर कोण है)
⇒ ∠PQS + ∠SOR = ∠ORT (चित्रानुसार)
⇒ x + 28° = 65° [∵ ∠SOR = 28° एवं ∠QRT = 65° (दिया है)]
⇒ x = 65° – 28° = 37°
अब ∆POS में,
∵ ∠OPS + ∠PQS + ∠PSQ = 180° (प्रमेय 6.7 से A के तीनों अन्तः कोणों का योग है)
⇒ 90° + 37° + y = 180°
⇒ y = 180° – 90° – 37° = 180° – 127° = 53°
[∠QPS = 90° एवं ∠PQS = x = 37° (ज्ञात है)]
अतः x एवं के अभीष्ट मान क्रमशः 37° एवं 53° हैं।

प्रश्न 6.
संलग्न चित्र में, ∆POR की भुजा QR को बिन्दु S तक बढ़ाया गया है। यदि ∠PQR और ∠PRS के समद्विभाजक बिन्दु T पर मिलते हैं तो सिद्ध कीजिए कि
∠QTR = \(\frac { 1 }{ 2 }\)∠QPR.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 6
चित्र 6.28
हल:
∆PQR का बहिष्कोण ∠PRS है।
= ∠PRS = ∠QPR + ∠PQR (प्रमेय 6.8)…(1)
∆TOR का बहिष्कोण ∠TRS है।
⇒ ∠TRS = ∠QTR + ∠TOR (प्रमेय 6.8)…(2)
∵ ∠PQR और ∠PRS के समद्विभाजक क्रमशः OT एवं RT हैं।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 6 रेखाएँ और कोण Ex 6.3 6A

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MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3

प्रश्न 1.
संलग्न चित्र में ∆ABC की एक माध्यिका AD पर स्थित E कोई बिन्दु है। दर्शाइए कि
ar (ABE) = ar (ACE).
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 1
चित्र 9.8
चूँकि A ABC की माध्यिका AD हैं।
⇒ ar (ADB) = ar (ADC)
⇒ ar (ABE) + ar (EDB) = ar (ACE) + ar (EDC) …(1)
चूँकि A EBC की माध्यिका ED है।
⇒ ar (EDB) = ar (EDC) …(2)
अतः ar (ABE) = ar (ACE) [समीकरण (1) और (2) से] इति सिद्धम्

प्रश्न 2.
∆ABC में, E माध्यिका AD का मध्य-बिन्दु है। दर्शाइए कि-
ar (BED) = \(\frac { 1 }{ 4 }\)ar (ABC)
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 2
चित्र 9.9
∆ABC की माध्यिका का मध्य-बिन्दु E है।
चूँकि ∆ABC की माध्यिका AD है
⇒ ar (ADB) = \(\frac { 1 }{ 4 }\) ar (ABC) …(1) ,
चूँकि BE, ∆ADB की माध्यिका है।
⇒ ar (BED) = \(\frac { 1 }{ 2 }\) ar (ADB) …(2)
अतः ar (BED) = \(\frac { 1 }{ 4 }\)ar (ABC). [समीकरण (1) और (2) से] इति सिद्धम्

प्रश्न 3.
दर्शाइए कि समान्तर चतुर्भुज के दोनों विकर्ण उसे बराबर क्षेत्रफल वाले चार त्रिभुजों में बाँटते हैं।
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 3
चित्र 9.10
दिया है : ABCD एक समान्तर चतुर्भुज है जिसके विकर्ण AC और BD परस्पर बिन्दु O पर प्रतिच्छेद करते हैं।
चूँकि ar (ABC) = ar (ADC) …(1)
(विकर्ण समान्तर चतुर्भुज A को समद्विभाजित करते हैं।)
ar (OAB) = ar (OBC) = \(\frac { 1 }{ 2 }\) ar (ABC) . …(2) (BO,A ABC की माध्यिका है)
ar (ODA) = ar (OCD) = \(\frac { 1 }{ 2 }\)ar (ADC) …(3) (DO,AADC की माध्यिका है)
ar (OAB) = ar (OBC) = ar (ODA) = ar (OCD) [समीकरण (1), (2) एवं (3) से]
अतः समान्तर चतुर्भुज के दोनों विकर्ण उसे बराबर क्षेत्रफल वाले चार त्रिभुजों में बाँटते हैं इति सिद्धम्

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प्रश्न 4.
संलग्न चित्र में ABC और ABD एक ही आधार AB पर बने दो त्रिभुज हैं। यदि रेखाखण्ड CD, रेखाखण्ड AB से बिन्दु O पर समद्विभाजित होता है तो दर्शाइए कि-
ar (ABC) = ar (ABD) है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 4
चित्र 9.11
हल:
एक ही आधार AB पर दो त्रिभुज A ABC एवं A ABD दिए हैं जिसमें AB एवं CD परस्पर O बिन्दु पर समद्विभाजित करते हैं।
⇒ ADBC एक समान्तर चतुर्भुज है (विकर्ण AB, CD पर परस्पर समद्विभाजित कर रहे हैं)
CM ⊥ AB एवं DN ⊥ AB खींचिए।
अब ∆AMC और ∆BND में,
चूँकि AC = BD (समान्तर चतुर्भुज की सम्मुख भुजाएँ हैं)
∠CAM = ∠DBN (एकान्तर कोण हैं)
एवं ∠AMC = ∠BND = 90° (CM ⊥ AB एवं DN ⊥ AB)
⇒ ∆AMC = ∆BND , (AAS सर्वांगसमता प्रमेय)
⇒ CM = DN (CPCT)
चूँकि ∆ABC और ∆ABD एक ही आधार AB पर स्थित हैं तथा उनके शीर्षलम्ब CM = DN (सिद्ध कर चुके हैं)
अतः ar (ABC) = ar (ABD). इति सिद्धम्

प्रश्न 5.
D, E और F क्रमशः त्रिभुज ABC की भुजाओं BC, CA और AB के मध्य-बिन्दु हैं। दर्शाइए कि-
(i) BDEF एक समान्तर चतुर्भुज है।
(ii) ar (DEF) = \(\frac { 1 }{ 4 }\) ar (ABC).
(iii) ar (BDEF) = \(\frac { 1 }{ 2 }\)ar (ABC).
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 5
चित्र 9.12
दिया है : AABC की भुजाओं BC, CA और AB के मध्य-बिन्दु
क्रमश: D, E और F हैं। DE, EF एवं FD को मिलाया गया है।
(i) चूँकि D एवं E क्रमशः BC और CA के मध्य-बिन्दु हैं।
⇒ DE = \(\frac { 1 }{ 2 }\)AB एवं DE || AB
⇒ DE = FB एवं DE || FB (AB का मध्य-बिन्दु F है)
अत: BDEF एक समान्तर चतुर्भुज है। (सम्मुख भुजाओं का युग्म बराबर एवं समान्तर है) इति सिद्धम्

(ii) चूँकि BDEF एक समान्तर चतुर्भुज सिद्ध कर चुके हैं।
इसी प्रकार सिद्ध कर सकते हैं कि DCEF एवं EAFD भी समान्तर □ हैं।
चूँकि समान्तर चतुर्भुज BDEF, DCEF एवं EAFD के विकर्ण क्रमश: FD, DE एवं EF हैं, जो उनको समद्विभाजित करते हैं।
⇒ ar (DFB) = ar (DCE) = ar (EAF) = ar (DEF)
लेकिन ar (DFB) + ar (DCE) + ar (EAF) + ar (DEF) = ar (ABC)
अतः ar (DEF) = \(\frac { 1 }{ 4 }\) ar (ABC). इति सिद्धम्

(iii) ar (BDEF) = ar (DFB) + ar (DEF) (चित्रानुसार)
= 2 ar (DEF) [ar (DFB) = ar (DEF)]
= 2 x \(\frac { 1 }{ 4 }\) ar (ABC) ar (DEF) = \(\frac { 1 }{ 4 }\)ar (ABC)
अतः ar (BDEF) = \(\frac { 1 }{ 2 }\) ar (ABC). इति सिद्धम्

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प्रश्न 6.
संलग्न चित्र में चतुर्भुज ABCD के विकर्ण AC और BD परस्पर बिन्दु 0 पर इस प्रकार प्रतिच्छेद करते हैं कि OB = OD है। यदि AB = CD है, तो दर्शाइए कि-
(i) ar (DOC) = ar (AOB).
(ii) ar (DCB) = ar (ACB).
(iii) DA || CB या ABCD एक समान्तर चतुर्भुज है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 6
चित्र 9.13
हल:
दिया है : ABCD चतुर्भुज के विकर्ण AC एवं BD परस्पर बिन्दु O पर इस प्रकार प्रतिच्छेद करते हैं कि OB = OD तथा AB = CD है।
बिन्दु B एवं D से क्रमशः BE I AC एवं DF I AC खींचिए। (i) अब ADOF एवं ABOE में, OD = OB
(दिया है) ∠DOF = ∠BOE
(सम्मुख कोण हैं) ∠DFO = ∠BEO = 90° (DF ⊥ AC एवं BE ⊥AC)
⇒ ∆DOF ≅ ∆BOE (SAA सर्वांगसमता प्रमेय)…(1)
⇒ DF = BE (CPCT)
पुनः समकोण ∆DFC और समकोण ∆BEA में,
चूँकि कर्ण CD = कर्ण AB (दिया है)
DF = BE (सिद्ध कर चुके हैं)
∠DFC =∠BEA = 90° (RHS सर्वांगसमता प्रमेय) …(2)
⇒ ∆DFC ≅ ∆BEA (RHS सर्वांगसमता प्रमेय)…(2)
⇒ ∆DOF + ∆DFC = ∆BOE + ∆BEA [समीकरण (1) और (2) से]
⇒ ∆DOC = ∆AOB (चित्रानुसार)
अतः ar (DOC) = ar (AOB). (सर्वांगसम क्षेत्रों के क्षेत्रफल हैं) इति सिद्धम्

(ii) चूँकि ar (DOC) = ar (AOB) (सिद्ध कर चुके हैं)
⇒ ar (DOC) + ar (OCB) = ar (AOB) + ar (OCB) (बराबर संख्याओं में समान संख्या का योग बराबर होता है)
अतः ar (DCB) = ar (ACB). (चित्रानुसार) इति सिद्धम्

(iii) चूँकि ∆DOC ≅ ∆AOB (सिद्ध कर चुके हैं)
⇒ ∠DCO = ∠BAO (CPCT)
⇒ DC || AB (∠DCO = ∠BAO (एकान्तर कोण है).
अतः DA || CB (DC || AB एवं DC = AB)
या ABCD एक समान्तर चतुर्भुज है। (DA || CB एवं CD || AB). इति सिद्धम्

प्रश्न 7.
बिन्दु D और E क्रमश: ∆ABC की भुजाओं AB और AC पर इस प्रकार स्थित हैं कि ar (DBC) = ar (EBC) है। दर्शाइए कि DE || BC है। (2018)
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 7
चित्र 9.14
दिया है : ∆ABC की भुजाओं AB एवं AC पर दो बिन्दु D और E इस प्रकार हैं कि ar (DBC) = ar (EBC)
DE को मिलाइए। चूँकि ∆DBC एवं ∆EBC एक उभयनिष्ठ आधार BC पर तथा रेखाखण्ड BC एवं DE के मध्य स्थित है तथा ar (DBC) = ar (EBC)
अतः DE || BC. (एक ही आधार पर बराबर क्षेत्रफल वाले ∆ हैं) इति सिद्धम्

प्रश्न 8.
XY त्रिभुज ABC की भुजा BC के समान्तर एक रेखा है। यदि BE|| AC और CF || AB रेखा XYसे क्रमशः E और F पर मिलती हैं, तो दर्शाइए कि-ar (ABE) = ar (ACF).
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 8
चित्र 9.15
ABC एक दिया हुआ त्रिभुज है जिसकी भुजा BC के समान्तर
XY एक रेखा खींची जाती है जो BE || AC और CF || AB को क्रमश: E और F बिन्दुओं पर प्रतिच्छेद करती है।
BF एवं CE को मिलाइए।
चूँकि उभयनिष्ठ आधार BE पर BE || AC के मध्य ∆ABE और ∆CBE स्थित हैं।
⇒ ar (ABE) = ar (CBE) …(1)
चूँकि उभयनिष्ठ आधार CF पर CF || AB के मध्य ∆ACF और ∆BCF स्थित हैं।
⇒ ar (ACF) = ar (BCF) …(2) .
चूँकि उभयनिष्ठ आधार BC पर BC || EF के मध्य ∆CBE और ∆BCF स्थित हैं।
⇒ ar (CBE) = ar (BCF)
अतः ar (ABE) = ar (ACF).
समीकरण (1), (2) एवं (3) से] इति सिद्धम्

प्रश्न 9.
संलग्न चित्र में समान्तर चतुर्भुज ABCD की एक भुजा AB को एक बिन्दु P तक बढ़ाया गया है। A से होकर CP के समान्तर खींची गई रेखा बढ़ाई गई CB को Q पर मिलती है और फिर समान्तर चतुर्भुज PBQR को पूरा किया जाता है। दर्शाइए कि-
ar (ABCD) = ar (PBQR) है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 9
चित्र 9.16
हल:
चित्र 9.16 में ABCD एक समान्तर चतुर्भुज है। CP|| AQ है तथा PBOR भी एक समान्तर चतुर्भुज है।
AC और QP को मिलाइए।
अब उभयनिष्ठ आधार AQ पर AQ || CP के मध्य दो त्रिभुज ∆CAQ एवं ∆PAQ स्थित हैं।
⇒ ar (CAQ) = ar (PAQ)
⇒ ar (CAB) + ar (BAQ) = ar (BAQ) + ar (BQP)
⇒ ar (CAB) = ar (BQP) [ar (BAQ) उभयनिष्ठ है]
⇒\(\frac { 1 }{ 2 }\)ar (ABCD) = \(\frac { 1 }{ 2 }\)ar (PBOR)
(AC और PQ क्रमशः समान्तर चतुर्भुज ABCD और PBQR के विकर्ण हैं)
अतः ar (ABCD) = ar (PBOR). (बराबर के दोनों बराबर होते हैं) इति सिद्धम्

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प्रश्न 10.
एक समलम्ब ABCD, जिसमें AB || DC है, के विकर्ण AC और BD परस्पर O पर प्रतिच्छेद करते हैं। दर्शाइए कि ar (AOD) = ar (BOC) है।
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 10
चित्र 9.17
ABCD एक समलम्ब चतुर्भुज है जिसमें AB || DC तथा उसके विकर्ण AC और BD परस्पर O पर प्रतिच्छेद करते हैं।
उभयनिष्ठ आधार AB पर AB || DC के मध्य A DAB एवं ACAB स्थित हैं।
⇒ ar (DAB) = ar (CAB)
⇒ ar (AOD) + ar (OAB) = ar (OAB) + ar (BOC) (चित्रानुसार)
अतः ar (AOD) = ar (BOC). (ar (OAB) उभयनिष्ठ है) इति सिद्धम्

प्रश्न 11.
संलग्न चित्र में ABCDE एक पंचभुज है। B से होकर AC के समान्तर खींची गई रेखा बढ़ाई गई DC को F पर मिलती है। दर्शाइए कि-
(i) ar (ACB) = ar (ACF).
(ii) ar (AEDF) = ar (ABCDE).
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 11
चित्र 9.18
हल:
ABCDE एक पंचभुज है जिसकी भुजा DC बढ़ाई गई है।
बिन्दु B से BF || AC खींची गई है जो DC को F पर मिलती है।
(i) चूँकि उभयनिष्ठ आधार AC पर AC || BF के मध्य दो चित्र 9.18 त्रिभुज क्रमशः ∆ACB एवं ∆ACF स्थित हैं
अतः ar (ACB) = ar (ACF). इति सिद्धम्

(ii) ar (ACB) = ar (ACF) (सिद्ध कर चुके हैं)
⇒ ar (BAC) + ar (ACDE) = ar (FAC) + ar (ACDE) (बराबर संख्याओं में एक ही संख्या जोड़ने पर)
⇒ ar (ABCDE) = ar (AEDF)
⇒ ar (AEDF) = ar (ABCDE). इति सिद्धम्

प्रश्न 12.
गाँव के एक निवासी इतवारी के पास एक चतुर्भुजाकार भूखण्ड था। उस गाँव की ग्राम पंचायत ने उसके भूखण्ड के एक कोने से उसका कुछ भाग लेने का निर्णय लिया ताकि वहाँ एक स्वास्थ्य केन्द्र का निर्माण कराया जा सके। इतवारी इस प्रस्ताव को इस प्रतिबन्ध के साथ स्वीकार कर लेता है कि उसे इस भाग के बदले उसी भूखण्ड से संलग्न एक भाग ऐसा दे दिया जाए कि उसका भूखण्ड त्रिभुजाकार हो जाए। स्पष्ट कीजिए कि इस प्रस्ताव को किस प्रकार क्रियान्वित किया जा सकता है ?
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 12
चित्र 9.19
हल:
ग्राम निवासी के पास चतुर्भुज ABCD के आकार का भूखण्ड है। प्रतिबन्ध के साथ प्रस्ताव निम्न प्रकार क्रियान्वित किया जा सकता है-
चित्रानुसार CD को आगे बढ़ाइए। विकर्ण BD के समान्तर AE खींचिए जो CD को E पर मिलती है।
ग्रामवासी अपने भूखण्ड से भाग ABD ग्राम पंचायत को देगा तथा बदले में भूखण्ड BDE लेगा। इस प्रकार उसका भूखण्ड BCE हो जायेगा। जो त्रिभुजाकार है तथा क्षेत्रफल में मूल भूखण्ड के बराबर है। चूँकि उभयनिष्ठ आधार BD पर BD || AE के मध्य दो त्रिभुज ∆ABD एवं ∆EBD स्थित हैं।
⇒ ar (ABD) = ar (EBD)
⇒ ar (ABD) + ar (BCD) = ar (EBD) + ar (BCD) (बराबर संख्याओं में एक ही संख्या जोड़ी गई है)
अतः ar (BCE) = ar (ABCD). इति सिद्धम्

प्रश्न 13.
ABCD एक समलम्ब है जिसमें AB || DC है। AC के समान्तर रेखा AB को X पर और BC को Y पर प्रतिच्छेद करती है। सिद्ध कीजिए कि-
ar (ADX) = ar (ACY)
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 13
चित्र 9.20
ABCD एक समलम्ब चतुर्भुज दिया है जिसमें AB || DC एवं विकर्ण AC के समान्तर खींची गई रेखा AB को X पर और BC को Y पर प्रतिच्छेद करती है।
CX को मिलाइए।
उभयनिष्ठ आधार AX पर AX || DC के मध्य ∆ADX एवं ∆ACX स्थित हैं।
⇒ ar (ADX) = ar (ACX) …(1)
उभयनिष्ठ आधार AC पर AC || XY के मध्य ∆ACX और ∆ACY स्थित हैं।
⇒ ar (ACX) = ar (ACY) …(2)
अतः ar (ADX) = ar (AC) है। [समीकरण (1) और (2) से] इति सिद्धम्

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प्रश्न 14.
संलग्न चित्र में AP || BQ || CR है। तो, सिद्ध कीजिए कि-
ar (AQC) = ar (PBR) है।
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 14
चित्र 9.21
दिया है : AP || BQ || CR
विकर्ण AQ, BP, CQ, BR को मिलाया गया है।
चूँकि उभयनिष्ठ आधार BQ पर BQ || AP के मध्य ∆ABQ एवं ∆PBQ स्थित हैं।
चूँकि उभयनिष्ठ आधार BQ पर BQ || CR के मध्य ∆BCQ एवं ∆BRQ स्थित हैं।
⇒ ar (BCQ) = ar (BRQ) …(2)
⇒ ar (ABQ) + ar (BCQ) = ar (PBQ) + ar (BRQ) [समीकरण (1) एवं (2) से]
अतः ar (AQC) = ar (PBR). (चित्रानुसार) इति सिद्धम्

प्रश्न 15.
चतुर्भुज ABCD के विकर्ण AC और BD परस्पर बिन्दु O पर इस प्रकार प्रतिच्छेद करते हैं कि ar (AOD) = ar (BOC) है। सिद्ध कीजिए कि ABCD एक समलम्ब चतुर्भुज है।
हल:
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 15
चित्र 9.22
ABCD चतुर्भुज के विकर्ण AC और BD एक-दूसरे को बिन्दु O पर प्रतिच्छेद करते हैं,
जहाँ ar (AOD) = ar (BOC) …(1)
⇒ ar (AOD) + ar (ODC) = ar (BOC) + ar (ODC) (बराबर संख्याओं में समान संख्या का योग है)
⇒ ar (ACD) = ar (BCD)
ये दोनों त्रिभुज उभयनिष्ठ आधार CD पर दो रेखाओं DC एवं AB के मध्य स्थित हैं।
अत: AB || DC अर्थात् ABCD एक समलम्ब चतुर्भुज है। इति सिद्धम्

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प्रश्न 16.
संलग्न चित्र में ar (DRC) = ar (DPC) है और ar (BDP) = ar (ARC) है। दर्शाइए कि दोनों चतुर्भुज ABCD और DCPR समलम्ब हैं।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 9 समान्तर चतुर्भुज और त्रिभुजों के क्षेत्रफल Ex 9.3 16
हल:
प्रश्नानुसार,
चूँकि ar (DRC) = ar (DPC) (दिया है)…(1)
ये दोनों त्रिभुज DRC एवं DPC उभयनिष्ठ आधार DC और दो रेखाओं DC एवं RP के मध्य स्थित हैं।
⇒ DC || RP अर्थात् □DCPR एक समलम्ब चतुर्भुज है।
चूँकि ar (BDP) = ar (ARC) (दिया है)
⇒ ar (BDC) + ar (DPC) = ar (DRC) + ar (ADC) (चित्रानुसार)…(1)
⇒ ar (BDC) = ar (ADC) [समीकरण (1) और (2) से]
ये दोनों त्रिभुज BDC एवं ADC उभयनिष्ठ आधार DC एवं दो रेखाओं DC एवं AB के मध्य स्थित हैं।
⇒ DC || AB अर्थात् चतुर्भुज ABCD एक समलम्ब चतुर्भुज है।
अतः दोनों चतुर्भुज ABCD और DCPR समलम्ब चतुर्भुज हैं। इति सिद्धम्

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MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.4

MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.4

प्रश्न 1.
दर्शाइए कि समकोण त्रिभुज में कर्ण सबसे लम्बी भुजा होती है। (2018)
हल:
ज्ञात है ∆ABC का कोण B समकोण है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.4 1
चित्र 7.20
चूँकि ∠B > ∠C तथा ∠B > ∠A (त्रिभुज में समकोण सबसे बड़ा होता है)
⇒ AC > AB तथा AC > BC (बड़े कोण की सम्मुख भुजा बड़ी होती है)
अतः समकोण त्रिभुज में कर्ण सबसे बड़ा होता है। इति सिद्धम् ।

प्रश्न 2.
संलग्न चित्र में ∆ABC की भुजाएँ AB और AC को क्रमशः बिन्दुओं Pऔर ए तक बढ़ाया गया है। साथ ही ∠PBC < ∠QCB है। दर्शाइए कि AC > AB है।
हल:
चूँकि ∠PBC < ∠QCB (दिया है)

चित्र 7.21
⇒ ABC > ∠ACB (छोटे कोण का सम्पूरक बड़े कोण के सम्पूरक से बड़ा होता है)
अतः AC > AB. (त्रिभुज से बड़े कोण के सामने की भुजा बड़ी होती है) इति सिद्धम्

प्रश्न 3.
संलग्न चित्र में ∠ B < ∠A और ∠C < ∠D BN है। दर्शाइए कि-
AD < BC है।

चित्र 7.22
हल:
चूँकि ∆OAB में, ∠B < ∠A (दिया है)
⇒ AO < BO …(1) AD (∆ में छोटे कोण के सामने की भुजा छोटी होती है)
चूँकि ∆OCD में, ∠C < ∠D (दिया है)
⇒ OD ⇒ AO + OD < BO + OC – [समीकरण (1) और (2) से]
अतः AD < BC. (∵ AO + OD = AD एवं BO + OC = BC) इति सिद्धम् प्रश्न 4. AB और CD क्रमशः एक चतुर्भुज की सबसे छोटी और सबसे बड़ी भुजाएँ हैं (देखिए संलग्न चित्र)। दर्शाइए कि- ∠A >∠C और ∠B >∠D है।

चित्र 7.23
हल:
प्रश्नानुसार, AB < BC, AB < CD एवं AB < AD तथा CD > AB, CD > BC एवं CD > AD.
AC और BD को मिलाइए।
चूँकि ∆ABC में, BC > AB (∵ AB < BC दिया है) ⇒ ∠BAC > ∠BCA, (बड़ी भुजा के सामने का कोण) …(1)
तथा ∆ACD में, CD > AD (दिया है)
⇒ ∠CAD > ∠ACD (बड़ी भुजा के सामने का कोण) …(2)
⇒ ∠BAC + ∠CAD > ∠BCA + ∠ACD [समी. (1) और (2) से]
अतः ∠A > ∠C. इति सिद्धम् चूँकि
चूँकि ∆ABD में, AD > AB (दिया है)
⇒ ∠ABD > ∠ADB . (बड़ी भुजा का सम्मुख कोण) …(1)
तथा ∆BCD में, CD > BC (दिया है)
⇒ ∠DBC > ∠BDC (बड़ी भुजा का सम्मुख कोण) …(2)
⇒ ∠ABD + ∠DBC > ∠ADB+ ∠BDC [समी. (1) और (2) से]
अतः ∠B >∠D. इति सिद्धम्

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प्रश्न 5.
संलग्न चित्र में PR> PQ और PS कोण DPR को समद्विभाजित करता है।
सिद्ध कीजिए कि – ∠PSR> ∠PSQ.
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.4 5
चित्र 7.24
हल:
चूँकि ∆POR में, PR > PQ
⇒ ∠Q >∠R (बड़ी भुजा का सम्मुख कोण) …(1)
दिया है : ∠OPS = ∠SPR (PS ∠QPR का समद्विभाजक दिया है) …(2)
अब ∠QPS + ∠Q+ ∠PSQ = ∠SPR + ∠R + ∠PSR = 180°
(त्रिभुज के अन्त:कोणों का योग) ∠Q+ ∠PSQ = ∠R + ∠PSR [∵ ∠QPS = ∠SPR, समी. (2) से]
लेकिन ∠Q > ∠R [समीकरण (1) से]
⇒ ∠PSQ < ∠PSR अतः ∠PSR > ∠PSQ. इति सिद्धम्

प्रश्न 6.
दर्शाइए कि एक रेखा पर एक दिए हुए बिन्दु से, जो उस रेखा पर स्थित नहीं है, जितने रेखाखण्ड खींचे जा सकते हैं, उनमें लम्ब रेखाखण्ड सबसे छोटा होता है।
MP Board Class 9th Maths Solutions Chapter 7 त्रिभुज Ex 7.4 6
चित्र 7.25
हल:
ज्ञात है : रेखा AB के बाहर कोई बिन्दु P है। P से PM ⊥ AB खींचा गया है। AB पर एक अन्य कोई बिन्दु N है तथा PN को मिलाया गया है।
अब ∆PMN में, ∠PMN = 90°
⇒ ∠PMN > ∠PNM (समकोण A में समकोण सबसे बड़ा होता है)
⇒ PN > PM (बड़े कोण की सम्मुख भुजा बड़ी होती है)
⇒ PM < PN.
चूँकि रेखा पर N कोई या ऐच्छिक बिन्दु है।
अतः रेखा के बाहर किसी बिन्दु से रेखा पर जितने रेखाखण्ड खींचे जा सकते हैं उनमें लम्ब सबसे छोटा होता है।  इति सिद्धम्

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